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कंडम हो चुके बारी मेंशन में चल रहा व्यापार, दुकानदार मानने को तैयार नहीं Jamshedpur News

जमशेदपुर के बिष्टुपुर डायगनल रोड पर स्थित बारी मेंशन को 2005 में असुरक्षित घाेषित कर दिया गया था। बावजूद इसके यहां दुकानें चल रही हैं।

By Rakesh RanjanEdited By: Published: Wed, 10 Jul 2019 10:00 PM (IST)Updated: Thu, 11 Jul 2019 10:18 AM (IST)
कंडम हो चुके बारी मेंशन में चल रहा व्यापार, दुकानदार मानने को तैयार नहीं Jamshedpur News
कंडम हो चुके बारी मेंशन में चल रहा व्यापार, दुकानदार मानने को तैयार नहीं Jamshedpur News

जमशेदपुर, जागरण संवाददाता।  अगर हादसा हुआ तो जानमाल का बड़ा नुकसान हो सकता है। लेकिन प्रशासन कागजी खानापूरी कर इत्मीनान है और दुकानदार हैं कि मानने को तैयार नहीं। बात हो रही है जमशेदपुर के एक कारोबारी केंद्र की। यह टाटा वर्कर्स यूनियन के मजदूर पेपर्स लिमिटेड संचालित है।

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इस कंपनी की बिष्टुपुर डायगनल रोड पर एक इमारत है जिसका नाम है बारी मेंशन। वर्ष 1937 में बनी यह इमारत अब जर्जर हो चुकी है। वर्ष 2005 में इस इमारत को जमशेदपुर अधिसूचित क्षेत्र समिति (अक्षेस) ने जर्जर भी घोषित कर दिया है। इसके बावजूद इस इमारत में व्यापार संचालित है। बिष्टुपुर के सबसे पॉश इलाकों में से एक ट्रैफिक सिग्नल के पास ये बारी मेंशन स्थित है।

12 किरायेदारों के कब्जे में 18 दुकानें

बारी मेंशन में वर्तमान में लगभग 12 किराएदार हैं, जिनके कब्जे में 18 दुकानें व गोदाम हैं। यहां स्वर्ण आभूषण, साइकिल दुकान, दांत की क्लिनिक सहित कई ऑफिस हैं, लेकिन 14 वर्ष पूर्व कंडम घोषित हो चुकी यह इमारत किसी दिन गिर गई तो काफी जान-माल का नुकसान होने से इंकार नहीं किया जा सकता है। इसके बावजूद यहां के दुकानदार बिना किसी डर के यहां व्यापार कर रहे हैं। इस इमारत की जर्जरता का अंदाजा इस बात से भी लगाया जा सकता है कि यहां दीवारों पर बड़े-बड़े पेड़ उग आए हैं जो खतरे की घंटी है।

टाटा वर्कर्स यूनियन भी मौन

इस पूरे मामले में टाटा वर्कर्स यूनियन मौन है यह समझते हुए कि यहां किसी भी तरह के हादसे की जिम्मेदारी यूनियन नेतृत्व पर भी होगी। मजदूर पेपर्स लिमिटेड की बारी मेंशन को तोड़ कर वहां शॉपिंग कांप्लेक्स बनाने की योजना है, लेकिन किराएदार इसे खाली नहीं करना चाहते जिसके कारण यहां आने वाले लोगों के जान-माल को ताक पर रखकर व्यापार चल रहा है और जमशेदपुर अक्षेस से लेकर जिला प्रशासन भी इस ओर ध्यान नहीं दे रहा है। 

सबसे कम है किराया

बिष्टुपुर जैसे पॉश इलाके में बारी मेंशन का किराया सबसे कम है। यहां पहले दुकानदार ढ़ाई से पांच रुपये प्रति वर्गफुट किराया देते थे। पिछले दिनों कोल्हान आयुक्त के आदेश के बाद इसे बढ़ाकर 25 रुपये प्रति वर्गफुट किया गया है। किराए में बढ़ोतरी के बावजूद बिष्टुपुर के अन्य दुकानों से यहां का किराया काफी कम है। बिष्टुपुर के अन्य मॉल में प्रति वर्गफुट में किराया प्रति वर्गफुट 300 से 1000 रुपये है। 

डायरेक्टर गिनाते अपनी मजबूरी

बारी मेंशन की इमारत पूरी तरह से जर्जर हो चुका है। अक्षेस ने इसे वर्ष 2005 में ही व्यापार चलाने के लिए खतरनाक मानकर कंडम घोषित कर दिया था, लेकिन यहां के किराएदार दुकान खाली नहीं करना चाहते हैं। जिसके कारण हम भी मजबूर हैं। 

-नित्यानंद सिंह, डायरेक्टर, मजदूर पेपर्स लिमिटेड


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