हरियाणा में बारिश का कहर, यमुना में बहाव दो लाख क्‍यूसेक से ऊपर, दिल्‍ली पर भी खतरा

हरियाणा में बारिश से जनजीवन अस्‍त व्‍यस्‍त हो गया। बारिश के कारण हुए हादसों में चार लोगों की मौत हो गई। दूसरी आेर यमुना नदी में जल का बहाव दो लाख क्‍यूसेक से ऊपर पहुंच गया।

By Sunil Kumar JhaEdited By: Publish:Tue, 25 Sep 2018 09:45 AM (IST) Updated:Tue, 25 Sep 2018 09:45 AM (IST)
हरियाणा में बारिश का कहर, यमुना में बहाव दो लाख क्‍यूसेक से ऊपर, दिल्‍ली पर भी खतरा
हरियाणा में बारिश का कहर, यमुना में बहाव दो लाख क्‍यूसेक से ऊपर, दिल्‍ली पर भी खतरा

जेएनएन, चंडीगढ़। हरियाणा में बारिश का कहर से जनजीवन अस्‍तव्‍यस्‍त है और राज्‍य में अलर्ट जारी किया गया है। इससे कई जगह मकान ढह गए और मलबे में दबने व करंट लगने से प्रदेश में चार लोगों की मौत हो गई। लगातार बा‍रिश से यमुना नदी में उफान आ गया है। हथनीकुंड बैराज पर यमुना नदी में पानी का बहाव दो लाख क्‍यूसेक पार कर गया है। इससे दिल्‍ली के लिए खतरा पैदा हो गया है। मौसम विभाग ने अाज भी बारिश की संभावना जताई।

बारिश के कारण गोहाना में इनेलो की 25 सितंबर की राज्य स्तरीय रैली स्थगित कर दी गई है, अब यह 7 अक्टूबर को होगी। राज्‍य में पिछले तीन दिनों से बारिश जारी है और इस कारण शहरों व ग्रामीण क्षेत्रों में बारिश का भर गया है। फसलों काे भी काफी नुकसान पहुंचा है। खेतों में धान की फसल बिछ गई है।

फसलों की विशेष गिरदावरी

फसलों को हुए नुकसान को देखते प्रदेश सरकार ने विशेष गिरदावरी के निर्देश दिए हैं। नुकसान का आकलन करने के लिए कृषि विभाग ने टीम का गठन किया है। कृषि विशेषज्ञों के मुताबिक, जो फसल जमीन पर बिछ गई है, इसमें जमाव की संभावना है। बारिश के दौरान हवा चलने से गन्ने की फसल को भी नुकसान पहुंचा है।

कुरुक्षेत्र, करनाल, अंबाला में मकान ढहने से तीन लोगों की मौत हो गई। फतेहाबाद में करंट से महिला की मौत हो गई। बारिश के कारण कुरुक्षेत्र के शाहाबाद में मकान की छत गिरने से एक व्यक्ति की मौत हो गई। दूसरी घटना में छत गिरने से मां व बेटा घायल हो गए। करनाल के नीलोखेड़ी में छत गिरने से 70 वर्षीय सूबे सिंह की मौत हो गई। इसी तरह अंबाला के जंडली में छत गिरने से 45 वर्षीय धर्मपाल की मौत हो गई और दो लोग घायल हो गए। इनके अलावा फतेहाबाद के गांव ढाणी भोजराज में पोल में करंट आने से खेतों में घास काट रही वृद्ध महिला चंद्रावती की मौत हो गई।

चरखी-दादरी के समसपुर में बिजली गिरने से तीन मकानों की छतें गिर गई। रोहतक के गरनावठी में छत गिरने से देवेंद्र, उसकी बहन कमला, पत्नी नीलम व उसकी बच्ची घायल हो गए। फतेहाबाद में शिवपुरी के पास निर्माणाधीन मकान की छत गिर गई। हिसार के नारनौंद में दो मकान जमींदोज हो गए। सोनीपत के गांव कथूरा में एक किसान सतीश नरवाल का दो मंजिला मकान ढह गया। गनीमत रही कि कोई जनक्षति नहीं हुई।

सिग्नल में आई खराबी, डेढ़ घंटा देरी से पहुंची ट्रेन

सोनीपत-गोहाना रेल मार्ग पर मोहाना व गोहाना स्टेशन के बीच बारिश के चलते सिग्नल में खराबी आने की वजह से पैसेंजर ट्रेन करीब डेढ़ घंटे की देरी से गोहाना स्टेशन पर पहुंची। सिग्नल क्लीयर नहीं होने के कारण ट्रेन मोहना स्टेशन पर खड़ी रही।

चंडीगढ़-शिमला हाईवे में दरार

उधर, पिंजौर में कौशल्या डैम में उफान के बीच सोमवार शाम चंडीगढ़-शिमला राष्ट्रीय राजमार्ग दरक गया। भूमि कटाव के कारण उसका कुछ धंस गया जिससे आवागमन ठप पड़ गया। अधिकारियों ने मौके पर पहुंचकर स्थिति संभाली और यातायात को डायवर्ट किया। वहीं जाम खुलवाने के लिए अधिकारियों को जेसीबी की मदद से हाईवे पर बना डिवाइडर तुड़वाना पड़ा। इसके बाद मार्ग को एक तरफ से पूरी तरह बंद कर दिया है। इस दौरान कालका से जीरकपुर तक लंबा जाम लग गया। वहीं बारिश के कारण कालका-शिमला हेरिटेज रेल ट्रैक पर पांच ट्रेनें रद कर दी गई हैं।

हथनीकुंड बैराज पर जलबहाव पहुंचा दो लाख क्यूसेक, 72 घंटे बाद दिल्ली पहुंचेगा पानी

हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में पहाड़ों में हुई बरसात के कारण हथनी कुंड बैराज का जलस्तर बढ़ गया। सोमवार दोपहर को बैराज पर जल स्तर 42 हजार क्यूसेक था, जो कि देर शाम साढ़े सात बजे तक दो लाख क्यूसेक पर पहुंच गया। इसके बाद प्रशासन की ओर से अलर्ट जारी कर दिया गया और नहरों में जल आपूर्ति बंद कर दी है। यमुना के आसपास के गांवों में मुनादी करा दी गई कि है कि कोई भी व्यक्ति नदी के पास न जाए।

तीन दिन से लगातार बरसात के कारण सोमवार दोपहर दो बजे से हथनी कुंड पर जलबहाव बढ़ना शुरू हुआ। इसके बाद हर घंटे जल बहाव बढऩे लगा। पानी का बहाव खतरे के निशान से ऊपर होते ही प्रशासन भी अलर्ट हो गया। प्रशासन की ओर से सभी नहरों की सप्लाई रोकते हुए दिल्ली भी सूचना भिजवा दी गई। आने वाले 72 घंटे में यह पानी दिल्ली पहुंचेगा।

इस तरह से बढ़ा जलबहाव

दोपहर दो बजे : 42 हजार क्यूसेक

दोपहर तीन बजे : 62हजार 828 क्यूसेक

चार बजे : 64 हजार 999 क्यूसेक

पांच बजे : 88 हजार 600 क्यूसेक

छह बजे : एक लाख 30 हजार क्यूसेक

सात बजे : एक लाख 97 हजार क्यूसेक

80 हजार पर आते ही खतरा

हथनी कुंड पर 80 हजार क्यूसेक पर जलबहाव आते ही पानी खतरे के निशान पर पहुंच जाता है। इसके बाद प्रशासन की ओर से अलर्ट जारी कर दिया जाता है।

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कहां कितनी बारिश

शहर                   बारिश (एमएम में)

करनाल                  142

कुरुक्षेत्र                   105

जींद                       83

गुरुग्राम                  78

भिवानी                  74

यमुनानगर            72.5

गोहाना(सोनीपत)    69

पानीपत                68

कैथल                   60

अंबाला                48.4

रोहतक                47

रेवाड़ी                 37

झज्जर               31

हिसार               22.1

टोहाना(फतेहाबाद) 14

फरीदाबाद         12

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