Jharkhand के CM ने एमजीएम अस्पताल के अधीक्षक से की बात, पूछा कैसे टूटेगा कोरोना का चेन
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कोरोना वायरस के चेन को तोड़ने के लिए राज्य के सभी मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल व अधीक्षक से बात की। सभी का सुझाव भी लिया। एमजीएम अधीक्षक डॉ. संजय कुमार ने कहा कि लोगों को घर से निकलना बंद करना होगा। तभी चेन टूट सकता है।
जमशेदपुर, जासं। झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कोरोना वायरस के चेन को तोड़ने के लिए राज्य के सभी मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल व अधीक्षक से बात की। साथ ही सभी का सुझाव भी लिया। इस दौरान महात्मा गांधी मेमोरियल (एमजीएम) मेडिकल कॉलेज अस्पताल के अधीक्षक डॉ. संजय कुमार ने कहा कि लोगों को घर से निकलना बंद करना होगा। तभी चेन टूट सकता है।
वहीं, उन्होंने कहा कि एमजीएम में बेडों की संख्या बढ़ाकर 150 कर दिया गया है। इसके बावजूद बेड की कमी पड़ रही है। एमजीएम में पूर्व से कर्मचारियों की भारी किल्लत है। इसमें भी अधिकांश डॉक्टर व कर्मचारी पॉजिटिव हो गए हैं। ऐसे में अस्पताल को चलाना मुश्किल हो गया है। अधीक्षक ने कहा कि हमारी कोशिश है कि मरीजों को बेहतर से बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराया जाए। ताकि अधिक से अधिक लोगों की जान बच सकें।
रांची से एमजीएम भेजे गए छह मरीज
राजधानी रांची के किसी भी अस्पताल में बेड नहीं मिल रहा है। इलाज के अभाव में मरीजों की जान जा रही है। जमशेदपुर में भी लगभग वही स्थिति है। फिर भी बुधवार की रात रांची रिम्स से छह मरीजों को एमजीएम रेफर कर दिया। यहां पर भी बेड उपलब्ध नहीं था लेकिन मरीजों की स्थिति को देखते हुए किसी तरह बेड व स्ट्रेचर पर सोलाकर फिलहाल उनका इलाज शुरू किया गया। अगर इलाज शुरू नहीं होता तो उनकी मौत भी हो सकती है।
14 से 16 घंटा खट रहे कर्मचारी
एमजीएम अस्पताल में कर्मचारियों की कमी होने की वजह से एक-एक कर्मचारी व डॉक्टर को 14 से 16 घंटे तक खटना पड़ रहा है। ये सभी कर्मचारी अपनी जान की बाजी लगाकर मरीजों की सेवा में दिन-रात जुटे हुए हैं।