निगम की मनमानी, मोहल्ले में जगह-जगह कचरा और नाले का पानी Muzaffarpur News

1000 घर हैं पड़ाव पोखर मोहल्ले में आउटलेट नहीं होने के कारण नहीं निकल रहा पानी। नारकीय हालात झेल रहे पड़ाव पोखर मोहल्ले के लोग नगर निगम बेपरवाह।

By Ajit KumarEdited By: Publish:Thu, 01 Aug 2019 01:56 PM (IST) Updated:Thu, 01 Aug 2019 01:56 PM (IST)
निगम की मनमानी, मोहल्ले में जगह-जगह कचरा और नाले का पानी Muzaffarpur News
निगम की मनमानी, मोहल्ले में जगह-जगह कचरा और नाले का पानी Muzaffarpur News

मुजफ्फरपुर, जेएनएन। सड़कों पर नाले का पानी बह रहा। दूसरे, गलियों में जमा बारिश का पानी सड़ांध पैदा कर रहा। ऊपर से जगह-जगह कूड़े का ढेर। पशु मोहल्ले में खुलेआम घूम रहे। संक्रामक बीमारियां घरों में दस्तक दे रही हैं। यह हालात है वार्ड 34 स्थित शहर के वीआइपी मोहल्ले पड़ाव पोखर का। मोहल्लावासी नारकीय हालात झेल रहे। लेकिन, इसकी परवाह न निगम अधिकारियों को है, और न ही जनप्रतिनिधियों को। स्मार्ट सिटी की बात मोहल्लावासियों का मुंह चिढ़ा रही। निगम का स्वच्छ, स्वस्थ एवं समृद्धि कार्यक्रम मजाक बन कर रह गया है।

 मोहल्ले में एक हजार से अधिक घर हैं, आबादी 10 हजार से अधिक। यहां की गलियां पक्की हैं, लेकिन मुख्य सड़क जर्जर। मोहल्ले में नाला तो है, लेकिन किसी काम का नहीं। उससे होकर न लोगों के घरों का पानी बाहर निकल पाता, और न ही बरसात का पानी। बारिश में मोहल्ला गंदे पानी का तालाब बन जाता है। मोहल्ले के लेन नंबर दो की हालत बहुत खराब है। बारिश के साथ नाले का पानी सड़क ही नहीं, लोगों के घरों के कैंपस तक में जमा है। राकेश पटेल का कहना है कि लोगों का जीना मुहाल हो गया है। यहां के शेखर कुमार कहते हैं कि शहर को स्मार्ट सिटी बनाने की बात हो रही, लेकिन एक मोहल्ला तक की सफाई निगम नहीं कर पा रहा। निगम के जनप्रतिनिधि किसी काम के नहीं। उनको गुटबाजी और राजनीति से समय मिले तब न मोहल्ले की हालत नजर आएगी।

 इस बारे में वार्ड 34 की शालेहा खातून ने कहा कि मोहल्ले की हालत से निगम प्रशासन को अवगत करा चुकी हूं। आउटलेट नहीं होने के कारण मोहल्ले का पानी बाहर नहीं निकल पाता। लगातार इस बात को उठा रही हूं।

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