2012 Nirbhaya Case: LG को मंजूर नहीं दोषी विनय की दया याचिका, DCW ने लिखा राष्ट्रपति को पत्र

2012 में हुए वसंत विहार सामूहिक दुष्कर्म केस में फांसी की सजा पाए निर्भया के गुनहगार विनय शर्मा की दया याचिका उपराज्यपाल अनिल बैजल ने खारिज कर दी है।

By Mangal YadavEdited By: Publish:Tue, 03 Dec 2019 07:57 AM (IST) Updated:Tue, 03 Dec 2019 11:05 AM (IST)
2012 Nirbhaya Case: LG को मंजूर नहीं दोषी विनय की दया याचिका, DCW ने लिखा राष्ट्रपति को पत्र
2012 Nirbhaya Case: LG को मंजूर नहीं दोषी विनय की दया याचिका, DCW ने लिखा राष्ट्रपति को पत्र

नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। 2012 में हुए वसंत विहार सामूहिक दुष्कर्म केस में फांसी की सजा पाए निर्भया के गुनहगार विनय शर्मा की दया याचिका उपराज्यपाल अनिल बैजल ने खारिज कर दी है। विनय शर्मा की फाइल दिल्ली सरकार ने एलजी बैजल के पास भेजी थी। विधानसभा सत्र के दौरान सदन में सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि गत 5 नवंबर को एक दोषी ने दया याचिका दी थी। इस पर राष्ट्रपति ने हमसे विचार मांगा था।

दिल्ली सरकार ने रविवार को दया याचिका खारिज करने की रिपोर्ट दे दी। सोमवार को उपराज्यपाल की भी अनुमति आ गई है। उन्होंने ने भी इस दया याचिका को खारिज करने की सिफारिश पर मुहर लगा दी। अब दिल्ली सरकार इस फाइल को राष्ट्रपति को भेजेगी। इस पर आखिरी फैसला राष्ट्रपति को लेना है। उधर, विधानसभा सदन में नेता प्रतिपक्ष विजेंद्र गुप्ता ने कहा कि उपराज्यपाल ने दया याचिका रद करने में एक दिन भी नहीं लगाया। जबकि दिल्ली सरकार ने यह फाइल कई दिनों तक रोक कर रखी।

स्वाति मालीवाल ने लिखा राष्ट्रपति को पत्र

वहीं दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को पत्र लिखकर विनय शर्मा की दया दायिका खारिज करने की मां की है। उन्होंने कहा है कि ऐसे अपराध को बर्दास्त नहीं किया जा सकता है। 

निर्भया की मां ने फैसले का किया स्वागत

निर्भया की मां ने दोषी विनय शर्मा की दया याचिका को खारिज करने की दिल्ली सरकार की ओर से की गई संस्तुति का स्वागत किया है। उन्होंने कहा कि वे इस बात से वाकिफ हैं कि दोषियों ने राष्ट्रपति के पास दया की गुहार लगाई है, बावजूद उन्हें उम्मीद है कि तमाम प्रक्रियाओं के बाद दोषियों को फांसी जल्द ही दी जाएगी।

हैदराबाद में पशु चिकित्सक महिला की दुष्कर्म के बाद बेरहमी से मार देने की घटना पर निर्भया की मां ने कहा कि मैं नहीं चाहती हूं कि जिस तरह से मैं अपनी बेटी के हत्यारों को फांसी की सजा दिलाने के लिए सात वर्षो से संघर्ष कर रही हूं, वैसा ही हैदराबाद की उस बेटी के माता-पिता भी करें। मैं चाहती हूं कि हैदराबाद दुष्कर्म मामले के आरोपित को भी जल्द फांसी की सजा मिले।

यह है घटना

16 दिसंबर 2012 की रात में फिजियोथेरेपिस्ट की पढ़ाई कर रही छात्र के साथ दक्षिणी दिल्ली के वसंत विहार इलाके में चलती बस में सामूहिक दुष्कर्म हुआ था। जिसके कुछ दिनों बाद पीड़िता ने इलाज के दौरान सिंगापुर में दम तोड़ दिया था। इस मामले के एक दोषी ने जेल में आत्महत्या कर ली थी। वहीं, एक अन्य नाबालिग को कोर्ट ने तीन साल के लिए बाल सुधार गृह में भेजने की सजा सुनाई थी। जबकि अन्य चार अन्य दोषियों मुकेश, पवन, विनय और अक्षय को अदालत से फांसी की सजा सुनाई गई थी।

2012 Nirbhaya Case: फांसी की सजा पाये विनय की दया याचिका खारिज करने की सिफारिश

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