पूर्णचंद्र बिरुवा ने कोल्हान की शिक्षा में जोड़ा था नया अध्याय : मुकेश बिरुवा
टाटा कॉलेज के संस्थापक सचिव स्व. पूर्णचंद्र बिरुवा की 23वीं पुण्यतिथि बिरुवा नगर स्थित लगड़ा बासा में आदिवासी हो समाज सेवानिवृत्त संगठन के तत्वावधान में मनाई गई।
संवाद सहयोगी, चाईबासा : टाटा कॉलेज के संस्थापक सचिव स्व. पूर्णचंद्र बिरुवा की 23वीं पुण्यतिथि बिरुवा नगर स्थित लगड़ा बासा में आदिवासी हो समाज सेवानिवृत्त संगठन के तत्वावधान में मनाई गई। सभा को संबोधित करते हुए मुकेश बिरुवा ने कहा कि पूर्णचंद्र बिरुवा ने कोल्हान के लोगों के दुख-दर्द को समझा और शिक्षा के पिछड़ेपन को महसूस किया कि चाईबासा में कॉलेज की स्थापना से ही लोगों का विकास होगा। इस प्रकार से कोल्हान के सभी वर्ग के लोगों को इसका फायदा मिला।
मौके पर हो साहित्यकार डोबरो बिरुली ने कहा कि चाईबासा में कॉलेज की स्थापना होने से कोल्हान में शिक्षा में क्रांति आई। खासकर गरीब आदिवासी और दलित तबके के लोग जो कि रांची या हजारीबाग जैसे सुदूर स्थान नहीं जा सकने वालों के लिए यह वरदान साबित हुआ और ऐसे लोग उच्च शिक्षा पाकर किसी न किसी संस्थान में नौकरी कर एक सुखी जीवन बीता रहे हैं। सेवानिवृत्त शिक्षक बागुन बोदरा ने कहा कि चाईबासा में कॉलेज का निर्माण नहीं होता तो मैं शिक्षक भी नहीं बनता। इसके लिए मैं टाटा कॉलेज के संस्थापक सचिव स्व. पूर्णचंद्र बिरुवा का शुक्रिया अदा करता हूँ। इस प्रकार से मेरे जैसे गरीब लोगों का विकास हुआ। राजेश कुमार बिरुवा ने कहा कि पूर्णचन्द्र बिरुवा के बताए मार्ग पर चल कर ही समाज का कल्याण और विकास होगा। प्रताप ¨सह कुंकल ने भी उनकी जीवनी पर प्रकाश डाला। बैठक में मुख्य रूप से बागुन बोदरा, सिदिऊ होनहागा, मुकेश बिरुवा, डोबरो बिरुली, ज्योतिष बिरुवा, सनातन बिरुवा, बाबलू तुबिद, राजेश कुमार बिरुवा, प्रताप ¨सह कुंकल, सुखलाल पुरती, हरिश्चंद्र सिरका, हाईबुरू, शिवचरण कालुंडिया, रामेश्वर सावैयां, रविंद्र नाथ बिरुली, वीर ¨सह बारी और केरसे देवगम शामिल थे। सभा के अंत में सभापति सुखलाल पुरती ने धन्यवाद ज्ञापन किया।