लॉकडाउन पालन कराने को सड़क पर उतरी पुलिस
संवाद सहयोगी जामताड़ा जिले के शहरी तथा ग्रामीण क्षेत्र में बढ़ रहे दूसरे चरण के कोरो
संवाद सहयोगी, जामताड़ा : जिले के शहरी तथा ग्रामीण क्षेत्र में बढ़ रहे दूसरे चरण के कोरोना वायरस का प्रकोप लोगों को परेशान कर रखा है। पुलिस, प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग के समक्ष समस्याएं दिन प्रतिदिन बढ़ती जा रही है। गुरुवार सुबह छह बजे से शुरू हुए दूसरे चरण के स्वास्थ्य जागरूकता सप्ताह ने लोगों को राहत दी है। पहले 22 अप्रैल से पहले चरण का स्वास्थ्य जागरूकता सप्ताह घोषित हुई थी। राज्य सरकार ने बढ़ रहे कोरोना वायरस के प्रकोप को नियंत्रण में लाने के लिए छह मई सुबह छह बजे तक आंशिक लॉकडाउन की अवधि बढ़ा दी है। इस लॉकडाउन के पहले दिन दोपहर दो बजते ही पुलिस पेट्रोलिग की सायरन सड़कों पर बजने लगी। दोपहर बाद से शहर-बाजर से सड़कों तक सन्नाटा पसर गया।
पहले चरण के लॉकडाउन में जरूरतमंद वस्तुओं की दुकान को रात आठ 8 बजे तक खुले रखने का आदेश था। अब सरकार ने कई शर्तें को कड़ाई से लागू की है। अब दोपहर दो बजे तक ही खाद्यान्न समेत अन्य दैनिक जरूरत वस्तुओं की दुकानें खुली रहेगी। इसी निर्देश के तहत गुरुवार को सुबह निर्धारित समय तक साग- सब्जी, फल-फूल, दूध आदि की दुकानों में ग्राहकों ने अपनी आवश्यकता के अनुरूप खरीदारी की अधिकांश दुकानदार व ग्राहकों ने मुंह में मास्क व शारीरिक दूरी के अनुपालन को प्राथमिकता देते देखे गए। दोपहर दो बजे के बाद दवाखाना छोड़कर अन्य सभी प्रकार की दुकानों का शटर स्वेच्छा से दुकानदारों ने गिरा दिया गया।
-- सड़क पर उतरी टीम : लॉकडाउन की शर्तों के अनुपालन कराने को गुरुवार सुबह ही अंचलाधिकारी मनोज कुमार के नेतृत्व में जामताड़ा थाना की पुलिस टीम व अंचल की प्रशासनिक टीम संयुक्त रूप से शहर के पुराना कोर्ट परिसर से सुभाष चौक, वीर कुंवर सिंह चौक, इंदिरा चौक, स्टेशन रोड मुख्य बाजार, दुमका रोड समेत आसपास के मोहल्लों में भ्रमण कर ग्राहक, दुकानदार व शहरवासियों की गतिविधियों का जायजा लिया। मास्क व दूरी की जांच की गई। जांच के क्रम में डेढ़ दर्जन लोगों को लापरवाही पर डांट मिली। नियम तोड़ने वालों से जुर्माना वसूला गया।
-- नमूना जांच में परेशानी नहीं हो : महामारी से ग्रसित मरीज की पहचान प्रारंभिक स्तर पर ही करने को स्वास्थ्य विभाग ने जिला मुख्यालय शहर बीच स्थित पुराना सदर अस्पताल में नमूना संग्रह व जांच केंद्र शुरू की। शहर से सदर अस्पताल व जिला स्तरीय कोरोना अस्पताल उदलबनी तक नमूना जांच कराने को पहुंचने के लिए प्रत्येक महिला, पुरुष व बच्चों को काफी परेशानी होती थी। जांच केंद्र पहुंचने के लिए प्रत्येक लोगों को 50 से एक सौ रुपये किराए के तौर पर भुगतान करना पड़ता था। दो घंटे से अधिक समय आवाजाही में लगती थी। अब इन समस्याओं से लोगों को मुक्ति मिल चुकी है। पुराना सदर अस्पताल पहुंचकर लोग नमूना संग्रह व जांच करवा रहे हैं।