घूस के चक्कर में कई सरकारी मुलाजिम चढ़ चुके हैं एसीबी के हत्थे
संवाद सहयोगी, चाईबासा : पश्चिम ¨सहभूम जिले में भ्रष्टाचार चरम पर है। यह जिला आदिवासी बहुल होने के न
संवाद सहयोगी, चाईबासा : पश्चिम ¨सहभूम जिले में भ्रष्टाचार चरम पर है। यह जिला आदिवासी बहुल होने के नाते भोले-भाले लोगों को परेशान करने के साथ ही छोटा हो या बड़ा किसी भी काम को पूरा कराने के लिए रिश्वत की मांग खुलेआम की जाती है। कुछ लोग हिम्मत कर आगे बढ़कर इंसाफ के लिए एसीबी के दरवाजे तक पहुंच जाते है, लेकिन ज्यादातर लोग अपने काम के लिए रिश्वत देकर निकल जाना ही बेहतर समझते हैं। इन सभी को देखते हुए सरकार ने भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो का कार्यालय चाईबासा मुख्यालय में खोला। । जिसमें कई लोग रिश्वत लेने के चक्कर में फंसे भी। इसमें नया मामला झींकपानी के एएसआइ विजय कुमार के नाम रहा, जिन्होंने एक महिला से केस रफादफा करने के एवज में पैसे की मांग की गई। जिसे एसीबी की टीम गिरफ्तार कर बुधवार को जमशेदपुर ले गई। इससे पूर्व अवर निबंधन कार्यालय में फरवरी 2018 में क्लर्क शशिकांत कुमार व एक दलाल नागेंद्र बिरुवा को जमीन के एक मामले में एक हजार रुपये रिश्वत लेते गिरफ्तार किया गया था। चाईबासा ट्रेजरी में क्लर्क राजेन्द्र कुंकुल को 6 हजार रुपये नगद रिश्वत लेते एसीबी की टीम ने गिरफ्तार किया था। 7 मार्च 2017 को पेयजल विभाग के जूनियर इंजीनियर रामप्रित सलैता को 8 हजार व उनके सहयोगी क्लर्क रंजित कुमार को 5 हजार रुपये के साथ रंगेहाथ एसीबी की टीम ने गिरफ्तार किया था। 3 जून 2017 को सदर इंस्पेक्टर प्रेम मोहन प्रसाद मेहता को एक केस में रिश्वत मांगने पर 18 हजार रुपये नकद के साथ एसीबी की टीम ने धर दबोचा था। वहीं मुफस्सिल थाना में एक एएसआइ को रिश्वत लेते गिरफ्तार किया गया था। जिसमें तत्कालीन थाना प्रभारी को हटा दिया गया था। वहीं शिक्षा विभाग में भी एक कंप्यूटर ऑपरेटर को रिश्वत लेते एसीबी की टीम ने गिरफ्तार किया था।