हेमंत सरकार शहीदों को सम्मान देने में उदासीन, JDU प्रदेश अध्यक्ष ने हर माह 10 हजार की सहायता देने की घोषणा की
जदयू प्रदेश अध्यक्ष सालखन मुर्मू ने मंगलवार को भोगनाडीह में रामेश्वर मुर्मू की पत्नी से भेंट की। उन्होंने कहा कि सरकार शहीदों के परिजनों को उचित सम्मान नहीं दे रही है। सिदो-कान्हू के वंशज की संदिग्ध मौत के बाद भी मुख्यमंत्री अब तक यहां नहीं आए।
साहिबगंज, जेएनएन। राज्य की झामुमो सरकार शहीदों के परिजनों को उचित सम्मान नहीं दे रही है। सिदो-कान्हू के वंशज परिवार के रामेश्वर मुर्मू की संदिग्ध मौत होने के बाद भी अब तक बरहेट विधानसभा क्षेत्र के विधायक सह राज्य के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन परिजनों से भेंट करने तक भोगनाडीह नहीं आए। ये बातें आदिवासी सेंगेल अभियान के राष्ट्रीय अध्यक्ष सह जदयू प्रदेश अध्यक्ष सालखन मुर्मू ने मंगलवार को भोगनाडीह में रामेश्वर मुर्मू की पत्नी से भेंट करने के बाद पत्रकारों से कही।
मुर्मू ने कहा कहा कि सिदो-कान्हू वंशज परिवार से रामेश्वर मुर्मू की मौत 12 जून को होने के बाद से ही वंशज परिवार के द्वारा इसकी जांच सीबीआइ से कराने की मांग की जा रही है, पर आज तक इस मांग का फैसला सरकार नहीं कर सकी है। इससे लगता है कि वंशज परिवार के प्रति सरकार कितना गंभीर हैं। उन्होंने कहा कि अब तक मृतक के परिजन से हेमंत सोरेन ने भेंट तक नहीं किया है। यह सरकार के शहीद परिवारों के कथनी और करनी को स्पष्ट दर्शाता है।
उन्होंने कहा कि आदिवासी सेंगेल अभियान के तहत शहीद वंशज परिवार के रामेश्वर मुर्मू की पत्नी को तत्काल 10 हजार की आर्थिक सहायता दी गई। परिवार को प्रतिमाह 10 हजार की राशि एक वर्ष तक दी जाएगी। वंशज परिवार के बच्चों के बीच लिए कालिंगा इंस्टीट्यूट ऑफ सोशल साइंस ओडि़शा में आदिवासियों के लिए बने कॉलेज में सभी बच्चों की पढ़ाई का जिम्मा लिया गया है। इसके लिए परिवार से भेंट कर अपनी इच्छा जाहिर की गई। इसपर परिजनों ने शिक्षा के लिए नामांकन कराने की सहमति दे दी है।
सालखन मुर्मू ने कहा कि शहीद सिदो-कान्हू तथा बिरसा मुंडा के वंशजों के लिए सरकार दो ट्रस्ट का बनाए, जिसमें एक-एक करोड़ रुपए जमा की जाए और वंशज परिवार के पांच-पांच सदस्यों की देखरेख में इसका संचालन हो। इसकी सूद की राशि परिजन खर्च कर सकें जिससे उनकी आर्थिक स्थिति सुधर सकती है। उन्होंने कहा कि अगर सरकार इस पर पहल नहीं करती है तो वह स्वयं ट्रस्ट बनाकर आम लोगों से सहयोग लेंगे। इस दिशा में कदम बढ़ाएंगे।
इस मौके पर साहिबगंज और पाकुड जिले के कार्यकर्ताओं से भेंट कर कहा कि 25 सितंबर को आयोजित सरकार के खिलाफ पुतला दहन कार्यक्रम में बढ़-चढ़कर भाग लें। यह पांच सूत्री मांगों को लेकर किया जा रहा है। इसमें रामेश्वर मुर्मू की हत्या की सीबीआइ जांच, हिंदी के साथ संथाली भाषा को राजभाषा का दर्जा देने, सरना धर्म कोड की मांग को मान्यता देने, झारखंडी डोमिसाइल तुरंत बनाने तथा ट्रस्ट का निर्माण जल्द से जल्द करने की मांग शामिल है। इस मौके पर आदिवासी सेंगेल अभियान की राष्ट्रीय महिला अध्यक्ष सुमित्रा मुर्मू, जदयू के प्रदेश अध्यक्ष गया प्रसाद साह, डॉ. रामानंद साह, तिलका मुर्मू, बीमो मुर्मू, पंकज हेम्ब्रम, कमीशन मुर्मू, दुख मुर्मू, महेश मुर्मू, मंडल मुर्मू आदि मौजूद थे।