Move to Jagran APP

आज से 14 दिन तक भाई और बहन के साथ 'क्वारंटाइन' में रहेंगे भगवान जगन्नाथ Jamshedpur News

Lord Jagannath. 80 घड़ा के पानी से स्‍नान करने के बाद महाप्रभु की तबियत बिगड़ेगी जिसके बाद जगन्नाथ प्रभु भाई बलभद्र और बहन सुभद्रा के साथ 14 दिनों के लिए एकांतवास में जाएंगे।

By Rakesh RanjanEdited By: Published: Fri, 05 Jun 2020 09:42 AM (IST)Updated: Fri, 05 Jun 2020 11:11 AM (IST)
आज से 14 दिन तक भाई और बहन के साथ 'क्वारंटाइन' में रहेंगे भगवान जगन्नाथ Jamshedpur News
आज से 14 दिन तक भाई और बहन के साथ 'क्वारंटाइन' में रहेंगे भगवान जगन्नाथ Jamshedpur News

जमशेदपुर, जासं। कोरोना की बंदिशों के बीच पांच जून (शुक्रवार) को भगवान जगन्नाथ का स्नान पूर्णिमा का पर्व मनाया जा रहा है। गोलमुरी इस्कॉन मंदिर में भोर में 03 बजे से भगवान जगन्नाथ का स्नान विधि-विधान से शुरू होगा, जो दोपहर 2 बजे तक चलेगा। स्नान के बाद जगन्नाथ प्रभु, भाई बलभद्र और बहन सुभद्रा के साथ 14 दिनों के लिए एकांतवास (क्वारंटाइन) में चले जाएंगे। 

loksabha election banner

लॉकडाउन के चलते इस बार भक्तगण शामिल नहीं हो पाएंगे। उनके लिए मंदिर समिति  महास्नान का फेसबुक पेज पर सीधा प्रसारण करेगी। श्रद्धालु अपने घरों से लाइव देख पाएंगे। जमशेदपुर इस्कॉन शाखा के निमाई दास ने बताया स्नान के बाद सर्दी जुकाम होने पर भगवान को होम 'क्वारंटाइन' में रखा जाएगा। नागा मंदिर बेल्डीह प्रांगण में जगन्नाथ प्रभु का महास्नान सुबह के 8:30 बजे से होगा। उसके बाद यहां 21 जून तक भगवान का कपाट बंद रहेगा। 23 जून को रथ यात्रा हैं, लेकिन कोविड-19 के कारण रथ यात्रा का आयोजन संभव नहीं दिखाई पड़ रहा है। बस 8 जून के बाद कोविड-19 की शर्त की आधार पर पूजा पाठ होगा। आठ जून के बाद सामूहिक भीड़ इकट्ठा करने पर पाबंदी रहेगी। 

बीमारी में अलग रहने का संदेश देते हैं भगवान जगन्नाथ

 रथयात्रा से करीब 15 दिन पहले पूर्णिमा स्नान उत्सव काफी महत्वपूर्ण है। शहर में यह हर साल मनाया जाता है। लेकिन, इस बार कोरोना को देखते हुए मंदिर समिति ने चंद लोगोंकी मौजूदगी में ही इसका आयोजन करने का निर्णय लिया है। मान्यता के अनुसार उत्सव में 108 घड़ों के पानी से स्नान के बाद भगवान की तबीयत खराब हो जाती है। इस दौरान उन्हें औषधियां दी जाती हैं। 14 दिन में ठीक होने के बाद भगवान भाई बलभद्र और बहन सुभद्रा के साथ रथ पर सवार होकर 8 दिन के लिए मौसी घर गुंडिचा मंदिर जाते हैं। 22 जून को नेत्रदान अनुष्ठान के बाद प्रभु जगन्नाथ एकांतवास से वापस आम जन के बीच लौटेंगे। 

महास्नान कहां और कितने बजे

  • इस्कॉन मंदिर गोलमुरी : दोपहर 1:00 बजे
  • बेल्डीह नागा मंदिर सुबह 8:30 बजे
  • जगन्नाथ मंदिर खासमहल सुबह 11:00 बजे
  • जगन्नाथ मंदिर गांधी आश्रम बाराद्वारी दोपहर 12:00 बजे

कार्यक्रम

  • 5 जून: प्रभु जगन्नाथ का महास्नान 
  • 22 जून: प्रभु जगन्नाथ का नेत्र उत्सव
  • 23 जून : प्रभु जगन्नाथ की वार्षिक रथयात्रा
  • 27 जून : हेरा पंचमी पर महालक्ष्मी द्वारा प्रभु जगन्नाथ का रथ भंगिनी 
  • 30 जून : वापसी यात्रा (बाहुड़ा रथयात्रा) का आयोजन होगा

यहां-यहां होता था  रथयात्रा का आयोजन

  • गांधी आश्रम, न्यू बाराद्वारी 
  • रथ गली जगन्नाथ रथयात्रा समिति जुगसलाई
  • उत्कल समाज व उत्कल एसोसिएशन में नव कलेवर अनुष्ठान
  • नामदा बस्ती काली मंदिर
  • खासमहल जगन्नाथ मंदिर में जगन्नाथ सेवा समिति

Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.