मंत्री कविता जैन की बनाई जांच कमेटी विवादों में फंसी

जागरण संवाददाता, पंचकूला : शहर में चौकों के सौंदर्यीकरण में अनियमितताओं को लेकर इन दिनों खूब होहल्ला मचा हुआ है। हरियाणा की निकाय मंत्री कविता जैन द्वारा बनाई गई कमेटी ही विवादों में फंस गई है और काफी उथल पथल मची हुई है।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 16 Jan 2019 11:28 PM (IST) Updated:Wed, 16 Jan 2019 11:28 PM (IST)
मंत्री कविता जैन की बनाई जांच कमेटी विवादों में फंसी
मंत्री कविता जैन की बनाई जांच कमेटी विवादों में फंसी

जागरण संवाददाता, पंचकूला : शहर में चौकों के सौंदर्यीकरण में अनियमितताओं को लेकर इन दिनों खूब होहल्ला मचा हुआ है। हरियाणा की निकाय मंत्री कविता जैन द्वारा बनाई गई कमेटी ही विवादों में फंस गई है और काफी उथल पथल मची हुई है। कविता जैन ने पहले आदेश दिये थे कि तकनीकि सलाहकार विशाल सेठ अकेले मामले में जांच करेंगे। परंतु चौक सौंदर्यीकरण करने वाले ठेकेदार द्वारा विशाल सेठ की जांच पर संदेह जताने के बाद मंत्री ने इस मामले की जांच के लिए दो और अधिकारी नियुक्त किए थे। इनमें एक अधिकारी जांच करने के लिए तैयार नहीं है, जबकि दूसरे अधिकारी ने अभी जांच करनी है। विशाल सेठ कह रहे हैं कि मैं तो जांच कर चुका हूं और मंत्री को सीलबंद रिपोर्ट दे दूंगा। विशाल सेठ ने यहां तक कह दिया है कि अब तक जो यह बातें कर रहे हैं कि इतने करोड़ रुपये का घपला हुआ है, ऐसा कुछ मैंने किसी को नहीं कहा। मैंने तो सीलबंद रिपोर्ट तैयार की है, लोग अपनी ओर से ही यह कयास लगाये जा रहे हैं कि कितना घपला हुआ है। अभी यह दोनों अधिकारी कमेटी शामिल किए गए हैं, जो अपने स्तर पर जांच कर लेंगे। मेरी रिपोर्ट मैं मंत्री जी को सौंप दूंगा। विशाल सेठ ने कहा है कि यदि कोई यह साबित कर दे कि मैंने रिपोर्ट लीक की है या किसी के पास उसकी कॉपी है, तो मैं अपनी सीट से त्यागपत्र देने के लिए तैयार हूं।

9 जनवरी को हरियाणा की शहरी निकाय मंत्री कविता जैन द्वारा तकनीकि सलाहकार की कमेटी में शामिल किए गए दो सदस्यों चीफ इंजीनियर रमन शर्मा ने अभी जांच ही शुरू नहीं की और दूसरे एसई रमेश चंद्र मदान ने कह दिया है कि मैं तो इस मामले में जांच ही नहीं कर सकता। एसई रमेश चंद्र मदान के पास पंचकूला के एसई का अतिरिक्त कार्यभार है, इसलिए मदान का कहना है कि मेरी पंचकूला में तैनाती है और यहां के किसी भी काम में मैं जांच नहीं कर सकता हूं।

कविता जैन ने तकनीकि सलाहकार विशाल सेठ के अतिरिक्त अब दो ओर अधिकारियों को जांच कमेटी में नियुक्त किया था। इन दोनों अधिकारी नगर निगमों से संबंधित हैं, जो कि निगमों में होने वाली कार्यप्रणाली के बारे में भली भांति जानते हैं। इसलिए मंत्री ने निर्देश दिये थे कि यह दोनों अधिकारी विशाल सेठ के साथ जांच में सहयोग करें, ताकि अविलंब जांच पूरी हो सके। चीफ इंजीनियर रमन शर्मा ने कहा कि मुझे मंगलवार को ही जानकारी मिली है कि मंत्री जी ने कमेटी में मुझे एवं एक अन्य अधिकारी को शामिल किया है। अब यह कमेटी संयुक्त तौर पर जांच करेगी। नियमों के अनुसार अब कमेटी की रिपोर्ट ही मान्य होगी।

नगर निगम द्वारा बनाई गई कमेटी की जांच अभी चल रही है और बुधवार को रिपोर्ट निगम प्रशासक के पास पहुंचने की संभावना है। इस कमेटी में चार लोग जांच कर रहे हैं। निगम प्रशासक राजेश जोगपाल ने बताया कि निगम की कमेटी जांच में जुटी है, रिपोर्ट में जो भी दोषी पाया जाएगा, उस पर कार्रवाई अवश्य होगी।

जिन दरों पर काम दिया उसी के तहत काम किया : ठेकेदार

ठेकेदार संदीप शर्मा ने विशाल सेठ की रिपोर्ट पर कहा है कि नगर निगम द्वारा जिन दरों पर काम दिया गया था, मैंने उसी पर काम किया है। मैंने पहले ही कहा था कि विशाल सेठ मेरे खिलाफ ही रिपोर्ट देंगे। मैंने पहले ही मंत्री कविता जैन को पत्र लिखकर मांग की थी कि मामले की जांच विशाल सेठ की बजाय किसी निष्पक्ष एजेंसी से करवाई जाए। मंत्री जी द्वारा दो अधिकारी कमेटी में शामिल किए गए थे, लेकिन तकनीकि सलाहकार ने इन दोनों को दरकिनार करते हुए खुद ही रिपोर्ट देकर साबित कर दिया है कि वह शिकायतकर्ता के कहे अनुसार काम कर रहे हैं। मेरी 83 लाख रुपये की पेमेंट बकाया है, जिसे लेने के लिए मैं कोर्ट में अपील करुंगा।

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