भारतीय मजदूर संघ में अंतर्कलह: कोयला प्रभारी व जेबीसीसीआइ सदस्य के. लक्ष्मा रेड्डी के पर कतरे

भारतीय मजदूर संघ (बीएमएस) में सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है। अब संघ की केंद्रीय कमेटी ने कोयला प्रभारी के. लक्ष्मा रेड्डी व उप प्रभारी के खिलाफ कोल इंडिया प्रबंधन को पत्र लिखकर इनके अधिकारों पर सीधे तौर पर कैंची चला दी।

By Deepak Kumar PandeyEdited By: Publish:Wed, 17 Aug 2022 09:59 AM (IST) Updated:Wed, 17 Aug 2022 09:59 AM (IST)
भारतीय मजदूर संघ में अंतर्कलह: कोयला प्रभारी व जेबीसीसीआइ सदस्य के. लक्ष्मा रेड्डी के पर कतरे
इस निर्णय को कोल प्रभारी के. लक्ष्मा रेड्डी की अहमियत को कम करने वाला बताया जा रहा है।

जागरण संवाददाता, धनबाद: भारतीय मजदूर संघ (बीएमएस) में सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है। अब संघ की केंद्रीय कमेटी ने कोयला प्रभारी के. लक्ष्मा रेड्डी व उप प्रभारी के खिलाफ कोल इंडिया प्रबंधन को पत्र लिखकर इनके अधिकारों पर सीधे तौर पर कैंची चला दी।

भारतीय मजदूर संघ के महासचिव विनय कुमार सिन्हा ने कोल इंडिया चेयरमैन प्रमोद अग्रवाल को पत्र लिखकर कहा है कि संगठन के कोल प्रभारी एवं उप प्रभारी से सीधे तौर पर कोई पत्राचार नहीं किया जाए। ना ही किसी समिति में नियुक्ति के लिए उनसे कोई नामांकन ही मांगा जाए। इस पत्र के बाद कोल इंडिया प्रबंधन भी सकते में आ गया है। संघ के इस निर्णय को कोल प्रभारी के. लक्ष्मा रेड्डी की अहमियत को कम करने वाला बताया जा रहा है।

इस संबंध में बीएमएस के राष्ट्रीय महासचिव विनय कुमार सिन्हा ने पत्र में आरोप लगाते हुए कहा है कि वह (के. लक्ष्‍मा रेड्डी) संगठनात्मक कामकाज में हस्तक्षेप कर रहे हैं। इस वजह से कार्यकर्ताओं में भ्रम की स्थिति रहती है।

कोल इंडिया प्रबंधन का इस ओर ध्यान आकृष्ट कराया गया है कि बीएमएस एक केंद्रीय ट्रेड यूनियन है, ना कि कोयला उद्योग का औद्योगिक ट्रेड यूनियन। संगठन के औद्योगिक प्रभारी और उप प्रभारी की भूमिका संगठन के कोल फेडरेशन यानी अखिल भारतीय खदान मजदूर संघ के संगठनात्मक कामकाज के संरक्षक तौर पर होती है। उनका कोल इंडिया प्रबंधन से कोई लेना-देना नहीं है। महामंत्री ही कोल इंडिया प्रबंधन से संवाद करेंगे।

पत्र में प्रबंधन से यह भी कहा गया है कि कुछ नामांकन बीएमएस नेतृत्व के परामर्श के बिना किए गए हैं, जो अत्यधिक आपत्तिजनक हैं। कोल इंडिया प्रबंधन द्वारा किए गए पत्राचार का उदाहरण भी दिया गया है।

इधर, इस पत्र के बाद अब कई तरह के बदलाव के संकेत कोल इंडिया सहित कई कंपनी स्तरीय कमेटी में हो सकते हैं। इसको लेकर पहले से ही संगठन में चर्चा हो रही है। बीसीसीएल, सीसीएल, ईसीएल के कंपनी स्तरीय कमेटी में भी बदलाव होने के आसार हैं।

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