रन-ओ-थॉन में उत्तर प्रदेश के धावकों की धमक
रांची रविवार को आयोजित रन-ओ-थॉन में उत्तर प्रदेश के धावकों की धमक दिखाइ
जागरण संवाददाता, रांची : रविवार को आयोजित रन-ओ-थॉन में उत्तर प्रदेश के धावकों की धमक दिखाई दी। खेल विभाग व राउंड टेबल इंडिया द्वारा आयोजित दौड़ में देश भर से लगभग आठ हजार धावकों ने भाग लिया। इनमें सात विदेशी धावक भी शामिल थे।
फिट इंडिया के तहत आयोजित इस दौड़ में बच्चे, जवान व अधिक उम्र के धावकों ने भी भाग लिया। दौड़ प्रतियोगिता पांच, दस और 21 किलोमीटर (महिला-पुरुष) वर्ग में आयोजित की गई । दौड़ बिरसा मुंडा फु टबॉल स्टेडियम मोरहाबादी से शुरू हुई। 21 किलोमीटर भारतीय पुरुष वर्ग में यूपी के अभिषेक पाल और महिला वर्ग में कविता यादव विजेता रहे।
दस किलोमीटर वर्ग में यूपी के रंजीत कुमार पटेल और महिला वर्ग में महाराष्ट्र की मोनिका विजेता बनी। 10 किलोमीटर बालक वर्ग में झारखंड के कुंदन कुमार पहले स्थान पर रहे।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने विजेताओं को पुरस्कृत किया। इस अवसर पर खेल सचिव राहुल शर्मा, खेल निदेशक अनिल कुमार सिंह, कार्यकारी निदेशक रणेंद्र कुमार, झारखंड एथलेटिक्स संघ के अध्यक्ष मधुकात पाठक, राज्य खेल समन्वयक उमा जायसवाल आदि उपस्थित थे। सुबह पांच बजे से ही धावक स्टेडियम में पहुंचने लगे
रन ओ थान में भाग लेने के लिए धावक सुबह पांच बजे से ही स्टेडियम पहुंचने लगे थे। यह पहली बार है कि जब इस दौड़ में आठ हजार धावकों ने भाग लिया। 21 किलोमीटर में विदेशी धावकों के लिए व स्वदेशी धावकों के लिए अलग-अलग पुरस्कार राशि दी गई।
विदेशी धावकों के वर्ग में इथोपिया, केन्या व युगांडा के साथ धावकों ने भाग लिया। इस वर्ग में केन्या के एलिस माटू पहले स्थान पर रहे।
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खेलों में झारखंड बन सकता है अव्वल : सीएम
मौके पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि झारखंड में खेल प्रतिभाओं की कोई कमी नहीं है। बस इन प्रतिभाओं को निखारने की जरूरत है। सरकार इस दिशा में खिलाड़ियों को पूरा सहयोग करेगी। उन्होंने कहा कि इस तरह के कार्यक्रमों को बेहतर तरीके से लगातार आयोजित करने से बेहतरीन रिजल्ट सामने आएंगे और झारखंड खेलों की दुनिया में देश का अव्वल राज्य बन सकता है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि झारखंड में खेलों के लिए विश्वस्तरीय आधारभूत संरचना उपलब्ध है। इन आधारभूत संरचनाओं के बेहतर से बेहतर उपयोग करने व खिलाड़ियों को बेहतर प्लेटफॉर्म उपलब्ध कराने की दिशा में सरकार काम कर रही है ताकि यहा से निकलने वाले खिलाड़ी अपने प्रदर्शन ने राज्य का नाम देश-दुनिया में रौशन कर सकें।
फि टनेस पर सीएम ने कहा कि इस भौतिकवादी दुनिया में शरीर को फि ट रखना एक चुनौती है। भाग-दौड़ में ही लोगों का वक्त गुजर जाता है, जबकि हमारे पूर्वज फि टनेस को लेकर बहुत जागरूक थे।
21 किलोमीटर पुरुष(भारतीय)
1. अभिषेक पाल, उत्तरप्रदेश (1:02:48 सेकेंड), 2. सत्येंद्र सिंह, उत्तरप्रदेश (1:02:58 सेकेंड), 3.वीरेंद्र कुमार वर्मा, उत्तरप्रदेश (1:03:45 सेकेंड) 21 किलोमीटर महिला(भारतीय)
1.कविता यादव, उत्तरप्रदेश (1:12:33 सेकेंड), 2. डिंपल सिंह,उत्तरप्रदेश (1:18:14 सेकेंड), 3. श्यामली सिंह, बंगाल (1:22:18 सेकेंड) 21 किलोमीटर पुरुष(विदेशी)
1. एलिस माटू नाजंबी, केन्या (1:02:00 सेकेंड), 2. सेमिर नासिर, इथोपिया (1:02:01 सेकेंड), 3. इशाक किहारा, केन्या (1:02:50 सेकेंड) 21 किलोमीटर महिला(विदेशी) 1. कैरिन मायो, केन्या
2. सैली कुरू, केन्या
10 किलोमीटर पुरुष(भारतीय)
1. रंजीत कुमार पटेल, उत्तरप्रदेश (29:07:73 सेकेंड), 2. एबी बेलियप्पा ,कर्नाटक (29:28:42 सेकेंड), 3 वीरेंद्र पाल, उत्तरप्रदेश (29:47:40 सेकेंड) 10 किलोमीटर महिला(भारतीय)
1. मोनिका अथारे, महाराष्ट्र (33:10:59 सेकेंड), 2. सैथल भगत, नागपुर (33:58:20 सेकेंड), 3. विनिता गुर्जर, उत्तरप्रदेश (37:24:77 सेकेंड) 10 किलोमीटर अंडर-14 बालक(भारतीय)
1. कुंदन कुमार यादव, झारखंड
2. साहिल खान, झारखंड
3. संतोष कुमार, झारखंड 10 किलोमीटर अंडर-14 बालिका(भारतीय)
1. काजल कुमारी, झारखंड
2. तन्नू कुमारी ,उत्तरप्रदेश
3. रंजू कुमारी, झारखंड सीनियर सिटीजन -10 किलोमीटर
1. रंजीत महतो, बंगाल(37:33.93 सेकेंड), 2. वीरेंद्र प्रसाद साहू, झारखंड (38:25.27 सेकेंड), 3. मुकेश राणा, उत्तराखंड (39:38.76 सेकेंड)
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महत्वपूर्ण बाक्स नेशनल रिकॉर्ड तोड़ा पर नहीं मिली मान्यता
रन ओ थॉन के 21 किलोमीटर दौड़ में पहले दो स्थान पर रहने वाले उत्तर प्रदेश के धावक नेशनल रिकॉर्ड से बेहतर समय निकाला पर उनके इस रिकॉर्ड को मान्यता नहीं दी गई। उत्तर प्रदेश के अभिषेक पाल ने 1:02.08 सेकेंड के साथ पहला व सत्येंद्र सिंह ने 1:02.58 सेकेंड के साथ दूसरा स्थान हासिल किया। दोनों धावकों ने नेशनल रिकॉड 1:63.53 सेकेंड के समय से बेहतर समय निकाला। यह रिकॉर्ड नितेंद्र सिंह रावत के नाम है। बेहतर समय निकालने के बावजूद अभिषेक व सत्येंद्र का नाम रिकॉर्ड बुक में दर्ज नहीं होगा। इसका सबसे बड़ा कारण है कि झारखंड एथलेटिक्स संघ ने इस दौड़ को मान्यता नहीं दी। सूत्र ने बताया कि संघ ने दौड़ शुरू होने से दस दिन पहले ही एथलेटिक्स फेडरेशन ऑफ इंडिया द्वारा गाइड लाइन के संबंध में बताते हुए डोप टेस्ट अन्य कुछ शर्ते पूरा करने को कहा था। जिस पूरा नहीं किया गया। इस कारण झारखंड एथलेटिक्स संघ ने इस दौड़ के समय को मान्यता नहीं दी है।