Corruption: करोड़पति रेंजर पर कसा शिकंजा, ACB दर्ज करेगा पीई
Jharkhand ACB. कोडरमा के रहने वाले सेवानिवृत्त रेंजर डा. दिनेश प्रसाद के सेवानिवृत्ति के तीन साल पूरे हो गए हैं। उनके खाते में प्रारंभिक जांच के दौरान 1.10 करोड़ रुपये मिले थे।
रांची, राज्य ब्यूरो। कोडरमा के सेवानिवृत्त रेंजर डा. दिनेश प्रसाद के विरुद्ध प्रारंभिक जांच (पीई) दर्ज करने के लिए सोमवार को मंत्रिमंडल निगरानी की अनुमति मिल गई है। इससे संबंधित चिट्ठी एसीबी में पहुंच गई है। डा. दिनेश प्रसाद की सेवानिवृत्ति के तीन साल पूरे हो गए थे। उसके पास करोड़ों की संपत्ति का खुलासा होने के बावजूद पिछले एक साल से पीई की अनुमति की फाइल मंत्रिमंडल निगरानी में पड़ी हुई थी।
दैनिक जागरण ने 07 अप्रैल के अंक में 'द्वितीय श्रेणी के लोकसेवक पर भी पीई की अनुमति नहीं देते निगरानी आयुक्त' की खबर प्रकाशित की थी। कोडरमा के सेवानिवृत्त फारेस्ट रेंजर डा. दिनेश प्रसाद के विरुद्ध आय से अधिक संपत्ति की शिकायत की एसीबी ने प्रारंभिक जांच की थी। जांच में स्पष्ट हुआ था कि रेंजर डा. दिनेश प्रसाद सिंह 03 अप्रैल 2016 को सेवानिवृत्त हुए थे।
सत्यापन में उनके पोस्ट ऑफिस खाते में में एक करोड़, दस लाख, आठ हजार 328 रुपये (11008328 रुपये), मकान निर्माण में अनुमानत: लागत 75 लाख रुपये, गाड़ी खरीदने में अनुमानत: 20 लाख रुपये व जमीन खरीदने में 26 लाख, 32 हजार रुपये के सबूत मिले थे। इस प्रकार आरोपित रेंजर के पास दो करोड़, 31 लाख 40 हजार 328 रुपये की संपत्ति मिली थी, जो आय की तुलना में अधिक व्यय पाया गया था।
इसके बाद ही मंत्रिमंडल निगरानी से पीई के लिए अनुमति मांगी गई थी, ताकि इस मामले में विस्तृत अनुसंधान करवाया जा सके। रेंजर के विरुद्ध पीई जांच के लिए भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) के डीआइजी 05 अप्रैल 2018 को मंत्रिमंडल सचिवालय एवं निगरानी विभाग के प्रधान सचिव को पत्र लिखा था। एक साल से मामला लंबित था।