Coronavirus Attack: सिर्फ फेफड़ों को ही नहीं बल्कि इन 8 अंगों पर हमला करता है कोरोना वायरस
Coronavirus Attack असल में काफी हद तक साइटोकीन स्टॉर्म इस अंगों को नुकसान पहुंचाने की ज़िम्मेदार होती हैं हालांकि एक्सपर्ट्स अब भी दूसरे वजहों को ढूंढ़ने में लगे हैं।
नई दिल्ली, लाइफस्टाइल डेस्क। Coronavirus Attack: वैसे तो, कोरोना वायरस फेफड़ों से जुड़ा संक्रमण है, लेकिन डॉक्टर्स और शोधकर्ताओं की रिपोर्ट के अनुसार ये वायरस फेफड़ों के अलावा, दिल, किडनी, आंत्र नाल और लीवर को भी प्रभावित करता है। असल में काफी हद तक, साइटोकीन स्टॉर्म इस अंगों को नुकसान पहुंचाने की ज़िम्मेदार होती हैं, हालांकि, एक्सपर्ट्स अब भी दूसरे वजहों को ढूंढ़ने में लगे हैं। क्योंकि ये वायरस शरीर के कई अंगों को प्रभावित करता है, इसलिए इस बीमारी के स्वाभाव का पता लगाना मुश्किल हो रहा है और साथ ही इससे उबरने में कई मुशकिलें भी आती हैं।
किडनी
अमेरिका में जो लोग कोरोना वायरस की वजह से अस्पताल में भर्ती हुए, उनमें से आधे लोगों के मूत्र में ख़ून या प्रोटीन पाया गया, जिसका मतलब है कि उनकी किडनी को नुकसान पहुंच रहा था। न्यूयॉर्क और वुहान में 14 से 30 प्रतिशत कोरोना वायरस के मरीज़ों को किडनी फेलियर की वजह से डायलसिस या रीनल रिप्लेसमेंट थेरेपी की ज़रूरत पड़ी थी।
दिल
चीन और न्यूयॉर्क के डॉक्टरों ने ऐसे कई मामले देखे, जिसमें कोरोना वायरस मरीज़ों के दिल को नुकसान पहुंचा। मरीज़ों के दिल में इंफ्लामेशन यानी मयोकारडाइटिस और एरिथमिया जैसी दिक्कतें भी देखी गईं, जिसकी वजह से कार्डियेक अरेस्ट होता है।
ब्लड क्लॉट्स
कई मरीज़ पलमनरी एम्बोलिज़म के शिकार हो गए, जिसमें नसों में ब्लड क्लॉटिंग हो जाती है और कई रक्त-वाहिकाएं फट जाती हैं, जिससे खून फेफड़ों में चला जाता है, और मरीज़ की मौत हो जाती है। वुहान में कोरोना वायरस के 80 मरीज़ों पर शोध किया, जिसमें से 20 पलमनरी एम्बोलिज़म के शिकार हुए और उनमें से 8 की जान चली गई। अमेरिका में कोरोना के मरीज़ों को इस बीमारी से बचाने के लिए खून को पतला करने की दवाइयां दी जा रही हैं।
गंध और स्वाद न आना
हाल ही ये साबित हुआ कि गंध और स्वाद का न आना भी कोरोना वायरस का लक्षण है। अक्सर गंभीर लक्षणों से पहले लोगों ने सूंघने और स्वाद चखने की क्षमता खो दी।
आंखें
कई मामलों में पिंक आई या कंजेक्टीवाइटिस देखा गया है। चीन के 38 मरीज़ों के शोध में पता कि हर तीसरे मरीज़ को कंजेक्टीवाइटिस हुआ था। हालांकि, ऐसे लक्षण कम लोगों में दिखें है, शोध का कहना है कि ऐसा तब होता है जब कोरोना वायरस आंख के रास्ते शरीर में प्रवेश करता है।
गैस्ट्रोइन्टेस्टनल ट्रैक्ट
चीन में हुए एक शोध में पाया गया कि कोरोना वायरस के आधे मरीज़ों को डायरिया और उलटी जैसी दिक्कतें हुईं।
लिवर
कोरोना वायरस के कई मरीज़ों में गंभीर हैपेटाइटिस देखा गया। जिसकी वजह डॉक्टरों ने कोरोना वायरस बताई।