Air Force Day: जमीन से आसमान तक दिखी आधी आबादी की ताकत

टिंजू थॉमस वायुसेना में स्क्वॉड्रन लीडर टिंजू थॉमस बीते कई सालों से टीम सारंग का हिस्सा बनी हुई हैं। वह हवा में करतब दिखा रही टीम को दिशा निर्देश देने का काम करती हैं।

By Edited By: Publish:Mon, 08 Oct 2018 07:22 PM (IST) Updated:Tue, 09 Oct 2018 09:46 AM (IST)
Air Force Day: जमीन से आसमान तक दिखी आधी आबादी की ताकत
Air Force Day: जमीन से आसमान तक दिखी आधी आबादी की ताकत

गाजियाबाद (गौरव शशि नारायण)। वायुसेना के स्थापना दिवस पर सोमवार को 44 अफसरों और 258 जवानों की अगुवाई परेड कमांडर प्रभजोत कौर ने की। उन्होंने तीनों सेनाओं के प्रमुख को न सिर्फ सलामी दी बल्कि यह भी दर्शा दिया कि भारतीय सेनाओं में महिलाएं किस मुकाम तक पहुंच चुकी हैं।

वहीं, आधी आबादी के पराक्रम को हवा में भी जमकर प्रदर्शित किया गया। वायुसेना की आन, बान और शान कही जाने वाली टीम सारंग ने हवा में ऐसे करतब दिखाए कि हर कोई वायुसेना की महिला जांबाज स्नेहा और ¨टजू थॉमस के लिए तालियां बजाने को मजबूर हो गए।

युवाओं की प्रेरणास्त्रोत बन गई हैं स्नेहा वायुसेना के हेलीकॉप्टर की करतब दिखाने वाली विशेष टीम सारंग की हिस्सा बनीं स्नेहा मूलरूप से महाराष्ट्र के जलगांव जिले की रहने वाली हैं। स्नेहा अब तक दर्जनों एयर शो में महिला ताकत व अपना दमखम दिखा चुकी हैं।

स्नेहा बताती हैं कि आकाश से जब उनकी नजर नीचे पड़ती है तो लोग उनके सम्मान में तालियों से जो हौसला अफजाई करते हैं, इससे उनकी ऊर्जा दो गुना हो जाती है। वह दूसरों के सामने खुद को साबित करने के लिए मजबूत बनकर उड़ान भर्ती हैं। अन्य लोगों को भी वायुसेना से जुड़ने के लिए प्रेरित करती हैं। स्नेहा मानती हैं कि सेना के शुरुआती दिनों में ही मानसिक रूप से मजबूत बनाकर हर सैनिक को एक योद्धा बना दिया जाता है।

टीम सारंग की अहम कड़ी है
टिंजू थॉमस वायुसेना में स्क्वॉड्रन लीडर टिंजू थॉमस बीते कई सालों से टीम सारंग का हिस्सा बनी हुई हैं। वह हवा में करतब दिखा रही टीम को दिशा निर्देश देने का काम करती हैं। साथ ही टीम के हर सदस्य के हौसले को भी अपनी आवाज के जोशीले संवाद से बढ़ाती हैं। मूलरूप से केरल की टिंजू कहती हैं कि महिलाएं एयरफोर्स की ताकत बनती जा रही हैं। साल 2020 तक वायुसेना में महिलाओं की संख्या काफी अधिक हो जाएगी, जिससे वायुसेना का पराक्रम और बढ़ेगा। वहीं, टीम सारंग का हिस्सा एसके मिश्र मूलरूप से रांची के रहने वाले हैं, जो 14 साल से सारंग से जुड़े हुए हैं। वह कहते हैं कि महिला शक्ति हमेशा उनका हौसला बढ़ाती हैं।

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