सहायक निदेशक का चलती ट्रेन में निधन, शव देख फफक-फफक कर रोने लगे परिजन Deoghar News
दुमका में पदास्थापित सामाजिक सुरक्षा के सहायक निदेशक राजेश कुमार की चलती ट्रेन में मौत हो गई। वें चुनाव को लेकर प्रशिक्षण को रांची गए थे। वहीं से लौटने के दौरान यह घटना घटी।
देवघर, जेएनएन। चलती ट्रेन में दुमका में पदास्थापित सामाजिक सुरक्षा के सहायक निदेशक राजेश कुमार (40 वर्ष) की मौत हो गई। वें गोड्डा जिला के पथरगामा थाना क्षेत्र अंतर्गत गंगारामपुर के रहने वाले थे। घटना की जानकारी मिलते ही मृतक का भाई विनय कुमार सहित अन्य परिजन व उनके कार्यलय के कर्मी व जरमुंडी के बीडीओ कुंदन सदर अस्पताल पहुंचे। यहां पहुंचकर बीडीओ ने घटना के संबंध में परिजन से जानकारी प्राप्त किया। बाद में पोस्टमार्टम के बाद परिजन को शव सौंप दिया गया।
पुलिस को दिए फर्द बयान में मृतक अधिकारी के भाई का कहना है कि दुमका उपायुक्त के निर्देश पर वह चुनाव को लेकर प्रशिक्षण प्राप्त करने रांची गए थे। प्रशिक्षण समाप्त होने के बाद वह रविवार सुबह रांची दुमका इंटरसिटी ट्रेन के एसी बोगी में सवार होकर जसीडीह स्टेशन पहुंचे। ट्रेन रुकने पर अन्य लोगों ने उन्हें उठाने का प्रयास किया, लेकिन वह नहीं उठे। इसके बाद अन्य यात्रियों ने मामले की जानकारी जसीडीह जीआरपी को दिया।
सूचना पर जीआरपी बोगी में पहुंचकर उन्हें बाहर निकाला। इस दौरान जसीडीह स्टेशन पर लगभग एक घंटे तक ट्रेन प्लेटफॉर्म पर खड़ी रही। वहीं मृतक अधिकारी का मोबाइल फोन उनकी जेब से गायब था। इसके बाद उन्हें इलाज के लिए सदर अस्पताल लाया गया। यहां डॉक्टर ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।
सदर अस्पताल उपाधीक्षक डॉ. सीके शाही ने शव का पोस्टमार्टम किया। मौत की वजह लीवर में खराबी होने की बात कही जा रही है। हालांकि पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही मौत का स्पष्ट कारण पता चल पाएगा।
जेपीएसपी सेवा के पांचवें बैच के अधिकारी थे राजेश
बताया जाता है कि राजेश कुमार जेपीएसपी के पांचवें बैच के अधिकारी थे। 2016 में उनकी पहली पोस्टिंग गिरीडीह जिला में सहायक निदेशक सामाजिक सुरक्षा के पद पर हुई थी। दुमका में सितंबर माह में उनकी पोस्टिंग हुई थी। यहां पदस्थापित होने के बाद वह अपने गृह जिला गोड्डा से ही रोजाना दुमका स्थित अपने कार्यालय आया करते थे।
उनके कार्यालय के कर्मियों ने बताया कि एक साल पूर्व उन्हें ज्योंडिस हुआ था। खान-पान में परहेज की वजह से वह रोजाना आते-जाते थे। उनकी शादी नहीं हुई थी। राजेश कुमार जेपीएसपी के पांचवें बैच के अधिकारी थे। इधर, घटना के बाद से परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल हैं।