माध्यमिक शिक्षा बदहाल, पढ़ाई छोड़ महुआ चुन रहे नौनिहाल
किसी स्कूल में शिक्षकों की कमी तो किसी के शिक्षक काम किये बिना तनख्वाह ले रहे हैं। यहां के शैक्षणिक माहौल में अराजकता का आलम यह कि नौनिहाल अपनी पढ़ाई छोड़कर महुआ चुनने लगे हैं। सबसे बुरा हाल बांका उत्क्रमित उच्च विद्यालय का है। विद्यालय में 291 छात्र नामांकित हैं।
हंटरगंज : प्रखंड में माध्यमिक शिक्षा बदहाल है। किसी स्कूल में शिक्षकों की कमी तो किसी के शिक्षक काम किए बिना तनख्वाह ले रहे हैं। यहां के शैक्षणिक माहौल में अराजकता का आलम यह कि नौनिहाल अपनी पढ़ाई छोड़कर महुआ चुनने लगे हैं। सबसे बुरा हाल बांका उउवि का है। विद्यालय में 291 छात्र नामांकित हैं। विभिन्न विषयों को पढ़ाने के लिए वहां चार शिक्षक पदस्थापित हैं। प्रधानाध्यापक का पद पिछले दो वर्षों से खाली है। उसी विद्यालय परिसर में अवस्थित मध्य विद्यालय के प्रधानाध्यापक राजेंद्र राम ही हाईस्कूल के प्रधानाध्याक के प्रभार मे हैं। मगर यह सब कागज तक ही सीमित है।
सोमवार को सुबह 9 बजे तक विद्यालय में ताला लटका था। ग्रीष्मकालीन विद्यालय संचालन का समय सुबह 6.30 से 11 बजे तक निर्धारित है। विद्यालय शिक्षकों की मर्जी पर खुलता है। माह में पांच-छह कार्य दिवस विद्यालय बंद ही रहता है। शिक्षकों की उपस्थिति भी अनियमित रहती है। एक साथ चारों शिक्षक कमी विद्यालय में नहीं रहते हैं। शिक्षकों की इस लापरवाही का असर परीक्षाफल पर भी पड़ रहा है। पिछले वर्ष मैट्रिक परीक्षा में विद्यालय से 290 छात्र शामिल हुए थे। उसमें से महज 75 छात्र ही परीक्षा पास कर पाये। अर्थात 74 फीसद से भी ज्यादा छात्र फेल हो गये थे। यहां तक कि उस परीक्षाफल से निराश एक छात्रा ने खुदकशी कर ली थी। हालत यह कि विद्यालय में छात्रों की संख्या घटती जा रही है। कुछ छात्राएं पढ़ाई छोड़ बगल के ही सोनवर्षा गांव में महुआ चुनते पाये गए।
विद्यालय के प्रभारी प्रधानाध्यापक राजेन्द्र राम ने कहा कि ऐसी स्थिति अक्सर रहती है। इस संदर्भ में रिपोर्ट भी की गई, कोई फायदा नहीं हुआ। दूसरी ओर विद्यालय प्रबंधन सह विकास समिति के अध्यक्ष अजय सिंह ने कहा कि शिक्षकों को फटकार लगाई है। कल से सब ठीक हो जायेगा। जब उस विद्यालय के अक्सर बंद रहने के संदर्भ में जिला पदाधिकारी ने कहा कि हम देख लेंगे।