संरक्षण करने वाले ही पैदा करते हैं नए अविष्कारों के अवसर : रंगा

हरियाणा पुलिस अकादमी मधुबन के सम्मेलन कक्ष में अखिल भारतीय उद्यमी महिला समूह के सहयोग से बौद्धिक संपदा अधिकार विषय पर सेमीनार हुआ। मुख्यातिथि के रूप में अकादमी के प्रशिक्षण सलाहाकार सतप्रकाश रंगा ने शिरकत की। सेमीनार में प्रदेशभर से 47 पुलिस अधिकारियों ने भाग लिया।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 12 Feb 2019 08:24 AM (IST) Updated:Tue, 12 Feb 2019 08:24 AM (IST)
संरक्षण करने वाले ही पैदा करते हैं नए अविष्कारों के अवसर : रंगा
संरक्षण करने वाले ही पैदा करते हैं नए अविष्कारों के अवसर : रंगा

जागरण संवाददाता, करनाल : हरियाणा पुलिस अकादमी मधुबन के सम्मेलन कक्ष में अखिल भारतीय उद्यमी महिला समूह के सहयोग से बौद्धिक संपदा अधिकार विषय पर सेमीनार हुआ। मुख्यातिथि के रूप में अकादमी के प्रशिक्षण सलाहाकार सतप्रकाश रंगा ने शिरकत की। जिला न्यायवादी शशीकांत शर्मा ने अतिथियों का स्वागत किया व प्रशिक्षण कार्यक्रम की रूपरेखा से अवगत कराया। सेमीनार में प्रदेशभर से 47 पुलिस अधिकारियों ने भाग लिया।

प्रशिक्षण सलाहाकार सतप्रकाश रंगा ने कहा कि नकली सामान बनाने वाले अपराध बहुत गंभीर समस्या हैं। यदि किसी लेखक की रचना को कॉपीराइट, किसी इंजीनियर के डिजाइन या किसी आविष्कारक के पेटेंट की रक्षा नहीं की जाती है तो इससे इन व्यक्तियों के हितों पर दूरदर्शी और नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। ये व्यक्ति अपने जीवन का बहुत सारा समय नई खोज, नई रचना करने, तकनीक का विकास करने में लगाते हैं। अपनी बौद्धिक क्षमता से जो नई चीजें ये बनाते है इन पर ही इनकी आजीविका निर्भर रहती है। बौद्धिक संपदा का प्रभाव आर्थिक व सामाजिक है। जो देश बौद्धिक संपदा अधिकारों का संरक्षण करने की गारंटी देता है वहां पर अविष्कार के नए-नए अवसर पैदा होते हैं। समाज उन्नति की ओर अग्रसर होता है। वहां के नागरिकों व सरकार को अधिक आमदनी होती है। उन्होंने आशा व्यक्त की कि इस सेमीनार में जो आप सीखकर जाएंगे उसे कार्यक्षेत्र में भी अमल में लाएंगे और पुलिस विभाग को सशक्त बनाने में अपना योगदान देंगे।

ट्रेडमार्क के गलत प्रयोग से देश को आर्थिक हानि : डॉ. शशि

संस्था की अध्यक्षा डॉ. शशि ¨सह ने कहा कि अखिल भारतीय उद्यमी महिला समूह 10 वर्षों से महिला सशक्तिकरण के लिए काम कर रहा है। ट्रेडमार्क का गलत प्रयोग करने से देश का बहुत अधिक आर्थिक नुकसान होता है। हमें इसकी महत्ता को समझना चाहिए और जनता को बौद्धिक संपदा संरक्षण के प्रति जागरूक करना चाहिए।

वहीं वक्ता वेदांत पुजारी ने ट्रेडमार्क अधिनियम 1999 एवं कॉपीराइट अधिनियम 1957, तरूण खुराना ने केस स्टडी, गुरप्रीत गुलाटी ने अनुसंधान एजेंसियों की भूमिका, विनसेंट जोस ने चुनौतियों जैसे विषयों पर प्रतिभागियों का मार्गदर्शन किया। इस अवसर पर अकादमी के उप पुलिस अधीक्षक राज कुमार, उप निरीक्षक राम कुमार, दर्शन ¨सह सहित अकादमी स्टाफ भी उपस्थित रहा।

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