मुख्य सचिव मामले में दिल्ली सरकार से नहीं ली गई राय

-सरकार के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि मुख्य सचिव के तबादले के बारे में मीडिया से मिली जान

By JagranEdited By: Publish:Mon, 19 Nov 2018 10:09 PM (IST) Updated:Mon, 19 Nov 2018 10:09 PM (IST)
मुख्य सचिव मामले में दिल्ली सरकार से नहीं ली गई राय
मुख्य सचिव मामले में दिल्ली सरकार से नहीं ली गई राय

राज्य ब्यूरो, नई दिल्ली :

दिल्ली के मुख्य सचिव के तबादला-नियुक्ति के बारे में दिल्ली सरकार से राय नहीं ली गई है। हैरानी की बात तो यह है कि दिल्ली सरकार को तबादला के बारे में ही आधिकारिक रूप से कोई जानकारी नहीं दी गई। दिल्ली सरकार के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि केंद्र सरकार दो बार पहले भी बगैर दिल्ली सरकार से सलाह लिए मुख्य सचिव नियुक्त कर चुकी है। इस बार भी संभवत: केंद्र सरकार ऐसा ही करेगी। ऐसे में केंद्र के पास मुख्य सचिव के लिए नाम भेजने का कोई मतलब नहीें है।

दिल्ली सरकार के सूत्रों ने साफ किया है कि मुख्य सचिव के लिए दिल्ली सरकार कोई नाम केंद्र सरकार के पास नहीं भेजेगी। इसी बीच दिल्ली का अगला मुख्य सचिव कौन होगा इसे लेकर अटकलें तेज हो गई हैं। नरेश कुमार, मनोज परीदा व एस एन सहाय के नाम पर इस पद के लिए कयास लगाए जा रहे हैं।

वहीं दिल्ली सरकार इस मामले में अपने पिछले अनुभवों को जोड़ कर देख रही है। क्योंकि दिल्ली में पिछले दो मुख्य सचिव जो लगाए गए। उनमें केंद्र सरकार ने दिल्ली सरकार से राय ही नहीं ली।

पूरे मामले की तह तक जाएं तो 2013 में 49 दिन की सरकार के समय दिल्ली सरकार के मुख्य सचिव को बदला था। मगर सरकार के जाते ही जब राष्ट्रपति शासन लगा तो मुख्य सचिव को भी बदल दिया गया। फरवरी 2015 में जब आप फिर से सत्ता में आई तो दिल्ली सरकार ने आइएएस रमेश नेगी का नाम मुख्य सचिव के लिए गृह मंत्रालय के पास भेजा। जिस पर गृह मंत्रालय ने कहा कि नेगी से वरिष्ठ दूसरे अधिकारी हैं उनमें से मुख्य सचिव बना दिया जाए। जिस पर आप सरकार राजी हो गई और केके शर्मा मुख्य सचिव बने। मगर उनके तबादले के बाद केंद्र सरकार ने अपनी ओर से दिल्ली में एमएम कुंट्टी को मुख्य सचिव नियुक्त किया। इनके तबादले के बाद अंशु प्रकाश को दिल्ली का मुख्य सचिव बनाया गया। अंशु प्रकाश अभी इस पद से रिलीव नहीं हुए हैं। मगर प्रकाश के बारे में भी दिल्ली सरकार से राय नहीं ली गई। दिल्ली सरकार के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि दो बार ऐसा हो चुका है। केंद्र सरकार अपनी मर्जी से मुख्य सचिव नियुक्त कर रही है।

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