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Coronavirus Cure: जानें क्या है Nitric Oxide और कैसे करेगी कोरोना वायरस संक्रमण में मदद?

Coronavirus Cure पिछले साल दिसबर में शुरू हुआ कोरोना वायरस आज भी दुनियाभर में अपना कहर बरपा रहा है। 10 महीनों के बाद भी न तो इस बीमारी का कोई इलाज है और न ही वैक्सीन। ऐसे में वैज्ञानिक और हेल्थ एक्सपर्ट्स कोविड-19 का अलग-अलग इलाज ढूंढ़ने में लगे हैं।

By Ruhee ParvezEdited By: Published: Tue, 20 Oct 2020 09:41 AM (IST)Updated: Tue, 20 Oct 2020 02:01 PM (IST)
Coronavirus Cure: जानें क्या है Nitric Oxide और कैसे करेगी कोरोना वायरस संक्रमण में मदद?
नाइट्रिक ऑक्साइड कोविड-19 से उबरने में मदद कर सकती है।

नई दिल्ली, लाइफस्टाइल डेस्क। Coronavirus Cure: दुनिया के सभी देशों की सरकारें इस वक्त कोविड-19 के खिलाफ जल्द से जल्द वैक्सीन विकसित करने में लगी हैं। इस वक्त करीब 40 वैक्सीन उम्मीदवार मानव परीक्षण के स्टेज पर पहुंच गई हैं, जिनमें से कई आखिरी स्टेज पर पहुंच चुकी हैं। भारत में, तीन उम्मीदवार नैदानिक ​​परीक्षण के विभिन्न चरणों में हैं।

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हाल ही में, भारतीय ड्रग कंट्रोल जनरल (DCGI) ने डॉ. रेड्डी की प्रयोगशालाओं को देश में रूसी स्पुतनिक वी वैक्सीन के चरण 2/3 परीक्षणों का संचालन करने की स्वीकृति दी है। फिर भी, इस बात की कोई गारंटी नहीं है कि ये टीका कोविड-19 के खिलाफ काम करेगा या नहीं। वहीं, हाल ही में हुए एक शोध में ये बात सामने आई है कि जब तक कोई वैक्सीन नहीं आती तब तक नाइट्रिक ऑक्साइड कोविड-19 से उबरने में मदद कर सकती है और लाखों लोगों की जान बचा सकती है।

क्या है नाइट्रिक ऑक्साइड

मूल रूप से, नाइट्रिक ऑक्साइड शरीर में प्राकृतिक रूप से उत्पादित एक पदार्थ है, जो मानव स्वास्थ्य में कई महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। रिसर्च के अनुसार, ये एक एंटीमाइक्रोबियल और एंटी-इंफ्लामेटरी मोलीक्यूल है, जो पल्मानरी वैस्क्यूलर के काम में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है

जर्नल रेडॉक्स बायोलॉजी में प्रकाशित अध्ययन में, ये यौगिक एक हार्मोन के रूप में कार्य करता है और विभिन्न अंगों को नियंत्रित करता है, जिसमें रक्त वाहिकाओं की मांसपेशियों में तनाव और अंगों के बीच और भीतर रक्त प्रवाह होना शामिल है।

क्या नाइट्रिक ऑक्साइड से संभव है कोविड-19 का इलाज? 

उप्साला विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं के अनुसार, अगर फेफड़े तीव्रता से विफल होते हैं, तो ऐसे में नाइट्रिक ऑक्साइड को सांस के ज़रिए कम मात्रा में गैस के रूप में दिया जा सकता है, इससे रक्त में ऑक्सीजन में सुधार होने लगता है। 2003 में SARS कोरोना महामारी के दौरान इस थेरेपी को सफलता के साथ आज़माया गया था।

उप्साला विश्वविद्यालय में प्रोफेसर और अध्ययन का नेतृत्व कर रहे एके लुंडकविस्ट ने कहा, "हमारे ज्ञान के अनुसार, नाइट्रिक ऑक्साइड एकमात्र पदार्थ है जिसे अब तक SARS-CoV-2 पर सीधा प्रभाव दिखाया गया है।" 

एके लुंडकविस्ट ने कहा, "जब तक हमें एक सफल वैक्सीन नहीं मिलती जाती, तब तक हमें नाइट्रिक ऑक्साइड (NO) से ही आशा है। ये उन मरीज़ों के काफी प्रभावी हो सकती है, जिन्हें कोरोना वायरस के चलते सांस लेने में दिक्कत आने लगती है।" 

उपचार के शुरू करने में नाइट्रिक ऑक्साइड की सही खुराक और समय इसके परिणाम में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं, इसलिए अब जल्द से जल्द इसे समझने की और तलाश करने की ज़रूरत है।

Disclaimer: लेख में उल्लिखित सलाह और सुझाव सिर्फ सामान्य सूचना के उद्देश्य के लिए हैं और इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी सवाल या परेशानी हो  या फिर कोरोना वायरस होने पर खुद से दवाएं न लें बल्कि फौरन अपने डॉक्टर से संपर्क करें।


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