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आयुष्मान भारत के लिए राजधानी में सिर्फ दो अस्पतालों का हुआ रजिस्ट्रेशन

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा 23 सितंबर को आयुष्मान भारत का शुभारंभ किया।

By JagranEdited By: Published: Sun, 16 Sep 2018 01:42 AM (IST)Updated: Sun, 16 Sep 2018 01:42 AM (IST)
आयुष्मान भारत के लिए राजधानी में सिर्फ दो अस्पतालों का हुआ रजिस्ट्रेशन

जागरण संवाददाता, रांची : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा 23 सितंबर को आयुष्मान भारत का शुभारंभ करना है, जिसकी तैयारी जोर-शोर से चल रही है। हालांकि इस दिशा में रांची में सिर्फ दो ही सरकारी अस्पतालों को ही एप्रूवल मिला है, जिसमें सदर अस्पताल और रिम्स शामिल हैं। कई अस्पतालों द्वारा अब तक दस्तावेज भी उपलब्ध नहीं कराए गए हैं। दूसरी तरफ प्रदेश के अन्य जिलों के 139 सरकारी अस्पतालों को एप्रूवल मिला है, जबकि प्रदेश में निजी अस्पतालों की ही संख्या में एक हजार के करीब होगी। 567 अस्पतालों ने ऑनलाइन दिया है आवेदन वहीं, 567 अस्पतालों द्वारा ऑनलाइन आवेदन दिया गया है, इसके बाद दस्तावेज के सत्यापन की प्रक्रिया होगी। टीम द्वारा सत्यापन पर अपनी मुहर लगाने के बाद ही एप्रूवल की अनुमति मिलेगी। टीम अस्पतालों में पहुंचकर अस्पतालों का भौतिक सत्यापन कर रही है। हालांकि, कुछ निजी अस्पताल ऐसे हैं, जिनका सहयोग नहीं मिला है। वहीं, टीम जांच की प्रक्रिया कर रही है। ------

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57 लाख परिवारों को मिलेगा आयुष्मान भारत का लाभ इंश्योरेंस से प्रदेश में 57 लाख परिवारों को शामिल किया जाएगा। इसके लिए एक हेल्पलाइन भी जारी किया गया। कार्यक्रम पूरी तरफ से सफल हो इसके लिए लगातार पदाधिकारियों की बैठक हो रही है और अस्पतालों को योजना से जोड़ने का काम चल रहा है। रिम्स में भी स्वास्थ्य विभाग की टीम ने प्रशिक्षण दे दिया है।

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रिम्स में आयुष्मान भारत को लेकर कियोस्क का जायजा लिया

जागरण संवाददाता, रांची : रिम्स में आयुष्मान भारत को लेकर खुले कियोस्क का जायजा लेने प्रधान सचिव निधि खरे पहुंची, जहां उन्हें बताया गया कि पूछताछ केंद्र से मरीजों को इसकी जानकारी उपलब्ध कराई जाएगी, ताकि जरूरतमंद लाभुकों को इसका लाभ मिल सके। इसके अलावा आयुष्मान भारत के होर्डिग व पोस्टर लगाने का आदेश भी उन्होंने दिया। जिससे इलाज के लिए आने वाले लोगों को भी इस योजना का पता चल सके। रिम्स इमरजेंसी गेट के बाहर साइनेज लगाने का निर्देश दिया गया। रिम्स इमरजेंसी से बाहर निकली, तो उनकी नजर जन औषधि केंद्र पर पड़ी। उन्होंने जन औषधि केंद्र को देखकर प्रभारी निदेशक डॉ. आरके श्रीवास्तव से पूछा कि यहा दवाईया उपलब्ध रहती है।


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