रात को भी जलाया जाता कचरा, धुएं से घुट रहा लोगों का दम

एक तरफ जहां स्मॉग से लोग परेशानी झेल रहे हैं दूसरी तरफ कुछ लोग ऐसे भी हैं जो कचरा जलाकर लोगों की दिक्कत बढ़ाने का काम कर रहे हैं। शहर की प्रलहादपुरी कॉलोनी तिलक नगर फर्कपुर मंडेबर आदि में रात में कुछ लोग कचरे में आग लगा रहे हैं। लोगों को धुएं के कारण सांस लेने में परेशानी हो रही है।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 06 Nov 2019 07:30 AM (IST) Updated:Wed, 06 Nov 2019 07:30 AM (IST)
रात को भी जलाया जाता कचरा, धुएं से घुट रहा लोगों का दम
रात को भी जलाया जाता कचरा, धुएं से घुट रहा लोगों का दम

जागरण संवाददाता, यमुनानगर : एक तरफ जहां स्मॉग से लोग परेशानी झेल रहे हैं, दूसरी तरफ कुछ लोग ऐसे भी हैं जो कचरा जलाकर लोगों की दिक्कत बढ़ाने का काम कर रहे हैं। शहर की प्रलहादपुरी कॉलोनी, तिलक नगर, फर्कपुर, मंडेबर आदि में रात में कुछ लोग कचरे में आग लगा रहे हैं। लोगों को धुएं के कारण सांस लेने में परेशानी हो रही है। प्रभावित लोगों ने कई बार विरोध किया, लेकिन फिर भी कचरा के जलाना जारी रहा। यहां के लोगों का कहना है कि धुएं के कारण उन लोगों का दम घुटता है। घरों में घुआं घुसता है।

प्रलहादपुरी कॉलोनी के खाली मैदान में सुबह और रात को कचरे में आग लगाई जा रही है। कचरा जलने से धुआं उठ रहा है। इससे सांस लेने में दिक्कत होती है। धुएं के कारण कुछ दिखाई नहीं देता। घरों में धुआं होने से उनकी मुश्किल बढ़ जाती है। सबसे ज्यादा दिक्कत श्वास रोगियों को हो रही है।

फेफड़ों को पहुंचता नुकसान

पर्यावरणविद डॉ. अजय गुप्ता बताते हैं कि कूड़ा जलाने के कारण कार्बन डाई आक्साइड और कार्बन मोनो ऑक्साइड जैसी जहरीली गैसों के उत्सर्जन होती हैं। ये सेहत के लिए हानिकारक है। साथ ही पारे और हवा में मौजूद सूक्ष्म कणों को बीमारियों के लिए जिम्मेदार है। ऐसे सूक्ष्म कण (पार्टिकुलेट मैटर) वह जहरीले कण हैं, जो सांस के जरिये हमारे शरीर में प्रवेश कर जाते हैं। इससे खास तौर से फेफड़ों को नुकसान पहुंचता है। कचरा एवं अन्य सामग्री जलाना न केवल वायु प्रदूषण का स्त्रोत है, बल्कि पीएम 10 के संदर्भ में वायु प्रदूषण में इनकी हिस्सेदारी 29.4 फीसद है। सामग्री जलाने से भी सांस लेने से जुड़ी गंभीर तकलीफें होती हैं। ये कैंसर का कारक भी बन सकता है।

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कॉलोनी निवासी कमलजीत का कहना है कि कई दिन से कोई अज्ञात व्यक्ति कचरे में आग लगा रहा है। इससे वे अकेले नहीं बल्कि नजदीक कॉलोनी के लोग भी परेशानी में हैं। इस तरफ प्रशासन को ध्यान देना चाहिए।

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कॉलोनी के गणेश कुमार कहते हैं कि कई बार पहरा भी दिया। जिससे कोई पकड़ में आ जाए, लेकिन जब तक पहरा रहा, किसी ने कचरे को आग नहीं लगाई। जैसे ही हम घर के अंदर आते हैं तो कचरे में आग लगी मिलती है। यह स्थिति सुबह और रात को होती है।

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प्रलहादपुरी निवासी दिनेश डुमरा ने प्रशासन से मांग की है कि इसकी छानबीन कर तुरंत कार्रवाई की जाए। जो भी दोषी व्यक्ति है उस पर दबाव डालकर यह काम बंद कराया जाए। कुछ व्यक्ति जो सांस के रोगी है, उनको तो और भी दिक्कत का सामना करना पड़ता है। ग्राउंड के आसपास के लोगों ने भी इस गतिविधि पर पैनी निगाह रखनी शुरू कर दी है।

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कॉलोनी निवासी तेजेंद्र का कहना है कि अगर प्लाट का कोई मालिक है तो उसे गौर करनी चाहिए। प्लॉट की चारदीवारी करनी चाहिए। उससे लोग यहां कचरा न डाल सके। क्योंकि कचरा जलने से यहां के सैकड़ों लोग परेशानी झेल रहे हैं।

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