खरमास खत्म, बजने लगी शहनाई, गूंज रहे मंगल गीत
संवाद सहयोगी झुमरीतिलैया (कोडरमा) रामनवमी चैती छठ वासंती दुर्गा पूजा समेत अन्य पर्व-त्योहार संपन्न होने के बाद अपने-अपने काम पर कोडरमा गिरिडीह हजारीबाग जिले के कई लोग दिल्ली मुंबई अहमदाबाद कोलकाता पटना के लिए लौटने लगे हैं। वहीं बैंड-बाजा बाराती की शुरूआत होते ही वर-वधू के परिजन ट्रेनों में आना-जाना कर रहे हैं।
झुमरीतिलैया (कोडरमा): रामनवमी, चैती छठ, वासंती दुर्गा पूजा समेत अन्य पर्व-त्योहार संपन्न होने के बाद अपने-अपने काम पर कोडरमा, गिरिडीह, हजारीबाग जिले के कई लोग दिल्ली, मुंबई, अहमदाबाद, कोलकाता, पटना के लिए लौटने लगे हैं। वहीं बैंड-बाजा बराती का सीजन शुरू होते ही वर-वधू के परिजनों ट्रेनों का फेर लगा रहे हैं। ऐसे में कोडरमा से होकर गुजरने वाली नई दिल्ली-पुरी पुरुषोत्तम एक्स., पटना-हटिया एक्स., धनबाद-गया इंटरसिटी, आसनसोल-वाराणसी मेमो ट्रेन, जम्मूतवी-कोलकाता एक्स., रांची-पटना एक्स., रांची-पटना जनशताब्दी एक्स. समेत कई ट्रेनों में पैर रखने की जगह भी नहीं मिल पा रही है। यात्री ट्रेनों में खड़ा होकर या पायदान पर बैठकर यात्रा कर रहे हैं। वहीं अन्य वाहनों का भी यही हाल है, बसों में यात्री छत के ऊपर बैठकर सफर करने को मजबूर हैं। वहीं छोटे वाहन भी कम मिल रहे हैं। आने वाले दिनों में चुनाव के कारण वाहन जब्त किये जाएंगे, ऐसे में शादी-विवाह वाले परिजनों की परेशानी और बढ़ेगी। इधर, खरमास के समाप्त होते ही 16 अप्रैल से शहनाइयां गूंजने लगी है। शादी-विवाह को लेकर बाजार में कपड़ा, जेवर समेत अन्य सामग्रियों की बिक्री बढ़ी है। वहीं बैंड-बाजा वाले एक दिन में दो से तीन शादी का बुकिग लिए बैठे हैं। कैटरिग, विवाह भवन, ब्यूटी पार्लर, वाहन आदि की बुकिग भी चरम पर है। अप्रैल, मई एवं जून माह में भरपूर लगन है। जुलाई माह में दो लगन होंगे। इसके बाद 12 जुलाई से हरिशयानी एकादशी शुरू होगी। इसके साथ ही चार माह के लिए 8 नवंबर को देव उत्थान एकादशी के बाद फिर शहनाई बजेगी। शादी-विवाह की तिथियां
अप्रैल : 16, 17, 18, 19, 20, 21, 22, 23, 24, 25 एवं 26
मई : 1, 6, 7, 8, 12 से 21, 23, 24, 28, 29 एवं 30
जून : 4, 8 से 20, 24, 25, 26 एवं 27
जुलाई : 5, 11
नवंबर : 19 से 23, 27, 28, 29 एवं 30
दिसंबर : 1, 5, 6, 7, 10, 11, 12