मेगा स्पोर्ट्स काम्पलेक्स और खेल अकादमी का बुरा हाल, बच्चों को छोड़कर अफसर नदारद, भड़के खेलमंत्री
मिशन गोल्ड का सपना संजोए झारखंड में खिलाड़ियों पर ध्यान नहीं दिया जा रहा है।
रांची, जागरण संवाददाता। मिशन गोल्ड का सपना संजोए झारखंड स्टेट स्पोर्ट्स प्रमोशन सोसाइटी (जेएसएसपीएस) के कर्ताधर्ताओं की पोल उस समय खुल गई जब खेलमंत्री अमर कुमार बाउरी के मेगा स्पोर्ट्स काम्पलेक्स और खेल अकादमी औचक के निरीक्षण के दौरान सीसीएल का कोई भी पदाधिकारी व कर्मचारी उपस्थित नहीं था।
विभिन्न खेल अकादमी के लिए चयनित बच्चे हॉस्टल वार्डन के जिम्मे छोड़ बकरीद की छुंिट्टयां मना रहे थे। स्थिति यह थी कि अकादमी में खिलाड़ियों को मिल रही सुविधाएं व परेशानी के संबंध में बताने वाला तक कोई नहीं था। जिससे खेलमंत्री काफी नाराज दिखे और स्वयं खिलाड़ियों के हॉस्टल में जाकर उनसे पूरी जानकारी ली।
खिलाड़ियों के रहने की व्यवस्था से खिन्न दिखे मंत्री :
अकादमी के बच्चों को डोरमेट्री में जिस तरह रखा गया है उसे देख कर खेलमंत्री नाराज हुए। डोरमेट्री में हवा व सूरज की रोशनी आने की कोई जगह न देख मंत्री ने कहा कि इससे तो खिलाड़ियों को काफी परेशानी हो रही होगी। जब बाउरी ने बच्चों से परेशानी पूछी तो उन्होंने कई कमियों को ओर उनका ध्यान आकृष्ट कराया।
बताया कि शौचालय की व्यवस्था अच्छी नहीं, पानी के लिए भी उन्हें काफी देर तक कतार में खड़ा होना पड़ता है। बाउरी ने विभागीय अधिकारियों को सभी कमी को दूर करने का निर्देश दिया।
ढाई घंटे तक होटवार में रहे मंत्री
अमर कुमार बाउरी लगभग ढाई घंटे तक होटवार में रुके। इस दौरान उन्होंने हॉस्टल के अलावा विभिन्न स्टेडियमों का मुआयना किया। स्टेडियम के रखरखाव पर विशेष ध्यान देने का उन्होंने निर्देश दिया।
उन्होंने स्पष्ट कहा कि खिलाड़ियों को किसी तरह की परेशानी नहीं होनी चाहिए। खेलमंत्री के साथ खेल विभाग के उपनिदेशक संदीप दोराईबुरू, अवर सचिव वेद रत्न मोहन, स्टेडियम मैनेजर व खेल प्रशिक्षक उपस्थित थे।