बिहार में हादसे की सुबह-ट्रक से टकराया अॉटोरिक्शा, पांच यात्रियों की दर्दनाक मौत

भागलपुर के नारायणपुर में आज सुबह हुए सड़क हादसे में 5 लोगों की मौत हो गई वहीं चालक गंभीर रुप से घायल हो गया।

By Kajal KumariEdited By: Publish:Wed, 06 Jun 2018 09:59 AM (IST) Updated:Wed, 06 Jun 2018 10:27 PM (IST)
बिहार में हादसे की सुबह-ट्रक से टकराया अॉटोरिक्शा, पांच यात्रियों की दर्दनाक मौत
बिहार में हादसे की सुबह-ट्रक से टकराया अॉटोरिक्शा, पांच यात्रियों की दर्दनाक मौत
भागलपुर [जेेएनएन]। बिहार के भागलपुर के भवानीपुर ओपी क्षेत्र में एनएच-31 पर बुधवार को एक ट्रक और ऑटो की टक्कर में पांच लोगों की मौत हो गई। हादसा सुबह साढ़े छह बजे रामूचक गांव के पास हुआ। घटना के बाद चालक ट्रक लेकर भाग गया।
मृतकों में ऑटो चालक सह मालिक खगडिय़ा जिले के मानसी चूकती गांव निवासी उपेंद्र यादव के पुत्र सिकंदर यादव (36), सहरसा जिले के सौर बाजार थाना क्षेत्र के चंदौर निवासी हजारी प्रसाद यादव के पुत्र शिक्षक मिथिलेश यादव (40), बांका जिले के फुल्लीडुमर थाना क्षेत्र के कैथा गांव निवासी भूदेव यादव के पुत्र सिंटू यादव (19), नवगछिया अनुमंडल के बैसी जहांगीरपुर निवासी रामचंद्र राम (43) और भागलपुर के बरारी हाउसिंग कॉलोनी निवासी आशुतोष कुमार सिंह शामिल हैं।
घटना की सूचना पर भवानीपुर ओपी प्रभारी, अनि विजयशंकर सिंह दलबल के साथ घटनास्थल पर पहुंचे और सभी को पीएचसी नारायणपुर ले जाया गया। वहां से सभी मृतकों का पंचनामा तैयार कर पोस्टमार्टम के लिए अनुमंडलीय अस्पताल नवगछिया भेजा गया। दुर्घटना को लेकर भवानीपुर ओपी में चौकीदार के बयान पर प्राथमिकी दर्ज की गई है।
मानसी खगडिय़ा स्टेशन से नवगछिया जा रहे थे लोग
ऑटो चालक सिकंदर यादव चार सवारी लेकर मानसी खगडिय़ा स्टेशन से नवगछिया जा रहा था। इसी दौरान एनएच-31 पर ट्रक ने ऑटो को सामने से जोरदार टक्कर मार दी। ऑटो दुर्घटनाग्रस्त होकर सड़क से नीचे जा पलट गया। इसमें ऑटो पर बीच सीट पर बैठे शिक्षक मिथिलेश यादव, सिंटू यादव और आशुतोष कुमार की मौके पर ही मौत हो गई। जबकि गंभीर रूप से जख्मी रामचंद्र राम ने पीएचसी नारायणपुर में दम तोड़ा। ऑटो चालक सिकंदर यादव को गंभीर हालत में पीएचसी से जेएलएमएनसीएच भागलपुर रेफर किया गया, लेकिन रास्ते में ही उसकी भी मौत हो गई। सभी के सिर में गंभीर चोट लगी थी, जिसके कारण मौत हुई।
परिजनों में मचा कोहराम
रामचंद्र की मौत की खबर पर उसका पुत्र सोनू, मोनू और बहन पीएचसी पहुंचे। तीनों रामचंद्र के शव से लिपटकर रोने लगे। लोगों ने उन्हें दिलासा दिलाकर चुप करने का प्रयास किया लेकिन कोई भी अपने आप को संभाल नहीं पा रहा था। सिकंदर ने 25 मार्च को ही परिवार की आजीविका के लिए लोन पर ऑटो खरीदा था। ऑटो वह खुद चलाता था।
मौत से पूर्व जमीन पर लिटाकर जख्मी का हुआ इलाज
सड़क दुर्घटना के शिकार सिकंदर यादव और रामचंद्र राम को पीएचसी नारायणपुर में जमीन पर लिटाकर इलाज किया गया। जिंदगी और मौत से जूझ रहे दोनों व्यक्ति को पीएचसी में बिस्तर नसीब नहीं हुआ। इतना ही नहीं, दोनों को पीने के लिए पीएचसी में पानी भी नहीं मिला।
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