जानकी की भूमि पर उतरी अयोध्या, श्रीराम के बरात का हुआ भव्य स्वागत, देखें तस्‍वीरें...

श्रीराम जानकी विवाहोत्सव लगभग 400 किमी की दूरी तय कर अयोध्या से पहुंची बरात का सीतामढ़ी में हुआ भव्य स्वागत। शहरवासियों ने बरात पर किया पुष्प वर्षा।शहर में गूंजते रहे मंगल गान।

By Murari KumarEdited By: Publish:Sun, 24 Nov 2019 10:01 PM (IST) Updated:Sun, 24 Nov 2019 10:01 PM (IST)
जानकी की भूमि पर उतरी अयोध्या, श्रीराम के बरात का हुआ भव्य स्वागत, देखें तस्‍वीरें...
जानकी की भूमि पर उतरी अयोध्या, श्रीराम के बरात का हुआ भव्य स्वागत, देखें तस्‍वीरें...

सीतामढ़ी [अवध बिहारी उपाध्याय]। मर्यादा पुरूषोत्तम भगवान श्रीराम और माता जानकी की अमर विवाहोत्सव की याद में प्रति वर्ष मनाए जाने वाले विवाह पंचमी को लेकर राम जन्मस्थली अयोध्या से लेकर माता जानकी की जन्मस्थली सीतामढ़ी भक्ति में डूब गया है। वैसे तो वािवाहोत्सव पहली दिसंबर को है, लेकिन इसकी तैयारी जारी है। उत्साह के रंग में मिथिला नरेश राजा जनक की राजधानी और नेपाल की धार्मिक और ऐतिहासिक स्थली जनकपुर भी डूबा हुआ है।

मुजफ्फरपुर में हुई पुष्‍प वर्षा 

इस क्रम में श्रीराम जन्मस्थली अयोध्या से चार दिन और लगभग 400 किमी की दूरी तय कर राम-जानकी विवाहोत्सव को लेकर राम, लक्ष्मण, भरत और शत्रुध्न तथा साधु-संतों की बरात रविवार की शाम जानकी जन्मस्थली सीतामढ़ी पहुंची। मुजफ्फरपुर से रून्नीसैदपुर के रास्ते सीतामढ़ी में दाखिल हुई। रून्नीसैदपुर में बरात का भव्य स्वागत किया गया। शाम 4.40 बजे बरात रून्नीसैदपुर से सीतामढ़ी के लिए निकली। शाम सात बजे सीतामढ़ी शहर में बरात पहुंची और फिर शहर भ्रमण करते हुए पुनौरा गांव को रवाना हुई।

यहां देखें वीडिओ :

श्रीराम जानकी विवाहोत्सव: सीतामढ़ी में श्रीराम के बरात का हुआ भव्य स्वागत। pic.twitter.com/UjXAHxXnIR

— Murari choudhary (@murari_139) November 24, 2019

 

लोगों ने मनाई होली- दीवाली 

देर रात राम-जानकी मंदिर में बरात पहुंची। जहां बरात का भव्य स्वागत किया गया। इसके पूर्व शहर समेत आसपास के इलाकों में बरात का भव्य स्वागत किया गया। शहरवासियों ने पुष्प वर्षा कर बरात का स्वागत किया। भक्ति में डूबे भक्तों ने एक साथ होली-दीवाली भी मनाई। शहरवासियों ने एक ओर आतिशबाजी कर खुशी व्यक्त की तो दूसरी ओर दीप जला दीपोत्सव मनाए। लोगों ने जम कर गुलाल भी उड़ाए।

वीडिओ:

श्रीराम जानकी विवाहोत्सव: सीतामढ़ी में श्रीराम के बरात का हुआ भव्य स्वागत। pic.twitter.com/5swfUb6Lqc — Murari choudhary (@murari_139) November 24, 2019

 

बराती हुए गदगद

पूरे शहर में मंगलगीत गूंजते रहे। महिला और पुरुष भक्ति में डूबे नाचते-गाते नजर आए। अयोध्या से आए साधु-संत स्वागत से गदगद दिखे। इस दौरान हंसी-ठिठोली भी हुई। पाहुन के स्वागत को लोग कतारबद्ध रहे। बताते चलें कि 21 नवंबर को अयोध्या से जनकपुर के लिए बरात रवाना हुई थी। अयोध्या से निकली यह राम बारात यूपी के अंबेडकरनगर, आजमगढ़ के रास्ते बिहार के बक्सर और मुजफ्फरपुर होते हुए रविवार को सीतामढ़ी पहुंची है। 

इस प्रकार होगा कार्यक्रम का आयोजन

25 नवंबर को बरात सीतामढ़ी से बाजपट्टी और पुपरी के रास्ते मधुबनी और जयनगर होते हुए 28 नवंबर को जनकपुर पहुंचेंगी। जहां 29 नवंबर को भगवान श्रीराम का दशरथ मंदिर प्रांगण में तिलकोत्सव का आयोजन होगा, इसके बाद 30 नवंबर को कन्या पूजन के अलावा मटकोर का आयोजन भी किया जाएगा और एक दिसंबर को रामलीला का मंचन धनुष यज्ञ प्रसंग पर होगा।

इसके उपरांत देर रात्रि भगवान श्रीराम व माता जानकी का विवाह विधिपूर्वक संपन्न कराया जाएगा वहीं इस कार्यक्रम के अगले दिन दो दिसंबर को राम कलेवा का आयोजन होगा जिसमें 108 गरीब कन्याओं के सामूहिक विवाह का आयोजन किया जाएगा पूरे आयोजन की समाप्ति के बाद तीन दिसंबर को पुनः भगवान श्रीराम माता जानकी के साथ अयोध्या के लिए प्रस्थान करेंगे। 

बरात में यह हुए शामिल


विश्व हिंदू परिषद मुख्यालय रसेवकपुरम से धर्मयात्रा महासंघ के संयोजन में अयोध्या से पहुंची बरात में अयोध्या संत समिति के अध्यक्ष महंत कन्हैया दास दशरथ, दिगंबर अनी के मंत्री महंत वैष्णो दास महर्षि वशिष्ठ,  हरिद्वार सिद्ध पीठ हनुमान मंदिर के महंत डॉ. वैष्णोदास महर्षि विश्वामित्र की भूमिका में, रामायणी महंत राम अवतार दास के नेतृत्व दो रथ और दर्जनों वाहन के 30 मुख्य संत और 100 अन्य संत बरात में शामिल है।

सुरक्षा के रहे पुख्ता इंतजाम 

बताया गया हैं कि पहली दिसंबर को विवाहोत्सव में नेपाल राज दरबार, भारतीय पीएम नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित साह और यूपी के सीएम योगी आदित्यानंद भी जनकपुर पहुंचेंगे। हालांकि इसकी आधारिकारिक पुष्टि नहीं हो सकी है। पिछली बार यूपी के सीएम योगी आदित्यानंद विवाहोत्सव में शामिल हुए थे। इधर, बरात को लेकर सुरक्षा के पुख्ता के बंदोवस्त किए गए थे। जगह-जगह दंडाधिकारी और सशस्त्र बल तैनात किए गए थे। एसपी अनिल कुमार खुद विधि व्यवस्था की मॉनीटरिंग कर रहे थे।

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