580 करोड़ के सीवरेज प्लांट को नहीं मिल रही जमीन
मानगो में 580 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले सीवरेज ट्रीटमेंट
जागरण संवाददाता, जमशेदपुर : मानगो में 580 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) के लिए जमीन नहीं मिल पा रही है। गुरुवार को रांची से आई जुडको की टीम एसटीपी प्लांट के लिए बालीगुमा और ओल्ड पुरुलिया रोड पर पंप हाउस के लिए जमीन की तलाश को गई थी लेकिन दोनों ही जमीन उसे पसंद नहीं आई। अब राजस्व विभाग नए सिरे से जमीन की तलाश करेगा।
मानगो में तीन जगह सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट का निर्माण होना है। इनमें से कपाली में दो एकड़ जमीन मिल चुकी है। रामनगर में दो एकड़ जमीन का तीन दिन पहले ही सीमांकन हुआ था। अंचल कार्यालय ने बालीगुमा के आगे एनएच 33 के किनारे एक भूखंड चिन्हित किया था। इस भूखंड को देखने के लिए जुडको की टीम सिटी मैनेजर शफीउर्रहमान के साथ गई थी। लेकिन, ये जमीन जुडको के अधिकारियों को पसंद नहीं आई। सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट के लिए दो जगह पंपिंग स्टेशन बनेंगे। इसके लिए ओल्ड पुरुलिया रोड पर आजाद नगर थाने के पास भूखंड चिन्हित है। जुडको की टीम ने इसके लिए हरी झंडी दे दी है। जबकि, ओल्ड पुरुलिया रोड के पास ही गरीब नवाज कॉलोनी के पास एक स्थल चिन्हित किया गया था। जुडको की टीम ने इसका भी मुआयना किया लेकिन, ये जमीन भी उन्हें ठीक-ठाक नहीं मिली। अब मानगो अक्षेस अंचल कार्यालय को पत्र लिख कर बालीगुमा के आसपास एसटीपी के लिए दो एकड़ जमीन और ओल्ड पुरुलिया रोड पर पंपिंग स्टेशन के लिए जमीन की मांग करेगा।
----------------------
11 साल से लटकी है योजना
मानगो में सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट की योजना 11 साल पुरानी है। कई बार इसकी डीपीआर तैयार की गई। लेकिन, जमीन नहीं मिलने की वजह से योजना परवान नहीं चढ़ पाई है। नगर विकास विभाग की मांग पर जिला प्रशासन 2010 से सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट के लिए जमीन ढूंढ रहा है। लेकिन, जिला प्रशासन को जमीन नहीं मिल पा रही है। जबकि, मानगो में कई एकड़ सरकारी जमीन पर माफिया का कब्जा है।
-----------------------
सरायकेला प्रशासन से मांगनी पड़ी जमीन
मानगो के सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट के लिए मानगो में जमीन नहीं मिल पाने की वजह से नगर विकास विभाग को सरायकेला जिला प्रशासन से जमीन की मांग करनी पड़ी। इस पर सरायकेला जिला प्रशासन ने नगर विकास विभाग को कपाली में दो एकड़ जमीन मुहैया कराई है। इस जमीन का हस्तांतरण भी नगर विकास विभाग को कर दिया गया है।