Lok Sabha Election 2024: रोचक है इस सीट का इतिहास, लगातार दो बार हारने के बाद प्रत्याशी ने बनाया था जीत का रिकॉर्ड

Ambala Lok Sabha Election 2024 हरियाणा की अंबाला लोकसभा सीट का चुनावी इतिहास दिलचस्प रहा है। यहां से भाजपा ने 1999 से 2019 तक लगातार एक ही प्रत्याशी को चुनाव लड़ाया था। उन्हें दो बार लगातार हार का सामना करना पड़ा था लेकिन इसके बाद उन्होंने रिकॉर्ड अंतर से जीत हासिल कर ली। पढ़ें इस सीट का इतिहास. . .

By Sachin Pandey Edited By: Sachin Pandey Publish:Fri, 26 Apr 2024 03:40 PM (IST) Updated:Fri, 26 Apr 2024 03:40 PM (IST)
Lok Sabha Election 2024: रोचक है इस सीट का इतिहास, लगातार दो बार हारने के बाद प्रत्याशी ने बनाया था जीत का रिकॉर्ड
Lok Sabha Election 2024: रतनलाल कटारिया को लगातार दो चुनाव में हार का सामना करना पड़ा था।

दीपक बहल, अंबाला। अंबाला लोकसभा क्षेत्र (आरक्षित) पर साल 2004 में पैराशूट प्रत्याशी कांग्रेस की कुमारी सैलजा पहली बार चुनाव जीतकर संसद पहुंचीं थीं। इसके बाद साल 2009 में भी सैलजा ने जीत दर्ज की। इन दोनों चुनावों में भाजपा से प्रत्याशी रतनलाल कटारिया को हार का मुंह देखना पड़ा था।

साल 2014 में मोदी लहर में भाजपा ने एक बार फिर रतनलाल कटारिया पर भरोसा जताया। 2014 के चुनाव प्रचार में कटारिया ने कई बार मंच से कंपार्टमेंट तुड़वाने का आह्वान किया और भावुक हो वोट मांगे। तब कटारिया ने कांग्रेस प्रत्याशी राजकुमार वाल्मीकि को बड़े अंतर से मात दी थी।

2019 में वापस सैलजा को उतारा

2019 में भी कांग्रेस ने सैलजा को अंबाला सीट से उतारा। चुनाव में कटारिया ने सैलजा को हरा दिया। यह जीत अंबाला की अब तक की सबसे बड़ी जीत रही। इसी सीट से लगातार साल 1999 से कटारिया खड़े हो रहे हैं, लेकिन मई 2023 में उनके निधन के बाद उनकी पत्नी बंतो कटारिया को अब भाजपा ने चुनाव मैदान में उतारा है।

रिकॉर्ड मतों से जीता चुनाव

वर्ष 2004 में अपने पहले चुनाव में कुमारी सैलजा दो लाख 34 हजार 935 वोटों से विजयी हुईं थीं, जबकि 2009 में जीत का अंतर कम होकर 14 हजार 570 रह गया। इसके बाद 2014 में सैलजा राज्यसभा की सदस्य चुनी गईं। इसके बाद इस सीट से राजकुमार वाल्मीकि को चुनाव मैदान में उतारा गया था। मोदी लहर में रतनलाल कटारिया ने 2014 में राजकुमार वाल्मीकि को हराते हुए जीत का रिकॉर्ड बना डाला।

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वर्ष 2004 और 2009 में कुमारी सैलजा से हारने के बाद 2019 में एक बार फिर दोनों दिग्गज आमने-सामने हुए। इस बार कुमारी सैलजा का चुनावी प्रदर्शन 2004 व 2009 के मुकाबले और गिर गया। कटारिया ने 2014 में बनाए जीत के अपने ही रिकार्ड को तोड़ डाला। कटारिया ने 2019 का चुनाव तीन लाख 42 हजार 345 वोटों से जीता। मई 2023 में रतनलाल कटारिया का निधन हो गया था। अब 2024 में भाजपा ने रतनलाल कटारिया की पत्नी बंतो कटारिया पर भरोसा जताया है।

सैलजा ने दो चुनाव जीते, तीसरे में हारी

कांग्रेस की वरिष्ठ नेता कुमारी सैलजा ने अंबाला लोकसभा सीट से पहला चुनाव 2004 में जीता था। सैलजा को चार लाख 15 हजार 264 मत मिले थे, जबकि भारतीय जनता पार्टी के रतनलाल कटारिया को एक लाख 80 हजार 329 ही मत मिले थे। सांसद बनने के बाद सैलजा को केंद्र में राज्य मंत्री का दर्जा मिला था।

सन् 2009 में भी कुमारी सैलजा जीत गईं, लेकिन वोट का ग्राफ 2004 की तुलना में गिरकर तीन लाख 22 हजार 258 वोट तक पहुंच गया था जबकि भाजपा के कटारिया से टक्कर थी। लेकिन हार के बावजूद कटारिया को 2004 की तुलना में तीन लाख 07 हजार 688 वोट मिले।

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