जीएसटी रिफंड व्यवस्था को और प्रभावी बनाने की जरूरत

साइबर सिटी के उद्यमियों का कहना है कि गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स (जीएसटी) रिफंड की प्रक्रिया को प्रभावी बनाने की जरूरत है। जब से देश में जीएसटी लागू हुई है तब से गुरुग्राम के ही नहीं देश भर के निर्यातक परेशान हैं। जीएसटी से पहले इन्हें ड्यूटी ड्रॉ बैक मिलता था। इसके आने के बाद केंद्र सरकार द्वारा व्यवस्था की गई कि इन सभी सभी को जीएसटी रिफंड कर दिया जाएगा। कई माह के इंतजार के बाद रिफंड के लिए आवेदन शुरू हुआ लेकिन इसकी प्रक्रिया काफी धीमी है।

By JagranEdited By: Publish:Tue, 19 Jun 2018 07:12 PM (IST) Updated:Tue, 19 Jun 2018 07:29 PM (IST)
जीएसटी रिफंड व्यवस्था को और प्रभावी बनाने की जरूरत
जीएसटी रिफंड व्यवस्था को और प्रभावी बनाने की जरूरत

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: साइबर सिटी के उद्यमियों का कहना है कि गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स (जीएसटी) रिफंड की प्रक्रिया को प्रभावी बनाने की जरूरत है। जब से देश में जीएसटी लागू हुई है तब से गुरुग्राम के ही नहीं देश भर के निर्यातक परेशान हैं। जीएसटी से पहले इन्हें ड्यूटी ड्रॉ बैक मिलता था। इसके आने के बाद केंद्र सरकार द्वारा व्यवस्था की गई कि इन सभी सभी को जीएसटी रिफंड कर दिया जाएगा। कई माह के इंतजार के बाद रिफंड के लिए आवेदन शुरू हुआ लेकिन इसकी प्रक्रिया काफी धीमी है। गुरुग्राम के करीब 15 फीसद लोगों को ही यह रिफंड अभी तक मिल सका है। इससे औद्योगिक कारोबार प्रभावित हो रहा है।

जीएसटी लागू होने के साथ ही ही गारमेंट इंडस्ट्री में उत्पादन और हो रहे निर्यात में लगातार गिरावट दर्ज की जा रही है। गारमेंट निर्यातकों ने सरकार से मांग की है कि वह जीएसटी रिफंड को प्रभावी बनाए और यह सुनिश्चित करे कि निर्यातकों को समय से यह रिफंड प्राप्त हो सके। जिससे वह अपने काम को बेहतर ढंग से कर सकें। गुरुग्राम गारमेंट सेक्टर का बड़ा हब है। यहां से बड़ी मात्रा में कपड़ों का निर्यात अमेरिका और यूरोप के देशों में होता है। पिछले लगभग एक साल से इस क्षेत्र की इंडस्ट्री पर काफी दबाव है। दूसरे देशों के बायर्स बांग्लादेश, वियतनाम, चीन और श्रीलंका की ओर अधिक झुक रहे हैं। जिससे देश के कपड़ा निर्यातकों की राह दिनों दिन जटिल होती जा रही है।

जीएसटी रिफंड के लिए केंद्र और राज्य के कर विभागों की ओर से चलाई जा रही मुहिम शनिवार तक जारी रहेगी। एक गारमेंट यूनिट के जीएम मुकेश मदान का कहना है कि जीएसटी रिफंड का काम काफी धीमा है। इससे काफी परेशानी हो रही है। इस मामले में जीएसटी अधिकारियों को अपना रवैया बदलना होगा। जीएसटी रिफंड की व्यवस्था को प्रभावी बनाने की जरूरत है। मैंने दो माह पहले जीएसटी रिफंड पाने के लिए ऑनलाइन आवेदन किया था। अभी तक नहीं मिल सका है। ऐसे लोगों की संख्या काफी है जिन्हें रिफंड नहीं मिल रहा है। जीएसटी रिफंड मामले में इंस्पेक्टर राज जैसा माहौल हो गया है।

- सत्येंद्र ¨सह, महाप्रबंधक ईस्ट एंड वेस्ट एक्सपोर्ट प्राइवेट लिमिटेड

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