बाजार शुल्क को लेकर सरकार के खिलाफ एकजुट हुए व्यापारी, थोक आवक में आई कमी

बाजार शुल्क को लेकर सरकार के खिलाफ एकजुट हुए व्यापारी थोक आवक में आई कमी

By JagranEdited By: Publish:Tue, 17 May 2022 08:30 PM (IST) Updated:Tue, 17 May 2022 08:30 PM (IST)
बाजार शुल्क को लेकर सरकार के खिलाफ एकजुट हुए व्यापारी, थोक आवक में आई कमी
बाजार शुल्क को लेकर सरकार के खिलाफ एकजुट हुए व्यापारी, थोक आवक में आई कमी

बाजार शुल्क को लेकर सरकार के खिलाफ एकजुट हुए व्यापारी, थोक आवक में आई कमी

झरिया : बाजार शुल्क दो प्रतिशत लागू करने के विरोध में अब खाद्यान्न ही नहीं अंडा, मछली, आलू, प्याज, फल व टिंबर व्यापारी भी खुलकर सामने आकर आंदोलन कर रहे संगठन के साथ जुड़ गए हैं। मंगलवार को शुल्क वृद्धि के विरोध में जगह-जगह व्यापारियों ने बैठक की। बैठक में सभी ने एक स्वर में कहा कि जो सामान अन्य प्रांतों से कृषि बाजार बाजार समिति धनबाद के लिए चले हैं वह तो आएंगे ही। आने वाले दिनों के लिए फल, सब्जी, अंडा, मछली आदि सामानों का आर्डर नहीं दिया जाएगा।

इस निर्णय से कोयलांचल में कुछ दिनों बाद रोजमर्रा की चीजों की किल्लत हो सकती है। बाजार समिति में फलों की आवक सामान्य देखी गई। वहीं दूसरी ओर अनाज पट्टी में खाद्यान्न की आवक सोमवार की तुलना में काफी कम रही। हालांकि व्यापारियों का कहना है कि जिले में 10 दिनों तक खाद्यान्नों की कमी नहीं होगी। यदि सरकार इस काले कानून को शीघ्र वापस नहीं लेती है तो रोजमर्रा के सामान के लाले पड़ जाएंगे।

पुराना बाजार, कतरास व झरिया के थोक आलू, प्याज विक्रेताओं ने भी मंगलवार को बैठक कर यह निर्णय लिया कि सरकार के इस तुगलकी फरमान के बाद तब तक माल नहीं मंगवाएंगे। जब तक सरकार बढ़े शुल्क को वापस नहीं लेती है। व्यापारियों की हड़ताल पर जाने की सूचना मिलते ही लोग अपनी जरूरतों के सामान इकठ्ठा करने में लगे हैं।

एक तो करेला, उस पर नीम चढ़ा :

एक तो करेला उस पर नीम चढ़ा। यह कहावत इन दिनों झारखंड सरकार पूरा करने पर जोर दे रही है। जी हां डीजल की बढ़ती दरों की वजह से बाहर से आनेवाले सब्जी, फल, अंडा, मछली व खाद्यान्नों की कीमत आसमान छू रहे हैं। लोग बाजार तो जाते हैं, लेकिन मंहगाई की मार से वह ज्यादा कुछ खरीद नहीं पाते हैं। ऐसे में यदि झारखंड सरकार बाजार शुल्क में दो प्रतिशत और जोड़ देगा तो आम लोगों के साथ साथ जिला के व्यापारियों को भी काफी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। व्यापारियों ने कहा कि बंगाल, बिहार व अन्य कई राज्यों में बाजार शुल्क नहीं है। सरकार को यह समझ कर व्यापारियों को परेशान नहीं करना चाहिए।

10 दिन बाद आउट आफ स्टाक हो जाएंगे खाद्यान :

व्यापारियों ने कहा कि अभी जो माल रास्ते में है। वह धनबाद की थोक मंडी में पहुंच रही है। मंगलवार को कुछ गाड़ी ही मंडी पहुंची। बुधवार को भी कुछ ही गाड़ी के पहुंचने के आसार हैं। इसके बाद मंडी में कहीं से कोई माल नहीं आएगा। थोक मंडी में जो भी अनाज व अन्य वस्तु हैं। वह लगभग 10 दिन में आउट आफ स्टाक हो जाएंगे।

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