बसों में फ‌र्स्ट एड बॉक्स और अग्निशमन यंत्र की व्यवस्था नहीं

सड़कों पर दौड़ रही अधिकांश बसों में यात्रियों की सुरक्षा के उपाय नहीं हैं। जानकारी के मुताबिक सभी सवारी वाहनों में यात्रियों की सुरक्षा से संबंधित संसाधन होना अनिवार्य है।

By JagranEdited By: Publish:Fri, 23 Aug 2019 11:54 PM (IST) Updated:Fri, 23 Aug 2019 11:54 PM (IST)
बसों में फ‌र्स्ट एड बॉक्स और अग्निशमन यंत्र की व्यवस्था नहीं
बसों में फ‌र्स्ट एड बॉक्स और अग्निशमन यंत्र की व्यवस्था नहीं

सड़कों पर दौड़ रही अधिकांश बसों में यात्रियों की सुरक्षा के उपाय नहीं हैं। जानकारी के मुताबिक सभी सवारी वाहनों में यात्रियों की सुरक्षा से संबंधित संसाधन होना अनिवार्य है। आपात स्थिति से निपटने के लिए वाहनों में फ‌र्स्ट एड बॉक्स और अग्निशमन यंत्र की व्यवस्था होनी चाहिए, लेकिन अधिकांश बसो में इस नियम का पालन नहीं हो रहा है। परिवहन नियमों का पालन कराने को लेकर संबंधित विभाग का कोई ध्यान नहीं है और न ही विभाग इसके लिए कोई जांच करता है। लिहाजा यात्रियों की सुरक्षा हमेशा ताक पर रहती है। बसों में सुरक्षा मानकों का कोई ख्याल नहीं रखा जाता। बस मालिकों को केवल अपनी कमाई से ही मतलब रहता है। उन्हें यात्रियों की सुरक्षा की कोई परवाह नहीं रहती। बता दें कि प्रखंड मुख्यालय से कई प्राइवेट बसों का परिचालन होता है। काफी संख्या में यात्री प्रतिदिन सफर करते हैं।

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किट के बजाए रखे होते हैं गैर जरुरी सामान

- कुछ वाहनों में फ‌र्स्ट एड बॉक्स तो है, लेकिन उसमें दवाई, मल्हम, पट्टी के बजाए गैर जरुरी सामान रखे जाते हैं। उस बॉक्स में वाहनों के औजार ही मिलते हैं। वाहन चालकों और उपचालकों को किट के संबंध में जानकारी भी नहीं रहती। उन्हें प्रशिक्षण भी नहीं दिया जाता है। एक बस चालक ने बताया कि केबिन में फ‌र्स्ट एड बॉक्स तो है, लेकिन उसमें कौन-कौन सामान होना चाहिए इसकी जानकारी नहीं है।

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कई बसों में नहीं है इमरजेंसी गेट

- परिवहन नियमों के अनुसार सड़कों पर चलने वाली बसों में इमरजेंसी गेट होना अनिवार्य है। ताकि आपात समय में यात्री बस से बाहर निकल सकें। लेकिन सड़कों पर दौड़ने वाली बसों में अब इमरजेंसी गेट नहीं लगवाए जा रहे हैं। बस संचालकों को लगता है कि जितनी जगह में इमरजेंसी गेट होगा,वहां दो सीट बना देने से कमाई हो जाएगी। लेकिन बस में किसी प्रकार की गड़बड़ी होने पर यात्रियों को एक ही गेट से निकलना पड़ेगा। जिससे बड़ी दुर्घटना होने की आशंका रहती है।

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जुर्माना का है प्रावधान

- अग्निशमन यंत्र या फ‌र्स्ट एड बॉक्स ना होने पर मोटर वाहन अधिनियम के अंतर्गत 5600से 7000 रुपये का जुर्माना लगाने का प्रावधान है। बावजूद वाहन चालकों और मालिकों में इस कानून भय नहीं है। विभागीय अधिकारी भी नियमित इसकी जांच नहीं करते हैं। लिहाजा बेखौफ होकर यात्रियों की सुरक्षा की अनदेखी करते हुए वाहनों का परिचालन जारी है।

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कहते हैं अधिकारी

- मानकों के विरूद्ध चलने वाले प्राइवेट बसों के खिलाफ अभियान चलाकर सख्ती से कार्रवाई की जाएगी। वाहन का परमिट लेने वक्त वाहन मालिक अग्निशमन यंत्र और फ‌र्स्ट एड बॉक्स रखे जाने का शपथ पत्र देते हैं। जांच में अगर अग्निशमन यंत्र या फ‌र्स्ट एड बॉक्स नहीं मिलेगा तो कार्रवाई की जाएगी।

अभ्येंद्र मोहन सिंह, जिला परिवहन पदाधिकारी, नवादा।

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