आरटीई के बकाया राशि भुगतान के लिए जिला स्कूल में कैंप आठ को

शिक्षा के अधिकार कानून (आरटीई) के दायरे में आने वाले जिले के 65 निजी स्कूलों को बकाया राशि के भुगतान का रास्ता साफ हो गया है।

By JagranEdited By: Publish:Fri, 26 Jun 2020 01:08 AM (IST) Updated:Fri, 26 Jun 2020 01:08 AM (IST)
आरटीई के बकाया राशि भुगतान के लिए जिला स्कूल में कैंप आठ को
आरटीई के बकाया राशि भुगतान के लिए जिला स्कूल में कैंप आठ को

मुजफ्फरपुर : शिक्षा के अधिकार कानून (आरटीई) के दायरे में आने वाले जिले के 65 निजी स्कूलों को बकाया राशि के भुगतान का रास्ता साफ हो गया है। गुरुवार को जिला शिक्षा पदाधिकारी अब्दुस सलाम अंसारी की अध्यक्षता में जिला कार्यक्रम पदाधिकारी और निजी स्कूल संचालकों के बैठक हुई जिसमें यह निर्णय हुआ। जिला स्कूल में आठ जुलाई को कैंप लगाकर आरटीई से संबद्ध विद्यालय संचालकों द्वारा कागजात जमा करने पर ही पैसे निर्गत किए जाएंगे। जांच कमेटी में जिला कार्यक्रम पदाधिकारी अमरेंद्र कुमार पांडेय, लेखा एवं योजना पदाधिकारी नासिर हुसैन सहित शिक्षा विभाग के अन्य अफसर शामिल थे। मौके पर होली मिशन स्कूल के निदेशक गणवंत कुमार मल्लिक, तिरहुत एसोसिएशन ऑफ अनएडेड स्कूल्स के सचिव व इंद्रप्रस्थ इंटरनेशनल स्कूल के निदेशक सुमन कुमार, संयुक्त सचिव सतीश झा सदस्य सुनिल सहाय, रीता पराशर, शरत लहौरी, निदेशक पिस्टाइन स्कूल आदि स्कूल संचालक शामिल थे।

बता दें कि जिले में आरटीई के तहत नामांकित बच्चों के एवज में निजी विद्यालयों को सरकार पैसे देती है। लेकिन पिछले आठ-दस सालों से निजी स्कूल संचालकों को पैसे नहीं मिल रहे थे। इसको लेकर तिरहुत एसोसिएशन ऑफ अनएडेड स्कूल्स संगठन की ओर से एक पखवारे पहले प्रशासन से मिलकर पहल की गई। शिक्षा मंत्री से मिलकर सारी बातों की जानकारी उनके सामने रखी गई। उसके बाद विभाग के अधिकारी सक्रिय हुए। इधर जिला कार्यक्रम पदाधिकारी समग्र शिक्षा अभियान अमरेंद्र कुमार पांडेय ने कहा कि जिला स्कूल में आठ जुलाई को कैंप लगाया गया है। नौ बिंदुओं पर निजी स्कूल संचालकों से आरटीई के सारे कागजात मांगे गए हैं। प्रमाणपत्र देने के बाद ही आरटीई के पैसे निर्गत किए जाएंगे। इधर एसोसिएशन के सचिव ने बताया कि, आरटीई के तहत जो स्कूल संबद्ध नहीं हो सके थे, उन स्कूलों का निबंधन किया जाएगा।

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