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अब तार गिरने या फॉल्ट आने का तत्काल चलेगा पता

कंट्रोल पैनल से लाइन में कहीं फॉल्ट आने पर या तार गिरने पर तत्काल बिजली विभाग के कर्मी पता लगा सकेंगे।

By JagranEdited By: Published: Fri, 29 Jun 2018 04:44 PM (IST)Updated: Fri, 29 Jun 2018 04:44 PM (IST)
अब तार गिरने या फॉल्ट आने का तत्काल चलेगा पता
अब तार गिरने या फॉल्ट आने का तत्काल चलेगा पता

जासं, रांची : बिजली विभाग के द्वारा शहर के आरएमसीएच सब-डिवीजन में कंट्रोल पैनल लगाने का कार्य किया जा रहा है। इससे अब लाइन में कहीं फॉल्ट आने पर या तार गिरने पर तत्काल बिजली विभाग के कर्मी पता लगा सकेंगे। गुरुवार को बरियातू थाना के पास कंट्रोल पैनल लगाने का काम किया गया।

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इस बारे में आरएमसीएच सब-डिवीजन के सहायक विद्युत अभियंता आरपी महतो ने बताया कि आरएमसीएच सब-डिवीजन के मोरहाबादी, बरियातू और रिम्स सेक्शन में कंट्रोल पैनल लगाने का काम जोर-शोर से किया जा रहा है। बताया गया कि मोरहाबादी से पहले लालपुर एरिया में कंट्रोल पैनल को लगाए जाने काम किया जा चुका है।

कैसे काम करता है कंट्रोल पैनल :

फिलहाल कहीं खराबी आने के बाद फीडर से लाइन काटनी पड़ती है। ऐसे में बिजली विभाग के कर्मियों को फॉल्ट को ढूंढ़ने में काफी परेशानी होती है। किस जंफर या किस पोल या प्वाइंट में खराबी आई है, उसका पता नहीं चल पाता है। कंट्रोल पैनल ऐसे प्वाइंट पर लगाया जाता है।

जहां से चार या पांच दिशाओं में बिजली के तार गए हों। इन कंट्रोल पैनल से जुड़े हर प्वाइंट पर बाहर की ओर एक और खास मशीन लगी रहती है, जो संबंधित एरिया में फॉल्ट आने पर तत्काल बिजली कनेक्शन को बाधित कर देती है। ऐसे में इससे अन्य तीन-चार सेक्शन अप्रभावित रहते हैं। साथ ही बिजली कर्मी भी आसानी से खराबी के बारे में पता लगा लेते हैं।

आंधी-तूफान के कारण आती रहती है खराबी :

जर्जर पोल और तारों के कारण शहर में समय-समय पर बिजली आपूर्ति बाधित होती रहती है। ऐसे में कंट्रोल पैनल लगाए जाने के बाद खराबी को आसानी से दुरुस्त कर अबाधित विद्युतापूर्ति सुनिश्चित की जा सकेगी।

कंट्रोल पैनल लगाने का काम आरएमसीएच सेक्शन में किया जा रहा है। इससे आगे जाकर अबाधित विद्युतापूर्ति सुनिश्चित की जा सकेगी।

आरपी महतो, सहायक विद्युत अभियंता, आरएमसीएच सब-डिवीजन


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