सड़क सुरक्षा के लिए वाहन व चालक दोनों कीफिटनेस जरूरी
जागरण संवाददाता ऊधमपुर ऊधमपुर में परिवहन विभाग की ओर से पिछले एक माह से आयोजित स
जागरण संवाददाता, ऊधमपुर : ऊधमपुर में परिवहन विभाग की ओर से पिछले एक माह से आयोजित सड़क जागरूकता माह शुक्रवार को फिटनेस मेले के साथ संपन्न हो गया। अंतिम दिन फिटनेस मेले में बड़ी संख्या में वाहनों की जांच कर मौके पर फिटनेस प्रमाणपत्र जारी किए गए। इसके साथ ही चालकों के लिए नेत्र व स्वास्थ्य जांच शिविर आयोजित किया गया, जिसमें चालकों की जांच की गई गई।
शुक्रवार को फिटनेस मेले के साथ सड़क सुरक्षा सप्ताह के समापन समारोह में एडीडीसी अशोक कुमार मुख्य मेहमान के रूप में शामिल हुए। उनके साथ एएसपी राजेंद्र सिंह कटोच, डीएसपी मुख्यालय साहिल महाजन, डीएसपी ट्रैफिक हिम्मत सिंह, एनआइसी के जिला इंफार्मेटिक आफिसर अनिल शर्मा सहित अन्य मौजूद थे। इस अवसर पर एडीडीसी सहित अन्य सभी वक्ताओं ने सड़क सुरक्षा के महत्व पर रोशनी डाली। उन्होंने सड़क सुरक्षा के लिए सभी को यातायात नियमों का पालन करना अपनी आदत में शामिल करने को कहा। उन्होंने कहा कि सड़क हादसों को रोकने के लिए सबको जिम्मेदारी से सड़क सुरक्षा के लिए निर्धारित नियमों का पालन करना होगा। बिना इसके सड़क सुरक्षा नहीं की जा सकती।
इस बारे में एआरटीओ ऊधमपुर जुगल किशोर ने बताया कि पहले हर साल सड़क सुरक्षा सप्ताह मनाया जाता था, जिसमें विभिन्न गतिविधियों के माध्यम से सड़क सुरक्षा के प्रति सबको जागरूक किया जाता था। मगर इस बार यह जागरूकता व्यापक स्तर पर और अधिक करने के लिए सड़क सुरक्षा जागरूक माह आयोजित किया गया, जिसमें पूरे एक महीने तक विभिन्न गतिविधियों के माध्यम से लोगों को सड़क सुरक्षा के प्रति जागरूक किया गया।
एआरटीओ ने बताया कि ऊधमपुर एआरटीओ दफ्तर परिसर में 15 तारीख से फिटनेस मेला आयोजित किया गया। अंतिम दिन तक 171 वाहनों की फिटनेस की जांच की गई। इसके साथ ही 192 वाहन चालकों की स्वास्थ्य जांच के लिए नेत्र जांच, मधुमेह जांच सहित सामान्य स्वास्थ्य जांच शिविर आयोजित किया गया, जिसमें से 35 के करीब चालकों में रक्तचाप, मधुमेह और नेत्र रोग पाए गए। उनको आगे की जांच करवा कर उपचार करवाने को कहा गया।
एआरटीओ ने कहा कि जिला ऊधमपुर में वर्ष 2020 में 356 हादसे हुए, जिसमें 66 लोगों की जान सड़क हादसों में चली गई थी। सड़क हादसों में जान गंवाने वालों का यह आंकड़ा वर्ष 2019 के मुकाबले 30 फीसद कम है। आने वाले समय में इन सड़क हादसों को पूरी तरह से खत्म करना है। इसके लिए सभी लोग सड़क पर वाहन चलाते समय यातायात नियमों का पालन अपनी आदत बनाएं।
एआरटीओ ने कहा कि सड़क सुरक्षा के लिए सड़क पर दौड़ने वाले वाहनों का फिट होना जितना जरूरी है, उतना ही जरूरी वाहनों को चलाने वाले चालकों का स्वस्थ और फिट होना भी जरूरी है। दोनों के फिट होने से हादसों में कमी आएगी और सड़क पर सबकी सुरक्षा सुनिश्चित होगी। मेले में प्रदूषण जांच के साथ रिफ्लेक्टर के स्टाल भी लगाए गए थे। कार्यक्रम में मोटर व्हीकल इंस्पेक्टर के अलावा परिवहन विभाग के कर्मचारी भी मौजूद थे।