इंट्री माफिया के ठिकाने पर कार्रवाई, तीन हिरासत में

गया । समेकित जांच चौकी सुरजमंडल पर गुरुवार को शेरघाटी डोभी और बाराचट्टी थाना की पुलिस ने सुबह छापामारी कर तीन इंट्री माफिया को हिरासत में लिया है।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 25 Feb 2021 09:55 PM (IST) Updated:Thu, 25 Feb 2021 09:55 PM (IST)
इंट्री माफिया के ठिकाने पर कार्रवाई, तीन हिरासत में
इंट्री माफिया के ठिकाने पर कार्रवाई, तीन हिरासत में

गया । समेकित जांच चौकी सुरजमंडल पर गुरुवार को शेरघाटी, डोभी और बाराचट्टी थाना की पुलिस ने सुबह छापामारी कर तीन इंट्री माफिया को हिरासत में लिया है। इंट्री माफिया का शिनाख्त बाराचट्टी थाना क्षेत्र के उपेंद्र कुमार, शम्भू यादव और सुभाष कुमार के रूप में की गई है।

छापामारी दल का नेतृत्व शेरघाटी सर्किल इंस्पेक्टर कर रहे थे। चेकपोस्ट पर लगातार इंट्री माफिया के बढ़ते दबाब से परेशान यहां के ऑपरेटर ने अपने विभाग को इसकी सूचना दिया और कार्य करने में हो रही परेशानी को बताया जिसके बाद उक्त कार्रवाई की गई। बुधवार को एक ऑपरेटर के साथ माफिया के द्वारा गाली-गलौज करने के बाद ऑपरेटर ने अपना क्योस्क बंद कर दिया। क्योस्क बन्द करके डयूटी करने से इनकार कर दिया गया। इसकी सूचना मिलते ही चेकपोस्ट पर उपस्थित आरटीओ हेमन्त कुमार ने खुद क्योस्क खुलवाया और कार्य शुरू करवाया। इसकी सूचना को वरीय अधिकारी को उनके द्वारा दिया गया। तत्पश्चात मौके पर ही बाराचट्टी थाना और डोभी थाना को भेजा गया। चेकपोस्ट पर मंडरा रहे माफिया पुलिस को देखकर फरार हो गया। बुधवार को किसी की भी गिरफ्तारी नहीं हो सकी। सूत्र के अनुसार गुरुवार की कार्रवाई की भनक माफिया को पहले ही मिल चुका था जिसके कारण लगभग सभी लोग फरार हो चुके थे। बताते चलें कि डोभी चेकपोस्ट पर लगभग दो सौ की संख्या में इंट्री माफिया लगातार सक्रिय है। हिरासत में लिए गए लोगों के साथ दो बाइक को भी जप्त किया गया है। बाराचट्टी थाना के एसआई सुधीर सिंह ने कहा कि हिरासत में लिए गए लोगों से पूछताछ किया जा रहा है। इसके बाद अग्रतर कार्रवाई की जायेगी। गुरुवार की कार्रवाई के बाद से माफियाओं ने डर होने की संभावना है। प्रशासन ने चेकपोस्ट पर कार्यरत ऑपरेटर से किसी भी वक्त परेशानी होने की सूचना देने की बात कही गयी है। इंट्री माफिया लगातार रहते है हावी : बगैर सशस्त्र बल का संचालित समेकित जांच चौकी पर इंट्री माफिया का दबदबा हमेशा की तरह आज भी बना हुआ है। जो अपनी बाइक से चेकपोस्ट के आस-पास मंडराते रहते हैं। प्रत्येक गाडियों से चैकपोस्ट पर कराने के एवज में निर्धारित पैसा लेकर पार किया जाता है। इस कार्य में परेशानी करने वाले ऑपरेटर के साथ भी धक्का-मुक्की तक कर बैठते है। चेकपोस्ट पर सशस्त्र बल नहीं होने से माफिया का मनोबल काफी ऊंचा रहता है।

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