शहीदों की शहादत को तहेदिल से नमन : उपायुक्त बिढ़ाण
जागरण संवाददाता, झज्जार : यूं तो शहीद महज एक शब्द है, लेकिन इस शब्द में देश के प्रति सैनिक की शहादत,
जागरण संवाददाता, झज्जार : यूं तो शहीद महज एक शब्द है, लेकिन इस शब्द में देश के प्रति सैनिक की शहादत, परिवार का बेटा, पति, भाई, पिता खोने का दुख और दर्द छिपा होता है। हम सबको शहीद के परिवार का सहयोग करना चाहिए। हम सभी को उन शहीदों को सलाम करना चाहिए, जिन्होंने हमारे कल को बचाने के लिए अपना आज कुर्बान कर दिया। दैनिक जागरण की मुहिम एक दीया शहीदों के नाम से जुड़ते हुए उपायुक्त ने शुक्रवार सायं परिवार सहित दीया जलाते हुए शहीदों की शहादत को दिल से नमन किया।
उन्होंने दैनिक जागरण की इस मुहिम की सराहना करते हुए कहा कि इस तरह के आयोजन होने चाहिए। चूंकि आज हमारे देश की सेना किसी भी देश का सामना करने और उसे परास्त करने में सक्षम है। देश की सुरक्षा के लिए जान गंवाने वालों को श्रद्धाजलि देने का दैनिक जागरण का प्रयास सराहनीय है। उन्होंने कहा कि मौत तो सबकी आनी है, लेकिन देश के लिए शहादत गर्व की बात है। उन्होंने आम जन से आह्वान करते हुए कहा कि हमें इस अभियान के मकसद को समझते हुए अपने दिल में उतारना चाहिए। प्रयास होना चाहिए कि हर घर में एक दीया शहीदों के नाम पर जलाया जाए। अभियान की शक्ति इस स्तर की हो कि देश की सीमा पर सेवा कर रहे जवानों तक भी यह संदेश पहुचे और उन्हे महसूस हो कि किस प्रकार से देश की जनता उनके पीछे और सदैव साथ खड़ी है।
जिला रैडक्रॉस सोसायटी की चेयरपर्सन मनीता बिढ़ाण ने कहा कि सेना किसी भी देश की आन-बान और शान का प्रतीक होती है। जबकि शहीद वह होते है। जो सेना के लिए आदर्श है और देश की जनता के लिए भी। शहीदों की शहादत को नमन करते हुए अगर हम आगे बढ़े तो हमारी युवा पीढ़ी भी संस्कारवान बनती है। जिस प्रकार से हमारी सेना देश का बॉर्डर हो या भीतरी अह्म इलाके। हर मौके पर अपना सर्वस्व न्यौछावर करने को तैयार रहती है। वह उसकी समर्पण की भावना को दर्शाता है। शहीदों की याद में दीपावली के मौके पर दीया जलाया जाना स्वयं में एक गौरवावित करने का विषय है और अगर यह जन अभियान बनते हुए लोगों के मन तक पहुचे तो इसका मकसद भी पूरा हो सकेगा। इसी कड़ी में यह भी ध्यान रखना चाहिए कि जलने वाले इस दीये की लौ हमारे मन में हमेशा भी जलती रहे। ताकि उनका सम्मान बरकरार रहे। शहादत को नमन करते हुए उपायुक्त की बेटी हीरल बिढ़ाण, उत्कर्ष बिढ़ाण और अन्मय बिढ़ाण भी यहा मौजूद रहे।