कहीं वीरान पड़े विद्यालय भवन तो कहीं खुले में भविष्य संवार रहे बच्चे

लखीसराय। शिक्षा विभाग को बच्चों की शिक्षा से कितना जागरूक है इसका एक नमूना लखीसराय प्रखंड अंतर्गत खग

By JagranEdited By: Publish:Mon, 19 Mar 2018 08:42 PM (IST) Updated:Mon, 19 Mar 2018 08:42 PM (IST)
कहीं वीरान पड़े विद्यालय भवन तो कहीं खुले में भविष्य संवार रहे बच्चे
कहीं वीरान पड़े विद्यालय भवन तो कहीं खुले में भविष्य संवार रहे बच्चे

लखीसराय। शिक्षा विभाग को बच्चों की शिक्षा से कितना जागरूक है इसका एक नमूना लखीसराय प्रखंड अंतर्गत खगौर पंचायत में है। यहां प्राथमिक विद्यालय पूर्वी टोला खगौर जमीन और भवन के अभाव में टीन के नीचे खुले में संचालित हो रहा है। जबकि थोड़ी ही दूर पर उत्क्रमित मध्य विद्यालय खगौर का भवन कई वर्षों से वीरान पड़ा हुआ है। इस विद्यालय का उत्क्रमण उच्च विद्यालय के रूप में वर्ष 2015 में किया गया और तब से ही यह विद्यालय नए भवन में संचालित हो रहा है। अब पुराने भवन का उपयोग नहीं हो रहा है इस कारण यह असामाजिक तत्वों का अड्डा बनता जा रहा है। इस विद्यालय भवन से करीब एक हजार मीटर की दूरी पर प्राथमिक विद्यालय पूर्वी टोला खगौर एक ग्रामीण के रहमोकरम पर बहियार स्थित खुली झोपड़ी में संचालित हो रहा है।

प्रावि के प्रभारी प्रधानाध्यापक ने की मांग

प्राथमिक विद्यालय पूर्वी टोला खगौर के प्रभारी प्रधानाध्यापक मो. सिराज कादरी द्वारा जिला शिक्षा पदाधिकारी, जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (सर्व शिक्षा अभियान) एवं प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को आवेदन देकर उत्क्रमित मध्य विद्यालय खगौर के पुराने विद्यालय भवन में प्रावि को संचालित करने की अनुमति देने मांग की गई। परंतु विभागीय अधिकारियों की फाइल में आवेदन कैद है। अब गर्मी शुरू होते ही विभागीय अधिकारियों की लापरवाही का खामियाजा विद्यालय के बच्चों एवं शिक्षकों को भुगतना पड़ रहा है।

प्रावि पूर्वी टोला खगौर की स्थिति, शिक्षकों व बच्चों की संख्या

प्रभारी प्रधानाध्यापक मो. सिराज कादरी के अलावा सहायक शिक्षक के रूप में सतीष कुमार प्रभात हैं। विद्यालय में प्रथम से पंचम तक कुल छात्र-छात्राओं की संख्या 70 है। विद्यालय की स्थापना होने के बाद वर्ष 2014 में खगौर के ही नरेश यादव ने अपने बहियार स्थित परती जमीन पर अपने खर्च से बांस के खंभे के सहारे टीन (करकट) का छप्पर देकर उसमें अस्थाई रूप से विद्यालय संचालन करने की अनुमति दी। उसी के नीचे पांचों कक्षा के बच्चों को शिक्षा दी जाती है। वर्षा, ठंडा एवं गर्मी तीनों मौसम में बच्चे एवं शिक्षक अध्ययन एवं अध्यापन के बदले अपनी ¨चता करते हैं। यहां पेयजल एवं शौचालय की व्यवस्था नहीं है।

उत्क्रमित मवि के वीरान पड़े भवन की स्थिति

विद्यालय भवन में चार कमरे, दो शौचालय, एक चापाकल एवं एक बरामदा है। विद्यालय भवन सही-सलामत है। सभी कमरे एवं शौचालय में ताला लटका हुआ है। स्थानीय लोग विद्यालय के सामने की जमीन को बालू-गिट्टी आदि रखने एवं बरामदा पर मवेशी बांधने का कार्य कर रहे हैं। शाम होते ही यहां असामाजिक तत्वों का जमावड़ा हो जाता है।

क्या कहते हैं पदाधिकारी

प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी रामविलास प्रसाद ने बताया कि जल्द ही प्राथमिक विद्यालय पूर्वी टोला खगौर को उत्क्रमित मध्य विद्यालय खगौर के पुराने भवन में संचालित कराने की व्यवस्था की जाएगी। अब तक क्यों नहीं हुई के सवाल को बीईओ टाल गए। ऐसे में उनकी लापरवाही ही मानी जा सकती है।

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