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कोयले से बढ़ी खान विभाग की कमाई

खान विभाग ने पहले तीन महीनों में सौ करोड़ से अधिक की राजस्व वसूली, पिछले वित्तीय वर्ष में लक्ष्य नहीं हो सका था पूरा, सरकार ने भी नहीं बढ़ाया लक्ष्य।

By Edited By: Published: Mon, 23 Jul 2018 02:15 PM (IST)Updated: Mon, 23 Jul 2018 02:15 PM (IST)
कोयले से बढ़ी खान विभाग की कमाई
कोयले से बढ़ी खान विभाग की कमाई

राज्य ब्यूरो, रांची : राजस्व वसूली के लिहाज से खान विभाग के लिए यह वर्ष बेहतर होता दिख रहा है। पिछले साल लक्ष्य से दूर रहे विभाग के लिए यही बड़ी उपलब्धि है कि चालू वित्तीय वर्ष में हर महीने का राजस्व पिछले वर्ष उसी महीने की तुलना में बेहतर है। तीन महीनों का परिणाम आ गया है। सरकार को डेढ़ सौ करोड़ से अधिक का राजस्व प्राप्त हुआ है। पहले दो महीनों (अप्रैल-मई) में ही राजस्व पिछले वर्ष की तुलना में सौ करोड़ अधिक प्राप्त हो चुका था। खास बात यह रही कि जिन जिलों में कोयले के खान हैं वहां की आमदनी कहीं अधिक रही। लौह अयस्क वाले जिलों से सरकार को कुछ खास आमदनी नहीं हो रही थी। इस वर्ष भी इस मामले में फीका है लेकिन पहले से कुछ बेहतर है।

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धनबाद, रामगढ़ व हजारीबाग अव्वल : सरकार को राजस्व देने में एक बार फिर धनबाद, रामगढ़ और हजारीबाग अव्वल जिलों में शुमार है। सर्वाधिक राजस्व हमेशा की तरह धनबाद से ही मिला है। पहले दो महीनों में ही धनबाद से 40 करोड़ रुपये से अधिक का राजस्व प्राप्त हो चुका है। रामगढ़ का राजस्व भी 36 करोड़ रुपये से अधिक बढ़ा है और हजारीबाग का 26 करोड़ रुपये। कोयले की नई खदान के साथ गोड्डा पिछले वर्ष की तुलना में 84 करोड़ रुपये अधिक देने में सफल रहा है। देवघर से आमदनी भी 11 करोड़ रुपये अधिक रही है। चाइबासा से आमदनी लगभग 14 करोड़ रुपये अधिक हुई है। इससे लौह अयस्क में लगातार कम आमदनी की शिकायत से थोड़ी राहत मिली है। अन्य जिलों जहां छोटे मिनरल्स से सरकार को आमदनी हो रही थी, वहां की स्थिति खराब है।

कोयला सचिव करेंगे समीक्षा : सोमवार को केंद्रीय कोयला सचिव राज्य मुख्यालय में अधिकारियों के साथ बैठक कर विभिन्न मामलों की समीक्षा करेंगे। इनमें राजस्व प्राप्ति से लेकर अवैध उत्खनन के मामले तक शामिल हैं। राज्य सरकार के अधिकारी इसके लिए तैयारियां पूरी कर चुके हैं।

पकड़ में नहीं आ रहा बालू कारोबार : प्रयास के बावजूद बालू कारोबार पर नियंत्रण में सरकार विफल दिख रही है। जिलों में भी अधिकारी औपचारिक कार्रवाई करके निश्चिंत बैठ गए हैं। अवैध बालू उत्खनन पर रोक नहीं लग पा रही है और बालू की कीमतें भी नियंत्रित नहीं हो पा रहीं। पिछले कुछ वर्षो से आयरन ओर से कम राजस्व प्राप्त हो रहा था। इस बार स्थिति में कुछ सुधार है। कोयला से राजस्व अधिक प्राप्त हो रहा है। अबु बकर सिद्दिख, सचिव, खान एवं भूतत्व विभाग।

किस जिले की कितनी आमदनी : जिला मई 2017 मई 2018 धनबाद 24781.86 28761.47 बोकारो 8734.43 4480.48 गिरिडीह 439.42 394.05 हजारीबाग 1111.33 3727.90 रामगढ़ 9422.97 13076.69 चतरा 9767.05 5375.47 कोडरमा 126.24 209.05 रांची 3587.71 685.63 खूंटी 226.09 244.29 लोहरदगा 126.28 358.91 गुमला 319.28 570.05 सिमडेगा 353.02 365.70 जमशेदपुर 666.02 693.81 चाइबासा 11775.18 13144.74 सरायकेला 330.94 194.83 पलामू 1863.06 1654.26 लातेहार 916.37 720.34 गढ़वा 142.76 503.91 दुमका 420.13 509.41 जामताड़ा 109.33 88.76 गोड्डा 292.26 8757.10 पाकुड़ 672.73 1003.00 साहेबगंज 918.27 640.90 देवघर 76.26 1168.0 कुल 77178.99 87328.8 (नोट : राशि लाख रुपये में)


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