बेघरों के लिए नगर निगम ने की सात रैन बसेरों की व्यवस्था

नगर निगम की ओर से शहर के भिन्न-भिन्न भागों में दिए गए स्थाई व अस्

By JagranEdited By: Publish:Tue, 29 Dec 2020 09:20 AM (IST) Updated:Tue, 29 Dec 2020 09:20 AM (IST)
बेघरों के लिए नगर निगम ने की सात रैन बसेरों की व्यवस्था
बेघरों के लिए नगर निगम ने की सात रैन बसेरों की व्यवस्था

जागरण संवाददाता, करनाल : नगर निगम की ओर से शहर के भिन्न-भिन्न भागों में दिए गए स्थाई व अस्थाई रैन बसेरे बेघर लोगों को आश्रय देकर उन्हें कंपकंपाती सर्दी से बचा रहे हैं। इनमें दो स्थाई और पांच अस्थाई रैन बसेरों में औसतन 30 से 40 व्यक्ति रात गुजारते हैं। सर्दी से बचने के लिए रैन बसेरों में गर्म कम्बल, गद्दे, पीने का पानी, शौचालय, मास्क और बिजली की सुविधा दी गई है। निगम आयुक्त विक्रम ने बताया कि कुछ ऐसे लोग भी हैं, जो बाहर से शहर में आकर यहां-वहां रात गुजारते हैं। इनके पास अपना कोई घर नहीं होता, लेकिन सर्दी में खुले में रात गुजारना दुश्वार हो जाता है। इससे बचने के लिए नगर निगम की ओर से रैन बसेरों की व्यवस्था की गई है। शहर के प्रेम नगर और रेडक्रास भवन में स्थाई रैन बसेरे हैं, इनमें क्रमश: 80 और 50 व्यक्तियों के ठहरने का इंतजाम है। दूसरी ओर 5 अस्थाई रैन बसेरे भी अलग-अलग जगह पर दिए हैं, इनमें 4 छोटे और 1 बड़ा है। 20 व्यक्तियों की क्षमता का बड़ा अस्थाई रैन बसेरा सेक्टर-12 स्थित हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण कार्यालय के सामने है, जबकि छोटे रैन बसेरे, कल्पना चावला राजकीय मेडिकल कालेज के पास, काछवा फ्लाईओवर के नीचे, पुराने बस स्टैंड के पीछे और मेरठ रोड चौक पर रखे गए हैं, प्रत्येक में 10 व्यक्तियों के रात गुजारने की क्षमता है। आयुक्त ने बताया कि सर्दी में एक गाड़ी रात को शहर में घूमती है, इस दौरान बस स्टैंड, रेलवे स्टेशन या फिर फ्लाईओवर, कहीं भी कोई बेघर व्यक्ति दिखाई देता है तो उसे रैन बसेरों में रात गुजारने के लिए छोड़ा जाता है। इस कार्य के लिए राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन की टीम को लगाया गया है। रैन बसेरो में जो व्यक्ति रात गुजारने के लिए जाते हैं, उनके लिए सभी जगह एक-एक रजिस्टर तैयार किया गया है। इस कार्य के लिए सभी जगह एक-एक चौकीदार की ड्यूटी लगाई गई है।

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