मनरेगा में सुस्ती पर बीपीओ से मांगा स्पष्टीकरण
मनरेगा योजना में सुस्ती पर सभी प्रखंडों के प्रखंड कार्यक्रम पदाधिकारी से स्पष्टीकरण मांगा गया है। मनरेगा के तहत पंचायत स्तर पर जल संचयन की योजना ट्रेंच सह बंड का क्रियान्वयन किया जाना है। पूर्व में सभी बीपीओ को गांव स्तर पर 5-5 योजना स्वीकृत कर चालू करने का आदेश दिया गया था।
संवाद सहयोगी, कोडरमा: मनरेगा योजना में सुस्ती पर सभी प्रखंडों के प्रखंड कार्यक्रम पदाधिकारी से स्पष्टीकरण मांगा गया है। मनरेगा के तहत पंचायत स्तर पर जल संचयन की योजना ट्रेंच सह बंड का क्रियान्वयन किया जाना है। पूर्व में सभी बीपीओ को गांव स्तर पर 5-5 योजना स्वीकृत कर चालू करने का आदेश दिया गया था। लेकिन किसी भी प्रखंड में योजना की शुरूआत नहीं हुई। लिहाजा प्रधान सचिव ने कार्य में सुस्ती पर खेद प्रकट किया है। वहीं इसे गंभीरता से लेते हुए डीडीसी ने सभी बीपीओ से स्पष्टीकरण मांगा है। साथ ही सभी गांवों में टीसीबी के तहत 5-5 योजनाएं शुरू करने को कहा है। स्पष्टीकरण में कहा गया है कि निर्देश के बाद भी योजनाएं शुरू नहीं किया जाना खेदजनक है। मनरेगा जैसे महत्वपूर्ण कार्य में रूचि नहीं दिखाना लापरवाही, स्वेच्छाचारिता एवं कर्तव्यहिनता को दर्शाता है, जो सरकारी कर्मी का यह आचरण सेवा शर्तों के प्रतिकुल है। संबंधित बीपीओ से तीन दिनों के अंदर स्पष्टीकरण का जवाब मांगा गया है। :::::::मजदूरी भुगतान में विलंब पर नपेंगे अधिकारी-कर्मी::::::::
कोडरमा::मनरेगा मजदुरों को लेट पेमेंट पर अधिकारी-कर्मी पर सीधी कार्रवाई होगी। इसके लिए सभी बीडीओ को कड़ा अल्टीमेटम दिया गया है। प्रधान सचिव स्तर से लेट पेमेंट को लेकर प्रतिदिन समीक्षा भी की जा रही है। लिहाजा डीडीसी ने सभी बीडीओ को भुगतान में देरी के लिए जिम्मेवार कर्मियों के विरूद्ध कार्रवाई करने को कहा है। कहा गया है कि मजदूरों का भुगतान किसी भी हाल में 15 दिनों के अंदर किया जाना है। ऐसे में मुखिया के द्वारा हर हाल में ससमय करवाना अनिवार्य है। चालू वित्तीय वर्ष विलंब से मजदुरी भुगतान का प्रतिशत नगण्य करने का लक्ष्य रखा गया है। बावजूद इस दिशा में गंभीरता नहीं दिखायी जा रही है। डीडीसी ने सभी बीडीओ को प्रतिदिन इसका मॉनिट¨रग करने तथा विलंब से मजदुरी भुगतान करने वाले पंचायत कर्मियों के विरूद्ध त्वरित कार्रवाई करने को कहा है।