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संतुलित आहार और संयमित जीवनशैली से कोरोना को मात

वायरस को सजीव और निर्जीव के बीच की योजक कड़ी कहा जाता है. यह बैक्टीरिया से भी अतिसूक्ष्म होता है और इसकी संरचना और क्रियाविधि इतनी जटिल होती है कि इसके संक्रमण को समझना अत्यंत कठिन होता है. हाँ लेकिन ऐसे महामारी के समय हम खुद को संयमित रहकर स्वच्छता का पूरा ध्यान रखकर सामाजिक दूरी बनाए रख

By JagranEdited By: Published: Tue, 24 Mar 2020 12:00 PM (IST)Updated: Tue, 24 Mar 2020 12:00 PM (IST)
संतुलित आहार और संयमित जीवनशैली से कोरोना को मात

गिरिडीह : वायरस को सजीव और निर्जीव के बीच की योजक कड़ी कहा जाता है। यह बैक्टीरिया से भी अतिसूक्ष्म होता है। इसकी संरचना और क्रियाविधि इतनी जटिल होती है कि इसके संक्रमण को समझना अत्यंत कठिन होता है, लेकिन ऐसी महामारी के समय हमें सावधानी और संयम से काम लेना है। यह कहना है डायटीशियन सुप्रिया रानी का। उन्होंने कोरोना वायरस से बचाव से संबंधित खानपान से लेकर कई अन्य सुझाव दिए हैं।

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कहा कि खुद को संयमित, स्वच्छता का पूरा ध्यान और सामाजिक दूरी बनाए रखकर, यात्राएं स्थगित कर तथा संतुलित, सात्विक एवं पौष्टिक आहार को अपने प्रतिदिन के भोजन में शामिल कर हम कोविड19 नोवल कोरोना वायरस के संक्रमण से बच सकते हैं। खानपान में अपनाएं ये उपाय :

सुप्रिया ने बताया कि सर्वप्रथम शाकाहार को अपनाएं और अपने पाचन तंत्र को मजबूत बनाएं। सात्विक भोजन करें। मांसाहार का सेवन न करें। बाहर में खुले में बिकनेवाले भोज्य पदार्थों का सेवन न करें। रेस्टोरेंट, होटल, ठेले-खोमचे और फास्ट फूड से सख्ती के साथ परहेज करें। अपने भोजन में विटामिन-सी युक्त आहार मसलन संतरा, नींबू, कीनू जैसे फलों को शामिल करें। विटामिन सी आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाएगा, इससे वायरस संक्रमण का खतरा कम हो जाएगा। रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ने से आपका सभी प्रकार के संक्रमण से बचाव होगा। दही, हल्दी, लहसून, अंजीर आदि का सेवन करें। ड्राई फ्रूट्स और कम वसावाले सूखे मेवे का सेवन से रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है। बादाम का सेवन भी लाभकारी है। यह शरीर में बी-टाइप कोशिकाओं की संख्या बढ़ाता है और रोग प्रतिरोधक क्षमता विकसित करता है। गिलोय जिसे अमृता भी कहा जाता है, का नियमित सेवन करें और कोरोना से लड़ने की शक्ति प्राप्त करें। गिलोय शारीरिक तापमान को नियंत्रित करता है। यह एंटीबॉडीज का निर्माण करता है, रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है। पाचन और श्वसन तंत्र को मजबूत बनाता है। गिलोय को कलियुग की संजीवनी भी कहा जाता है।

तुलसी, नीम और कलमेग या चिरैता का सेवन आपको कोरोना के द्वितीय चरण से लड़ने में मददगार साबित होगा। रेशेदार भोजन भिंडी, बीट एवं टमाटर का सेवन लाभकारी है। सभी फलों एवं सब्जियों को अच्छी तरह धोकर खाएं। गरम पानी पीएं। सुबह-शाम गरम पानी में नमक डालकर गरारा करने से गले में संक्रमण से बचाव होता है।

करें नियमित व्यायाम : कोरोना से मुकाबला करने के लिए घर में निष्क्रिय रहकर नहीं बैठना है। नियमित रूप से व्यायाम और अनुलोम-विलोम, प्रणायाम, ध्यान योग भी संतुलित आहार के साथ जरूरी है। संतुलित और विटामिन सी युक्त आहार, व्यायाम-योग, स्वच्छता के साथ संयमित जीवन शैली को अपना कर हम कोरोना रूपी दुश्मन का मुकाबला कर सकते हैं।


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