एनएच 444ए पर एडीसी के नेतृत्व वाली कमेटी करेगी विवादित जगह की पैमाइश

जागरण संवाददाता, अंबाला शहर : अंबाला-साहा-शाहबाद नेशनल हाइवे संख्या 444ए पर अतिक्रमण हट

By JagranEdited By: Publish:Sun, 20 May 2018 07:12 PM (IST) Updated:Sun, 20 May 2018 07:12 PM (IST)
एनएच 444ए पर एडीसी के नेतृत्व वाली  कमेटी करेगी विवादित जगह की पैमाइश
एनएच 444ए पर एडीसी के नेतृत्व वाली कमेटी करेगी विवादित जगह की पैमाइश

जागरण संवाददाता, अंबाला शहर : अंबाला-साहा-शाहबाद नेशनल हाइवे संख्या 444ए पर अतिक्रमण हटाने के दौरान एनएचएआइ पर लगे पक्षपात के आरोपों के बाद अब विवादित भूमि की नए सिरे से पैमाइश होगी। पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट ने एलपीए नंबर 444, 465, 466, 467, 627, 633, 695, 751, 835, 870 आफ 2015 के इस मामले में स्थानीय प्रशासन को शेष विवादित भूमि की पैमाइश कर रिपोर्ट मांगी है। इस मामले में डीसी अंबाला द्वारा एडीसी अंबाला के नेतृत्व में एसडीएम, तहसीलदार व राजस्व विभाग के कर्मियों की कमेटी सोमवार सुबह 7 बजे पैमाइश करेगी। यह कमेटी मंगलवार सुबह 11 बजे अपनी रिपोर्ट डीसी को सौंपेगी। इस पैमाइश के दौरान सभी पक्ष शामिल रहेंगे।

इससे पहले इस साल अंबाला-साहा-शाहबाद नेशनल हाइवे पर एनएचएआइ द्वारा की गई कार्रवाई को कुछ दुकानदारों ने पक्षपात पूर्ण बताया था। इस मामले में कुछ दुकानदारों ने प्रधानमंत्री कार्यालय को पत्र लिखा था। इस कार्रवाई में केडी अस्पताल सहित तीन अन्य से अतिक्रमण हटाने में पक्षपात को लेकर अफसरों को निशाने पर लिया गया था। दुकानदारों का कहना था कि अतिक्रमण हटाने के मामले में महज खानापूर्ति की जा रही है। इसके बाद जांच एनएचएआइ के डायरेक्टर ने अपने हाथों में ली थी। अतिक्रमण पर नोटिस भेजे गए व रिपोर्ट डीसी शरणदीप कौर बराड़ को भेजी गई थी। अब इस मामले में कोर्ट के आदेश पर डीसी ने कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। इस पैमाइश के दौरान पुलिस प्रशासन से पर्याप्त पुलिस बल की मांग की गई है। ऐसे में अब विवादित अतिक्रमण पर कार्रवाई होना तय माना जा रहा है।

सिक्सलेन की राह होगी आसान

एक अनुमान के मुताबिक अंबाला-साहा-शाहबाद हाइवे से रोजाना करीब 65 से 70 हजार वाहन आवाजाही करते हैं। हालांकि, हाइवे इतना संकरा है कि इन वाहनों का दबाव नहीं झेल पा रहा है। इस मार्ग को सिक्सलेन करने के लिए बजट तक एनएचएआइ को मिल चुका है लेकिन विवादित अतिक्रमण नहीं हटाए जाने के चलते यहां काम शुरू नहीं हो पा रहा है। जिसके चलते रोजाना लोग दुर्घटनाओं का शिकार बन रहे हैं।

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