कपालमोचन मेला : चालीस बसों में अंबाला छावनी रवाना हुए श्रद्धालु

यमुनानगर के बिलासपुर में कपालमोचन मेले के लिए अंबाला छावनी बस स्टैंड से शनिवार को करीब चालीस बसों में श्रद्धालु रवाना हुए। हालांकि इस दौरान अन्य डिपो की बसों ने अपनी बसों को पहले चलाने की जिद की जिस पर बहसबाजी भी हुई। श्रद्धालुओं के लिए बैठने का इंतजाम भी किया गया जबकि बसों को भरने के बाद मेले के लिए रवाना किया गया।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 10 Nov 2019 08:45 AM (IST) Updated:Mon, 11 Nov 2019 06:35 AM (IST)
कपालमोचन मेला : चालीस बसों में अंबाला छावनी रवाना हुए श्रद्धालु
कपालमोचन मेला : चालीस बसों में अंबाला छावनी रवाना हुए श्रद्धालु

जागरण संवाददाता, अंबाला: यमुनानगर के बिलासपुर में कपालमोचन मेले के लिए अंबाला छावनी बस स्टैंड से शनिवार को करीब चालीस बसों में श्रद्धालु रवाना हुए। हालांकि इस दौरान अन्य डिपो की बसों ने अपनी बसों को पहले चलाने की जिद की, जिस पर बहसबाजी भी हुई। श्रद्धालुओं के लिए बैठने का इंतजाम भी किया गया, जबकि बसों को भरने के बाद मेले के लिए रवाना किया गया। इस दौरान अड्डा इंचार्ज रामरतन शर्मा भी व्यवस्थाओं को समय-समय पर चेक करते रहे।

छावनी बस स्टैंड के अड्डा इंचार्ज रामरतन शर्मा ने बताया कि 12 नवंबर तक चलने वाले पांच दिवसीय मेले में पंजाब सहित अन्य जिलों से हजारों की तादाद में श्रद्धालु आते हैं। मेले के पहले दिन छावनी बस स्टैंड से 18 बसें कपाल मोचन मेले के लिए रवाना की गई।वही शनिवार को मेले के दूसरे दिन 40 से ज्यादा बसों में कपालमोचन जाने वाले श्रद्धालुओं को रवाना किया गया है। रविवार से मेला पूरे यौवन पर होगा जहां मेले के तीसरे दिन छावनी बस स्टैंड पर हजारों श्रद्धालु पहुचने की उम्मीद है। रोडवेज डिपो अंबाला ने यात्रियों के लिए बसों का इंतजाम किया है। जैसी डिमांड होगी उसी प्रकार बसों की संख्या बढ़ाई जाएगी।

विश्राम स्थल भी बनाया गया

कपालमोचन मेले में जाने वाले श्रद्धालुओं के लिए विश्राम स्थल भी बनाया गया है। इसके लिए टेंट लगाया है, जहां पर कुर्सियां रखी गई हैं। श्रद्धालु यहां पर कुछ देर के लिए आराम कर सकते हैं। दूसरी ओर कपाल मोचन मेले के लिए विभाग द्वारा रात में भी बसों को चलाया जा रहा है।

बस पहले चलाने के लिए हुई बहसबाजी

अंबाला छावनी बस स्टैंड पर दूसरे डिपो की बस पहले चलाने के लिए बहसबाजी हुई। यहां पर चालक पहले अपनी बस में सवारियां भरने की बात कहकर बहसबाजी करता रहा। लेकिन इस दौरान अड्डा इंचार्ज ने समझाकर उनको शांत किया। नियम अनुसार बसों में श्रद्धालुओं को बिठाकर रवाना किया गया।

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