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छात्र टूरिस्ट पैलेस की बजाए ऐतिहासिक स्थलों का करें भ्रमण : वीसी

विद्यार्थी शैक्षिक भ्रमण के लिए ऐतिहासिक स्थलों का चयन करें।

By JagranEdited By: Published: Wed, 20 Nov 2019 03:31 AM (IST)Updated: Wed, 20 Nov 2019 06:19 AM (IST)
छात्र टूरिस्ट पैलेस की बजाए ऐतिहासिक स्थलों का करें भ्रमण : वीसी
छात्र टूरिस्ट पैलेस की बजाए ऐतिहासिक स्थलों का करें भ्रमण : वीसी

जागरण संवाददाता, रांची :विद्यार्थी शैक्षिक भ्रमण के लिए ऐतिहासिक स्थलों का चयन करें। ऐतिहासिक स्थल पर जाने से समृद्ध संस्कृति से रू-ब-रू होने का मौका मिलेगा। कई सारी जानकारियां भी मिलेंगी। इतिहास के विद्यार्थी के लिए ऐतिहासिक स्थल जानकारी का खजाना साबित होगा। ये बातें मंगलवार को रांची विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो रमेश कुमार पांडेय ने कही। वे व‌र्ल्ड हेरिटेज वीक के अवसर पर ऑर्कियोजिकल सर्वे ऑफ इंडिया, रांची सर्किल की ओर से आयोजित सात दिवसीय चित्र प्रदर्शनी के उद्घाटन पर बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि स्कूल में पढ़ने के दौरान मैं देश के विभिन्न ऐतिहासिक स्थलों पर परिभ्रमण करने के लिए जाता था। लगभग सभी स्थलों का भ्रमण कर चुका हूं। आज कल के विद्यार्थी शैक्षणिक भ्रमण के नाम पर टूरिस्ट पैलेस घूम कर चले आते हैं। विद्यार्थियों को संस्कृति व इतिहास से नाता टूट रहा है। कार्यक्रम में इतिहास विभाग के शिक्षक व छात्रों की कम उपस्थिति पर भी चिंता जतायी। उन्होंने कहा कि इस प्रकार के कार्यक्रम स्कूल व कॉलेज स्तर पर भी होनी चाहिए। ऑर्कियोलॉजी सर्वे ऑफ इंडिया रांची विवि के साथ मिलकर काम करें तो बेहतर परिणाम आएगा।

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प्रतिकुलपति डॉ. कामिनी कुमार ने कहा कि राज्य के ऐतिहासिक स्थल तक पहुंचने के लिए निश्शुल्क बस सेवा की व्यवस्था होनी चाहिए। राज्य सरकार को इसपर पहल करनी होगी। आर्कियोलॉजी सर्वे ऑफ इंडिया, रांची विवि के इतिहास, आर्कियोलॉजी और जनजाति भाषा विभाग के साथ मिलकर साझा कार्यक्रम चलाएं। इसको जमीनी स्तर तक ले जाएं। मौके पर आर्कियोलॉजी सर्वे ऑफ इंडिया के अधीक्षण पुरातत्वविद एसके भगत, डॉ आईके चौधरी, डॉ हरेंद्र प्रसाद, डॉ एचएस पांडेय, गिरिधारी लाल गंझू आदि उपस्थित थे।

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ऐतिहासिक धरोहर से जुड़े चित्र की लगाई गई प्रदर्शनी

ऑड्रे हाउस में भारत में विश्व स्तरीय ऐतिहासिक धरोहरों से संबंधित चित्र की प्रदर्शनी लगाई गई। इसमें आगरा किला, अजंता-एलोरा गुफा, ताज महल, महाबलीपुरम के स्मारक समूह, सूर्य मंदिर कोणार्क, गोवा गिरिजाघर, फतेहपुर सिकरी, हम्पी के स्मारकों का समूह, एलीफेंटा गुफाएं, चोल मंदिर समूह, सांची का बौद्ध स्मारक आदि शामिल है।

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कुलपति ने कहा, हम खुद बच्चों को लेकर आएंगे

चित्र प्रदर्शनी के उद्घाटन के दौरान कुलपति डॉ रमेश कुमार पांडेय ने इस प्रकार के प्रयास की काफी सराहना की। उन्होंने कहा कि वे खुद बच्चों को चित्र प्रदर्शनी में लेकर आयेंगे। औरों को भी आने के लिए प्रेरित करेंगे। बच्चों के बनाए चित्र को विभागीय कैलेंडर में मिलेगी जगह जासं, रांची: व‌र्ल्ड हेरिटेज वीक पर कला सांस्कृतिक निदेशालय, पुरातत्व प्रक्षेत्र की ओर से ऑड्रे हाउस में आयोजित दो दिवसीय वर्कशॉप मंगलवार को संपन्न हुआ। 18 स्कूलों के 100 बच्चों ने कैनवास पर झारखंड की विभिन्न ऐतिहासिक धरोहरों को उकेरा। इसमें जगन्नाथ मंदिर, मलूटी मंदिर समूह, दिउड़ी मंदिर आदि की कलाकृति शामिल हैं। बेहतरीन कलाकृति बनाने वाले बच्चों को निदेशक दीपक कुमार शाही के द्वारा पुरस्कृत किया गया। कार्यक्रम का संयोजन कलाकृति स्कूल ऑफ आर्ट्स द्वारा किया गया। मौके पर उप निदेशक अमिताभ कुमार, सहायक निदेशक विजय पासवान, एसडी सिंह, कलाकृति स्कूल ऑफ आ‌र्ट्स के निदेशक धनंजय कुमार, ब्रजेश अधिकारी, सावन कुमार, सौरभ कुमार, अर्जुन कुमार, रजनी कुमारी, अजय कुमार आदि उपस्थित थे। चित्रकला प्रतियोगिता में ये हुए विजयी

प्रथम पुरस्कार सोहम मजूमदार (ऑक्सफोर्ड स्कूल), द्वितीय पुरस्कार स्पर्श (जेवीएम श्यामली) एवं तृतीय पुरस्कार डीपी एस के वेद वत्सल एवं सात्वना पुरस्कार: अभिज्ञान कृष्णा , तापस दो, आदित्य सुमन, वैदेही को मिला। वहीं ग्रुप बी में जेवीएम श्यामली की जाया प्रथम, सचिदानंद स्कूल के हर्ष रंजन द्वितीय एवं टेंडर हार्ट की सृष्टि परमार को तृतीय स्थान मिला। सात्वना पुरस्कार: अनन्या शर्मा, सक्षम टोप्पो , प्रियम प्रकाश, समीर कुमार को मिला।


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