खेल के जरिए युवा सुखद भविष्य का कर सकते निर्माण : एसएसपी
खिलाड़ियों को तन मन व संयम के साथ अपने खेल में आगे बढ़ना चाहिए। खेल हमारे जीवन का अभिन्न अंग है। स्वस्थ तन में स्वस्थ मन का निवास होता है। इसीलिए युवाओं को अपने शरीर के सर्वांगीण विकास के लिए खेलों को महत्व देना चाहिए।
टुंडी : खिलाड़ियों को तन, मन व संयम के साथ अपने खेल में आगे बढ़ना चाहिए। खेल हमारे जीवन का अभिन्न अंग है। स्वस्थ तन में स्वस्थ मन का निवास होता है। इसीलिए युवाओं को अपने शरीर के सर्वांगीण विकास के लिए खेलों को महत्व देना चाहिए। खेल के जरिए युवा अपने सुखद भविष्य का निर्माण कर सकते हैं। सामुदायिक पुलिसिग का कार्यक्रम ग्रामीण क्षेत्रों में युवाओं की प्रतिभा निखारने के साथ साथ पुलिस व जनता के बीच के रिश्ते को पाटने के लिए ही किया जाता है। ऐसे आयोजनों में ग्रामीण युवाओं की सार्थक भागीदारी होनी चाहिए। यह बातें एसएसपी किशोर कौशल ने दक्षिणी टुंडी स्थित कदैया मैदान में सामुदायिक पुलिसिग खेलकूद प्रतियोगिता के समापन पर कही। पांच दिवसीय खेलकूद प्रतियोगिता सोमवार को समाप्त हो गई।
बतौर मुख्य अतिथि उपस्थित एसएसपी ने इस खेलकूद प्रतयोगिता में ग्रामीण युवकों की अधिक से अधिक भागीदारी पर खुशी जाहिर की। वहीं विशिष्ट अतिथि ग्रामीण एसपी अमित रेणु ने कहा कि ग्रामीणों व युवाओं की भागीदारी ऐसे आयोजन को सफल बनाने का कार्य करती है। टुंडी डीएसपी हिमांशु चंद्र मांझी ने युवाओं को इस तरह के कार्यक्रमों में बढ़चढ़कर भाग लेने की अपील की। दक्षिणी टुंडी के कदैया मैदान में 16 जनवरी से पांच दिवसीय दिवसीय सामुदायिक पुलिसिग प्रतियोगिता का आयोजन किया गया था। इसमें कदैया, कर्माटांड़, अगलीबाद, आसनडाबर, छाताबादएखाखूडीह, चिराटांड़, केसका, पूरनाडीह, गोसाईंडीह, नेटवारी राजाभीठा, काशीटांड़ शहरपूरा आदि गावों की फुटबॉल टीम ने भाग लिया। फुटबॉल प्रतियोगिता में मुर्मू स्पोर्टिंग क्लब खाखूडीह की टीम विजेता रही। वन रक्षा समिति करमाटांड़ की टीम उपविजेता रही। दौड़ में पंकज सिंह ने प्रथम स्थान प्राप्त किया। सामान्य ज्ञान प्रतियोगिता में झारखंड विकास विद्यालय नेटवारी के छात्रों ने प्रथम स्थान प्राप्त किया। आयोजन का सफल संचालन सपन ओझा ने किया। समापन समारोह में सीआरपीएफ के कमांडेंट अमर सिंह गुर्जर, भास्कर ओझा, राजेश सिंह, शंकर प्रजापति, अब्दुल अंसारी, अजीमुद्दीन अंसारी, शमीम अंसारी, जलील अंसारी, संजय ओझा, दिलीप ओझा, वासुदेव सोनार, तुलसी सोनार आदि उपस्थित थे।