Jharkhand Industries: झारखंड के आदित्यपुर का इलेक्ट्रानिक मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर पूर्वी भारत में सबसे बड़े निवेश का गेटवे, जानिए
Electronic manufacturing cluster Adityapur. इस क्लस्टर में 49 एकड़ भूमि इलेक्ट्रॉनिक उत्पाद बनाने वाले 51 उद्यमियों के लिए आरक्षित है। इसके अतिरिक्त पांच एकड़ भूमि में फ्लैटेड फैक्ट्री बनाई गई है। इसमें 92 उद्यमियों को प्लग एंड प्ले मोड पर आवंटित किया जा रहा है।
जमशेदपुर, वीरेंद्र ओझा। झारखंड के जमशेदपुर से सटे सरायकेला-खरसावां जिला स्थित आदित्यपुर में इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर (इएमसी) बनकर तैयार हो गया है। इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग के क्षेत्र में यह कलस्टर पूर्वी भारत में निवेश का सबसे बड़ा गेटवे साबित होगा।
राज्य सरकार ने जिस उद्देश्य से आदित्यपुर औद्योगिक क्षेत्र में इसका निर्माण शुरू किया था, वह साकार भी हो रहा है। 29 दिसंबर 2020 को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने इस कलस्टर में निर्मित आधारभूत संरचनाओं का उद्घाटन कर झारखंड को इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग का हब बनाने की दिशा में पहला कदम बढ़ा दिया है। अब वह दिन दूर नहीं, जब खनिज के क्षेत्र में अपनी पहचान स्थापित कर चुका झारखंड इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग हब के रूप में भी जाना जाएगा।
82 एकड़ में 186 करोड़ की लागत से हुआ तैयार
इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर एक विशेष औद्योगिक पार्क है, जिसकी कुल लागत 186 करोड़ है। इसमें 41.48 करोड़ रुपये केंद्रीय अनुदान, 50 करोड़ का अनुदान जियाडा और 60 करोड़ रुपये का विशेष अनुदान राज्य सरकार ने दिया है। आदित्यपुर औद्योगिक क्षेत्र में 82 एकड़ भूमि पर क्लस्टर का निर्माण हो रहा है। 51 इकाइयों के लिए भूमि उपलब्ध कराई जाएगी। क्लस्टर में फ्लैटेड फैक्ट्री, टेस्टिंग सेंटर, ट्रेड पैवेलियन, ट्रक पार्किंग, वेयर हाउस, स्कूल, शॉपिंग मॉल, हेल्थ सेंटर, हॉस्टल, रेस्टोरेंट, रोड, नाली, स्ट्रीट लाइट व अन्य मूलभूत सुविधाएं होंगी।
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इस क्लस्टर में 49 एकड़ भूमि इलेक्ट्रॉनिक उत्पाद बनाने वाले 51 उद्यमियों के लिए आरक्षित है। इसके अतिरिक्त पांच एकड़ भूमि में फ्लैटेड फैक्ट्री बनाई गई है। इसमें 92 उद्यमियों को प्लग एंड प्ले मोड पर छोटे पैमाने पर इलेक्ट्रॉनिक एसेंबली लाइन शुरू करने के लिए आवंटित किया जा रहा है। कुछ उद्यमियों के लिए प्लग एंड प्ले मोड के तहत यूनिट का आवंटन हो भी चुका है। इएमसी में भूमि की कीमत 90 लाख रुपये प्रति एकड़ है और जियाडा विनियमन के अनुसार, उद्यमियों को भूमि इकाइयों के लिए 50 प्रतिशत रियायत दी गई है। फ्लैटेड फैक्ट्री में तैयार इकाइयां 15 रुपये प्रति वर्गफुट की दर पर उपलब्ध कराया जा रहा है। फ्लैटेड फैक्ट्री में इकाइयों का आकार 1200 वर्गफुट से 2100 वर्गफुट तक है।
45 हजार को रोजगार, 500 करोड़ का निवेश
खुद की यूनिट प्रारंभ करने के लिए अबतक 23 इकाइयों को इएमसी में जमीन आवंटित की जा चुकी है और चार इकाइयों को भूमि उपलब्ध कराने की प्रक्रिया चल रही है। 23 उद्यमियों द्वारा फैक्ट्री का निर्माण किया जा रहा है। इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर में सभी उद्यमियों द्वारा अपनी इकाइयों को स्थापित कर दिया जाता है, तो लगभग 20,000 प्रत्यक्ष व लगभग 25,000 अप्रत्यक्ष रोजगार का सृजन व करीब 500 करोड़ रुपये का निवेश झारखंड में सुनिश्चित होगा। इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर पर वर्तमान सरकार का पूरा ध्यान है। इलेक्ट्रॉनिक मैनुफैक्चरिंग क्लस्टर में उद्यमियों द्वारा शीघ्र इकाई का निर्माण पूर्ण कर उत्पादन प्रारम्भ करने के लिए मुख्यमंत्री द्वारा उद्योग सचिव को मॉनिटरिंग का निर्देश दिया गया है। इस क्रम में उद्योग सचिव द्वारा पिछले दिनों क्लस्टर का दौरा कर नए निवेश को बढ़ावा देने से संबंधित निर्देश पदाधिकारियों को दिया गया है।