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giridhi news शादी के 12 साल बाद गूंगी कहकर पत्नी को छोड़ा, छग से आई लड़की से दूसरी शादी रचाई

बाहर मजदूरी करने वाले युवक ने अपने 12 साल पहले हुई पत्नी को यहकर घर से बाहर निकाल दिया क्योंकि वह निश्शक्त है। साथ ही वह अपने साथ छत्तीसगढ़ से लाई लड़की से उसने शादी कर ली। इधर घर से निकाली गई पत्नी ठोकर खाने को मजबूर है।

By Gautam OjhaEdited By: Published: Mon, 19 Sep 2022 05:54 PM (IST)Updated: Mon, 19 Sep 2022 05:54 PM (IST)
giridhi news शादी के 12 साल बाद गूंगी कहकर पत्नी को छोड़ा, छग से आई लड़की से दूसरी शादी रचाई
पति द्वारा पत्नी को निश्शक्त कहकर बाहर करने वाली पति पत्नी की प्रतिकात्मक तस्वीर।

संवाद सहयोगी, गावां, (गिरिडीह) : तिसरी के तेतरिया महुआटांड़ में केशो तूरी नामक व्यक्ति ने अपनी मूकबधिर पत्नी को शादी के 12 साल बाद यह कहकर छोड़ दिया कि वह बोल और सुन नहीं सकती है। इसके साथ ही उक्त व्यक्ति ने दूसरी शादी रचा ली है। लाचार महिला अब अपने दो बेटे और एक बेटी को लेकर गावां के जुड़वापहरी स्थित मायके में रहने को मजबूर है। उसने पति के खिलाफ शिकायत लेकर पहले गावां थाना तथा बाद में तीसरी थाना पहुंची लेकिन अबतक उसके पति के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज नहीं की गई है।

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बताया जाता है कि जुड़वापहरी निवासी बिमल तुरी की बेटी कुंती देवी की शादी वर्ष 2009 में हिन्दू रीति रिवाज के साथ दान दहेज देकर तिसरी के तेतरिया महुआटांड़ निवासी मनोज तुरी का बेटा केशो तुरी के साथ हुई थी थी। तब से वह अपने ससुराल में ही रह रही थी तथा उसके पति से उसे दो बेटे व एक बेटी भी हुई। केशो तुरी दिल्ली, छत्तीसगढ़ आदि जगहों में रहकर मजदूरी किया करता था। वो समय-समय पर घर आया करता था। इधर, नौ सितंबर को वह अपने साथ छत्तीसगढ़ से एक युवती घर लेते आया। साथ ही उसने गांव में ही शादी रचा ली।

जब इसकी सूचना उसकी पहली पत्नी कुंती की मां बढ़नी देवी को मिली तो उसने उसके मायके पहुंचकर इसका विरोध किए। इस पर केशो तुरी ने कहा कि उसकी बेटी बोलती- सुनती नहीं है। इसलिए वह दूसरी शादी कर ली। जब यह पूछा गया कि अब तीन बच्चों को लेकर वह कहां जाएगी तो उनलोगों से तीन लाख रुपये व बुलेट गाड़ी की मांग की। साथ ही कहने लगा कि उनकी मांग पूरी करने पर वह दूसरी पत्नी को छोड़ देगा। आगे कहा कि वे लोग गरीब परिवार से हैं और मांग पूरी नहीं कर सकते। इसके बाद मायके वाले शिकायत लेकर गावां थाना गए तो गावां थाना से यह कहकर भेज दिया गया कि लड़का का घर तिसरी थाने के अंतर्गत आता है। जब तिसरी थाने गई तो लड़का को पुलिस ने थाने बुलाया गया और आवेदन भी लिया लेकिन इसके पहले समझौता कराने का दबाव बनाया जाने लगा। नहीं मानने पर पुलिस ने केशो तुरी को मुक्त कर दिया। युवक पर अब तक मामला दर्ज नहीं हुआ है। दिव्यांग महिला तीन बच्चों को लेकर मायके में रह रही है और न्याय की गुहार लगा रही है। कुंती की मां व चाची ने कहा है कि अगर न्याय नहीं मिलेगा तो वे लोग अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी और पुलिस अधीक्षक गिरिडीह से मिलकर न्याय की गुहार लगाएंगी।

गावां थाना प्रभारी पिंटू कुमार ने बताया कि जुड़वापहरी की इस महिला के स्वजन थाना आये थे। उसके बाद ये लोग तिसरी थाना चले गए। वहां शिकायत करने के बाद युवक को जब बुलाया गया तो ये लोग आपस में समझौता करने की बात करने लगे। पुनः मामला दर्ज करने की अगर मांग पर उनकी तिसरी थाना प्रभारी से बात भी हुई थी। उन्होंने हरसंभव महिला को मदद करने का भरोसा दिया।


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