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जिले के 50 अप्रशिक्षित पारा शिक्षकों की जाएगी नौकरी

सरायकेला- खरसावां जिले के 50 अप्रशिक्षित पारा शिक्षकों को हटाया जाएगा।

By JagranEdited By: Published: Thu, 07 Nov 2019 06:01 PM (IST)Updated: Sun, 10 Nov 2019 06:29 AM (IST)
जिले के 50 अप्रशिक्षित पारा शिक्षकों की जाएगी नौकरी
जिले के 50 अप्रशिक्षित पारा शिक्षकों की जाएगी नौकरी

जागरण संवाददाता, सरायकेला : सरायकेला- खरसावां जिले के 50 अप्रशिक्षित पारा शिक्षकों को हटाया जाएगा। केंद्र सरकार इन्हें दोबारा मौका नहीं देगी। इस संबंध में राज्य सरकार ने निर्देश जारी कर दिया है। दरअसल, केंद्र सरकार ने यह निर्णय लिया था कि 31 मार्च 2019 के बाद किसी भी स्कूल में अप्रशिक्षित शिक्षक नहीं रहेंगे। चाहे वह स्कूल सरकारी हो या निजी। इसके बाद मुख्यमंत्री रघुवर दास ने अप्रशिक्षित पारा शिक्षकों को डीएलएड करने के लिए एक साल का मौका देने की अपील केंद्र से की थी, लेकिन केंद्र ने स्पष्ट कर दिया है कि 31 मार्च 2019 के बाद कोई शिक्षक अप्रशिक्षित नहीं रहेंगे। केंद्रीय स्कूली शिक्षा व साक्षरता मंत्रालय की निदेशक राशि शर्मा ने सभी राज्यों के शिक्षा विभाग को निर्देश दिया है कि अगस्त 2017 में ही सभी राज्यों को स्पष्ट कर दिया गया था कि 31 मार्च 2019 के बाद स्कूलों में कोई अप्रशिक्षित शिक्षक नहीं रहेंगे। निर्धारित तिथि से शिक्षकों की न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता डीएलएड रखी गई है। जिले के 50 अप्रशिक्षित पारा शिक्षक कार्य मुक्त होंगे। अप्रशिक्षित पारा शिक्षक किसी हाल में स्कूलों में शैक्षणिक काम नहीं कर पाएंगे।

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31 मार्च 2019 के बाद शैक्षणिक कार्य कर रहे पारा शिक्षको का मानदेय भी भुगतान नही होगा। इसलिए सभी अप्रशिक्षित पारा शिक्षको को कार्य मुक्त किया जाए। इसी आलोक में राज्य परियोजना निदेशक द्वारा पत्र जारी कर जिले के सभी अप्रशिक्षित पारा शिक्षक को कार्य मुक्त कर यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है कि वे काम पर नही जाएंगे। परियोजना निदेशक द्वारा डीईओ, डीएसई को जारी पत्र में उल्लेख है कि भारत सरकार के निर्देश के अनुसार अप्रशिक्षित शिक्षको को मार्च 2019 तक प्रशिक्षण प्राप्त कर लेना था। इसी आधार पर राज्य परियोजना कार्यालय द्वारा डीएलएड में असफल हुए पारा शिक्षको को कार्यमुक्त करने का निर्देश दिया गया। अप्रैल से ही मानदेय किया गया है। अप्रशिक्षित पारा शिक्षकों का मानदेय अप्रैल से ही बंद है। नेशनल स्कूल ऑफ ओपेन स्कूलिग की ओर से आयोजित डीएलएड की परीक्षा में ये पास नहीं कर सके थे। जून 2019 में परिणाम आने और एनआइओएस की रिपोर्ट के आधार पर शिक्षा विभाग ने पारा शिक्षकों के मानदेय पर रोक लगा दी है। संबंधित पारा शिक्षक फिलहाल स्कूल में कार्यरत हैं।


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