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चिट्ठी आई है...लेटर बम से भाजपा में भूचाल...शर्मिंदा सरयू राय को अर्जुन मुंडा का साथ

Saryu Roy. भाजपा की ओर से कहा गया है कि अखबारों के जरिये संवाद की परंपरा नहीं है। इधर सरयू राय ने पूर्व मुख्‍यमंत्री अर्जुन मुंडा से मुलाकात की । मुंडा संगठन में मंत्रीजी की बात रखेंगे।

By Alok ShahiEdited By: Published: Mon, 11 Feb 2019 09:10 AM (IST)Updated: Mon, 11 Feb 2019 05:19 PM (IST)
चिट्ठी आई है...लेटर बम से भाजपा में भूचाल...शर्मिंदा सरयू राय को अर्जुन मुंडा का साथ
चिट्ठी आई है...लेटर बम से भाजपा में भूचाल...शर्मिंदा सरयू राय को अर्जुन मुंडा का साथ

रांची, राज्य ब्यूरो। झारखंड की रघुवर दास सरकार में कैबिनेट मंत्री रहकर शर्मिंदा और अपने चिट्ठीयों से सूबे में सियासी खलबली मचाने वाले मंत्री सरयू राय के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह को लिखे पत्र से प्रदेश भाजपा में भूचाल आ गया है। इसका असर भी साफ देखने को मिल रहा है। पहली बार भाजपा ने सरयू राय पर प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव के माध्यम से प्रहार किया है। भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव ने कहा कि अखबारों के जरिये संवाद स्थापित करने की परंपरा भाजपा में नहीं है। पार्टी ने इसे गंभीरता से लिया है।

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प्रतुल ने कहा कि राष्ट्रीय अध्यक्ष को लिखी गई चिट्ठी मजमून का लीक होना दुर्भाग्यपूर्ण है, ऐसा पहले कभी नहीं हुआ। वहीं, सरयू राय ने रविवार की शाम पूर्व सीएम अर्जुन मुंडा से घोड़ाबांधा (टेल्को) स्थित आवास पर मुलाकात की। मुलाकात के बाद मुंडा ने कहा कि वह सरयू की बात संगठन में रखेंगे। बता दें कि मंत्री सरयू राय ने शनिवार को राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह को पत्र लिखकर मंत्री पद से मुक्त करने की अनुमति मांगी थी। उन्होंने यह भी कहा था कि रघुवर सरकार में उन्हें मंत्री बने रहने से शर्मिंदगी होती है।

अध्यक्ष से पहले मीडिया में आ गई चिट्ठी : प्रतुल शाहदेव ने यह भी कहा कि राष्ट्रीय अध्यक्ष दिल्ली में नहीं थे और उनको लिखी गई चिट्ठी उन तक पहुंचने से पहले मीडिया में आ गई। उन्होंंने कहा कि पार्टी के भीतर के सभी मसले बातचीत से सुलझाए जा सकते हैं, अखबारों के माध्यम से संवाद स्थापित कर समस्या का हल नहीं निकलता। जानकारी उचित माध्यम से बाहर आनी चाहिए थी।

महामंत्री दीपक प्रकाश ने भी संयमित सुर में राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह को प्रेषित पत्र के लीक होने को गंभीर बताया है। हालांकि, उन्होंने इतना अवश्य कहा कि राय के किसी पत्र की जानकारी उन्हें भी मीडिया के माध्यम से हुई है। प्रदेश को इसकी जानकारी नहीं है। यदि पत्र उन्होंने केंद्रीय नेतृत्व को लिखा है तो निर्णय भी केंद्रीय नेतृत्व ही लेगा। जहां तक अनुशासनहीनता की बात है तो प्रदेश अध्यक्ष इस पर विचार करेंगे।

एक घंटे हुई मुलाकात : सरयू और अर्जुन में करीब एक घंटे तक बात हुई, जिसके अलग-अलग सियासी मायने लगाए जा रहे हैं। वैसे मुंडा ने बताया कि यह मुलाकात उसी मुद्दे पर केंद्रित थी, जो अखबारों में चल रहा है। सरयू पहले भी इन बातों का जिक्र उनसे कर चुके हैं, लेकिन कुछ बातें ऐसी होती हैं जिसे संगठन में ही रखना चाहिए। वहीं से उसका समाधान हो सकता है। उन्होंने राय जी को आश्वस्त किया है कि वह भी अपनी ओर से उनकी बात को संगठन में रखेंगे। इसके सिवा इस मुलाकात के कोई मायने नहीं हैं। कोई नए समीकरण की बात नहीं है।

गिलुवा बोले, दो बार मुझे भी पत्र लिखा :  भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सह सांसद लक्ष्मण गिलुवा ने कहा कि सरयू राय ने मुझे पहले एक पत्र लिखकर कहा था कि राज्य सरकार के अधिकारी उनकी नहीं सुन रहे। ऐसे में उन्हें दिक्कत हो रही है। उनकी बातों को मैंने मुख्यमंत्री के समक्ष रख दिया था। मुख्यमंत्री ने उस वक्त कहा था कि हम सभी साथी हैं। आपस में बैठकर बातचीत कर लेंगे। समस्या हल कर लेंगे। इसके बाद पुन: सरयू राय ने मुझे दूसरा पत्र उन्होंने दिया। इसमें उन्होंने स्थिति में कोई परिवर्तन नहीं होने की बात कहते हुए मामले से केंद्रीय नेतृत्व को अवगत कराने की बात कही थी। अब मुझे अखबारों के माध्यम से इस बात की जानकारी हो रही है। सरयू राय की पूर्व सीएम अर्जुन मुंडा से मुलाकात के बाबत पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि हम सभी साथी हैं। आपस में विचार-विमर्श के लिए गए होंगे।

पार्टी के प्रवक्ता को वस्तुस्थिति को समझकर बयान देना चाहिए। उन्हें चाहिए कि वे प्रदेश भाजपा अध्यक्ष और संगठन महामंत्री से संपर्क करें।सरयू रायमंत्री, खाद्य आपूर्ति विभाग, झारखंड सरकार


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